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श्रद्धा व विश्वास से मनाया गया ईद-उल-फितर का त्योहार

नई दिल्ली। देशभर में शुक्रवार को ईद-उल-फितर पर्व श्रद्धा एवं विश्वास के साथ मनाया गया। इस अवसर पर इस्लाम धर्म के अनुयायियों ने ईदगाह में नवाज अता करके अल्ला ताला से बरकत तथा अमन चैन की दुआ मांगी। नमाज अता के दौरान मस्जिद में एक-दूसरे को ईद पर्व की बधाई दी। ईद का त्योहार हमें भाईचारे का संदेश देता है, जिससे मि

By Edited By: Published: Sat, 10 Aug 2013 01:41 PM (IST)Updated: Sat, 10 Aug 2013 02:20 PM (IST)
श्रद्धा व विश्वास से मनाया गया ईद-उल-फितर का त्योहार

नई दिल्ली। देशभर में शुक्रवार को ईद-उल-फितर पर्व श्रद्धा एवं विश्वास के साथ मनाया गया। इस अवसर पर इस्लाम धर्म के अनुयायियों ने ईदगाह में नवाज अता करके अल्ला ताला से बरकत तथा अमन चैन की दुआ मांगी।

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नमाज अता के दौरान मस्जिद में एक-दूसरे को ईद पर्व की बधाई दी। ईद का त्योहार हमें भाईचारे का संदेश देता है, जिससे मिल-जुलकर रहने की प्रेरणा मिलती है। ईद के त्योहार पर मुस्लिम समुदाय के लोगों द्वारा विश्व में अमन चैन की दुआ मांगी गई। इस अवसर पर मेले का भी आयोजन किया गया। मस्जिद के बाहर खिलौनों, मिठाईयों, चाट पकौड़ी की दुकानें सजाई गई थी। नमाज अता करने के बाद मुस्लिम समाज के लोगों ने जमकर खरीददारी की व एक दूसरे को ईद की बधाई दी। ईद-उल-फितर पर्व को देखते हुए ईदगाह के पास पुलिस बल तथा खुफिया एजेंसियों के लोगों ने लगातार निगाहें जमाए रखी।

ईदगाह में ईद-उल-फितर पर्व पर नवाज अता करने के लिए इस्लाम धर्म के अनुयायी शुक्रवार सुबह से ही ईदगाह में जमा होना शुरू हो गए थे। सैकड़ों की संख्या में मुसलमानों ने नवाज अता की तथा सदका, फितरा, जकात जमा कराई, वहीं गरीबों को दान दिया। इमाम मोह मदद्दीन मोहम्मद ने मुस्लिम समुदाय के लोगों को नवाज पढ़ाई तथा भाईचारे को मजबूत करने व विश्व शांति, कौमी एकता की दुआ अल्लाताला से मांगी। उन्होंने बताया कि यह पर्व हमें हजरत इब्राहिम के बलिदान की याद दिलाता है, जिससे मानवता को उच्च नैतिक मूल्यों के लिए स्वयं को समर्पित करने की प्रेरणा मिलती है। इस मौके पर उन्होंने कुरान की आयतें पढ़ीं। बाद में सभी ने एक दूसरे को गले मिलकर ईद-उल-फितर की बधाई दी तथा सुखद भविष्य की कामना की।

सफीदों के अनुसार शहर में ईद का त्यौहार शुक्रवार को बड़ी धूमधाम से मनाया गया। इस मौके पर स्थानीय ईदगाह में एक कार्यक्रम का आयोजन किया गया, जिसमें क्षेत्र भर से हजारों की संख्या में मुस्लिम समुदाय के लोगों ने हिस्सा लेकर नमाज अदा की। जिला कांग्रेस अध्यक्ष जसबीर देशवाल ने इस कार्यक्रम में बतौर मुख्यातिथि शिरकत की। उन्होंने कहा कि ईद का त्यौहार खुशी और भाईचारे का त्यौहार है। इस त्यौहार पर लोग पुराने गिले शिकवे भूलाकर एक दूसरे के गले लगकर ईद मुबारक कहते हैं। इसलिए यह भाईचारे का बड़ा त्यौहार माना जाता है। यह त्यौहार कौमी एकता का भी प्रतीक है। इस पर्व पर कांग्रेस जिला अध्यक्ष जसबीर देशवाल ने 11000 रुपये की राशि मस्जिद के नाम की दी। वहीं इस मौके पर कौमी एकता का परिचय देते हुए पूर्व जिला पार्षद सुलेख डिडवाड़ा ने ईदगाह में भंडारे का आयोजन किया। उन्होंने कहा कि सभी त्यौहार भाईचारे व प्यार का संदेश देते है। हमें सभी त्यौहार मिलजुलकर मनाने चाहिए। हजकां पिछड़ा वर्ग के जिला महासचिव गौरव रोहिला ने भी ईदगाह जाकर ईद की मुबारक बाद दी। उन्होंने कहा कि कोई भी धर्म तोड़ने की बात नहीं कहता, बल्कि जोड़ने का संदेश देता है।

संवाद सूत्र नरवाना के अनुसार अमन, शांति व भाईचारे का प्रतीक ईद-उल-फितर का त्योहार धूमधाम से मनाया गया। सुबह से ही मुस्लिम समुदाय के लोग एक-दूसरे से गले मिलते हुए व ईद की मुबारकबाद दे रहे थे। यह त्योहार 30 दिन के रोजे पूरे होने पर ईद का चांद देखने के बाद अगले दिन मनाया जाता है। इस दिन मुस्लिम समुदाय के लोग सभी गले-शिकवे भूलकर हिंदू-मुस्लिम-सिख-ईसाई सभी के साथ गले मिलकर ईद की मुबारक देते हैं। घरों में बढि़या-बढि़या पकवान बनाकर एक-दूसरे के घरों में बांटते हैं और देश की अमन शांति के लिए दुआ मांगते हैं। मुस्लिम कल्याण समिति के प्रधान सुभाष खान ने कहा कि सभी मुसलमान भाईयों को बुराई के रास्ते छोड़कर अच्छाई के रास्ते पर चलना चाहिए। उन्होंने आतंक पर बोलते हुए कहा कि दहशत गर्दो का कोई धर्म व ईमान नहीं होता। वे किसी जात व धर्म के हो सकते हैं, जो देश में अशांति फैलाते हैं, वे देश के गद्दार कहलाते हैं। उन्होंने कहा कि हमने जिस देश की धरती पर जन्म लिया है, उस देश की शान के लिए अपना जीवन न्यौछावर करने में ही अपनी भलाई है।

भिगो गई तन-मन को खुशियों की बारिश-

वाराणसी- मुस्लिम बंधुओं का सबसे बड़ा त्योहार, ईद शुक्रवार को जोश-ओ- खरोश के साथ मनाई गई। हर जानिब खुशियों की बारिश भिगो गई लोगों का तन-मन। सुबह 7.00 से 10.30 बजे तक विभिन्न मस्जिदों व ईदगाहों में नमाज पढ़ी गई। नमाज के बाद एक दूसरे से गले मिलकर ईद की मुबारकबाद दी गई। अल-सुबह से ही नए नए कपड़ों में हर उम्र के लोग फिजा में इत्र की खुशबू बिखेरते हुए मस्जिदों व ईदगाहों की ओर कूच करने लगे। कई मस्जिदों व ईदगाहों में स्थान भर जाने के बाद सड़कों पर नमाज पढ़ी गई। उलमा ने मुल्क में यकजहती, खुशहाली, तरक्की आदि के लिए दुआएं की। दुआ के दौरान उलमा के प्रत्येक लफ्ज पर नमाजियों ने आमीन कहा।1मस्जिद ज्ञानवापी में मौलाना अब्दुल आखिर नोमानी, मस्जिद लंगड़े हाफिज मौलाना सूफी मोहम्मद जकीउल्लाह कादरी, मस्जिद लाट सरैयां में मौलाना जियाउर्रहमान, नदेसर जामा मस्जिद में मौलाना मजहरुल हक, मस्जिद ढाई कंगूरा चौहट्टालाल खां में हाफिज नसीम अहमद बशीरी, मस्जिद बैतुस्लाम डेवढि़यावीर काजी-ए-शहर मौलाना गुलाम यासीन, खानकाह हमीदिया रशीदिया शक्कर तालाब मौलाना मोइनुद्दीन अहमद फारुकी उर्फ प्यारे मिया, ईदगाह हकीम सलामत अली पितरकुंडा मुफ्ती-ए-शहर मौलाना अब्दुल बातिन नोमानी, मस्जिद अजगैब शहीद राजघाट मौलाना एखलाक अहमद, आलमगीरी मस्जिद धरहरा मौलाना मोहम्मद अहमद, मस्जिद दायम खां पुलिस लाइन मौलाना मुबारक हुसैन, मस्जिद बादशाहबाग मौलाना हसीन अहमद हबीबी, बड़ी ईदगाह महात्मा गांधी काशी विद्यापीठ रोड में मौलाना शमीम अहमद कासमी ने ईद आदि ने ईद की नमाज में दुआएं कीं।

जेल में कैदियों ने पढ़ी नमाज- खुशियों के त्योहार पर जेल के कैदियों ने भी ईद की नमाज पढ़ी। केंद्रीय कारागार शिवपुर में 300 कैदियों को मौलाना मोहम्मद अनवर खां ने नमाज पढ़ाई। जिला जेल चौकाघाट में 275 बंदियों को मौलाना अली रजा ने नमाज पढ़ाई। नमाज के बाद एक दूसरे को मुबारकबाद पेश कीं।

देर रात तक चला दावतों का दौर- ईद की खुशियों से लबरेज लोगों ने अपने सगे संबंधियों के आवास पर पहुंचकर सेवईं का लुत्फ लिया। देररात तक दावतों का दौर चलता रहा। घर आए मेहमानों का स्वागत सेवइयों से हुआ।

ईद मिलन समारोह- जवाहर नगर स्थित शेमराक आद्योत प्ले स्कूल में बच्चों ने ईद का पर्व बड़े ही हर्ष उल्लास के साथ मनाया। पारम्परिक वेश भूषा में सजे बच्चों ने एक दूसरे को ईद की मुबारकबाद पेश की, साथ ही सेवईं का भी लुत्फ उठाया।

ईद पर अमन व शांति के लिए पढ़ी नमाज-

नोएडा- ईद पर अमन और भाईचारा बनाए रखने को लेकर नमाज पढ़ी गई। शहर के प्रमुख तीन मस्जिद में ईद की नमाज के दौरान पूरी तरह से शांति का माहौल रहा। सभी मस्जिद के आसपास पुलिस बल तैनात थी और सड़क पर जरूरी रूट डायवर्जन किया गया था। जिस वजह से नमाज पढ़ने के लिए आने वाले लोगों को किसी तरह की परेशानी नहीं हुई।

सेक्टर-8 की बड़ी मस्जिद परिसर में हजारों की संख्या में लोगों ने दुआ मांगी। तीन साल बाद फिर से शुक्रवार को ईद आने पर खुशी में और इजाफा हो गया। इस मौके पर बड़ी मस्जिद के सदर (अध्यक्ष) हाजी बाबू खान ने कहा कि सुबह साढ़े आठ बजे नमाज शुरू हुई। बांस बल्ली मार्केट में सवा आठ बजे, सेक्टर-9 में पौने नौ बजे जबकि नौ बजे सेक्टर-31 निठारी में नमाज पढ़ी गई। ईद के मौके पर शासन की तरफ से भी पूरा सहयोग मिला। बड़ी मस्जिद के इमाम मुक्ति राशिद कासमी ने ईद के मौके पर कहा कि देश में अमन व शांति के लिए नमाज पढ़ी गई। इस दौरान आपसी भाईचारा और प्रेम बनाए रखने के लिए लोगों ने दुआ मांगी।

कादलपुर में निर्माणाधीन मस्जिद के मामले पर उन्होंने कहा कि इसे बेवजह राजनीतिक तूल दिया जा रहा है। जबकि, इस मामले पर गांव के लोगों ने आपसी सूझबूझ और सौहार्द के साथ मिलजुल कर निर्णय लिया था। नेता और मीडिया ने इसमें विवाद खड़ा कर दिया है। कोई भी धर्म या मजहब आपस में बैर रखना नहीं सिखाता। यह तो भाईचारा सिखाता है। लोगों को बांटने के लिए नेता धर्म के नाम पर राजनीति कर रहे है, जो कि गलत है। इमाम मुक्ति राशिद कासमी ने कहा कि कादलपुर गांव में भी लोगों ने अमन व शांति से नवाज पढ़ी।

ईद का पर्व देता है मानवता का संदेश-

सनौली- बापौली खंड के अंतर्गत आने वाले गांवों में ईद उल फितर का पर्व हर्षोल्लास से मनाया गया। ईद की नमाज अता करने के लिए सुबह से ही मुस्लिम समुदाय के लोग सज-संवर कर मस्जिद व मदरसों में पहुंचने शुरू हो गए थे। सनौली खुर्द गांव के सबिलू रिसाद मदरसे, जलालपुर द्वितीय, राणा माजरा, बापौली, पसीना खुर्द व नवादा पार आदि गांव में मदरसों में निर्धारित समय पर नमाज अता कराई गई। मदरसा संचालक मौलवी हारूण ने फरमाया किया कि मानवता का संदेश देने वाला ईद उल फितर का त्योहार सभी को समान समझने व गरीबों को खुशियां देने के लिए प्रेरित करता है। जुमे के दिन ईद होना सबसे बड़ी खुशी की बात है। रमजान के पवित्र माह में जो लोग अपने सदव्यवहार के साथ नेकी की राह पर चलते हैं अल्लाह-तआला उनके जीवन में ढेर सारी खुशियां भर देते हैं। रोजा एक प्रकार से सद्गुणों को अपने भीतर उतारने का तीस दिवसीय प्रशिक्षण होता है। जो इस प्रशिक्षण में कामयाब हो जाते हैं उनका परिवार सदा सुख व आनंद में रहता है और उसको सभी गुनाहों से मुक्ति मिल जाती है। इसके बाद उन्होंने नमाज अता कराई और खुतबा पढ़कर सुनाया। नमाज अता करने के बाद मुस्लिम समुदाय के लोगों ने एक-दूसरे के गले मिलकर ईद की मुबारकबाद दी।

वहीं, दूसरी ओर राजनीतिक पार्टियों ने नेताओं ने अपने-अपने सर्मथकों के घर पहुंच कर ईद की मुबारकबाद दी। इस दौरान सर्व ब्राह्माण सभा के जिलाध्यक्ष सुरेंद्र शर्मा, कर्मबीर शर्मा, हजकां नेता कर्ण सिंह पसीना, अनिल कौशिक, सुरेंद्र जलमाणा, रामकुमार रावल, तेजपाल फौजी, हुक्मा सैनी, डीएन त्यागी, हरीसिंह नलवा, विपीन नलवा, इनेलो नेता लेखराज खट्टर, रिषी गुर्जर, मनोज जौरासी, भरत सिंह छौक्कर, बहन फुलवती, मुकेश आटा, समाजसेवी रवींद्र मच्छरौली व विधायक धर्मसिंह छौक्कर आदि ने ईद में मुबारकबाद दी और सेवियां चखी।

ईद पर खीर बांटकर दिया भाईचारे का संदेश-

फरीदाबाद- जिले की विभिन्न मस्जिदों में मीठी ईद के मौके पर इमाम ने लोगों को नेकी की राह पर चलने की हिदायत दी, तो ओम श्री महाकालेश्वर मित्र मंडल की ओर से संजय कॉलोनी की मस्जिद में ईद मिलन समारोह का आयोजन किया गया। इस मौके पर मित्र मंडल की ओर से ईद पर खीर बांटकर हिंदू-मुस्लिम भाई-भाई की मिशाल दी गई। दोनों समुदाय के लोगों ने एक-दूसरे को ईद की मुबारकबाद देकर देश में अमन-चैन की दुआ मांगी।

मित्र मंडल के प्रधान राकेश ने कहा कि ईद भाईचारा व सौहार्द का संदेश देती है। ईद ईमान के रास्ते पर भी चलने का संदेश देती है। इसलिए ओम श्री महाकालेश्वर मित्र मंडल की ओर से ईद मिलन समारोह का आयोजन किया गया। ईद के मौके पर प्रसाद के तौर पर खीर वितरण की गई। हिंदु व मुस्लिम समुदाय के संयुक्त प्रयास से ईद मनाकर भाईचारे का परिचय दिया है। इस मौके पर रोड सेफ्टी आर्गेनाइजेशन के उपप्रधान एसके शर्मा, बुद्धिराम पटवारी, चंद्रपाल पाठक, विनोद शर्मा, गुरदीप भाटिया, वीरभान यादव, उमेश चौधरी, सुनील गुप्ता, भगवती वर्मा, मदनलाल व संजीव कुशवाह समेत अनेक लोगों का ईद मिलन समारोह में सहयोग रहा।

हर्षोल्लास के वातावरण में मनाई गई ईद -

गुडगांव- ईद पर मांगी है दुआ आपसी मुहब्बत, भाईचारे और देश की तरक्की की। लोगों को संदेश दिया कि वे मेल मिलाप के साथ सुकून भरी जिंदगी गुजारे। दूसरे को धोखा देना और गैर जरूरी चतुराई अच्छी बात नहीं। मिलकर देश की तरक्की के लिए काम करें। जामा मस्जिद के इमाम जॉन मुहम्मद ने अपने इन्हीं शब्दों में ईद का संदेश दिया। उन्होंने नेशनल हाई वे स्थिति ईदगाह मैदान में ईद की नमाज पढ़वाई। उन्होंने कहा कि देश के अलग-अलग हिस्से के लोग गुड़गांव में मेहनतकश के तौर पर आए हैं। इस तरह हमारा शहर देश की एकता का प्रतीक है। हम मिलकर देश की तरक्की के लिए सोचे। ईद यही संदेश देती है।

शहर में ईद का त्योहार खुशी के माहौल में मनाया गया। ताऊ देवी लाल स्टेडियम, नेशनल हाई वे स्थित ईदगाह मैदान, सदर बाजार स्थित जामा मस्जिद, सेक्टर 23 स्थित ताऊ देवी लाल पार्क, पटौदी चौक स्थित मस्जिद आदि में ईद की सामूहिक नमाज पढ़ी गई। सामूहिक नमाज में लोगों ने देश की तरक्की और आपसी प्यार मुहब्बत की दुआ मांगी। बच्चों से लेकर बुजुर्गो तक में ईद को लेकर खासा उत्साह दिखा। गले मिलकर ईद की मुबारक बाद देते बच्चे बहुत खुश थे। उनकी खुशी ईदी पाकर और ज्यादा बढ़ गई। नए-नए कपड़े पहने लोग एक दूसरे के घर गए।

केवड़े, खोए आदि से युक्त सिवईयों की खुशबू और इत्र की महक से ईद की खुशी महक उठी। लोगों ने एक दूसरे के घर जाकर ईद की खुशियां साझा की। शहर में एक बड़ी आबादी मुसलमान मजदूरों की है। औद्योगिक परिसरों, कंस्ट्रक्शन साइट के पास बनी झुग्गियों में भी ईद की खुशियां बांटते मुस्लिम परिवार देखे गए। उनका साथ उनके दूसरे समुदाय के दोस्तों और परिवारों ने दिया।

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