Astro Tips: सूर्यास्त के बाद बिल्कुल भी न करें ये काम, वरना करना पड़ेगा मुश्किलों का सामना
Astro Tips ज्योतिष और वास्तु शास्त्र में सूर्यास्त के बाद किन नियमों का पालन करना चाहिए। इस बारे में विस्तार से बताया गया है। ऐसे ही सूर्यास्त के बाद कुछ कामों को बिल्कुल नहीं करना चाहिए। मान्यता है कि इन्हें करने से नकारात्मक ऊर्जा बढ़ जाती है
नई दिल्ली, Astro Tips: हिंदू धर्म,ज्योतिष शास्त्र में सूर्योदय के समय कौन से कार्य करने चाहिए और सूर्यास्त के समय किन कार्यों को नहीं करना चाहिए। इस बारे में विस्तार से बताया गया है। अपने बड़े बुजुर्गों से इस बात को हमेशा सुनते चले आ रहे हैं कि शाम के समय झाड़ू न लगाएं, चौखट पर न बैठे, नाखून न काटे जैसी कई चीजों नहीं करनी चाहिए। बड़े बुजुर्गों की बात को अधिकतर अनसुना कर देते हैं कि ऐसा कुछ नहीं होता है। वहीं शास्त्रों के अनुसार बात करें, तो सूर्यास्त के बाद वातावरण में सबसे ज्यादा नकारात्मक ऊर्जा फैली होती है। ऐसे में सूर्यास्त के बाद बिल्कुल भी कुछ कामों को नहीं करना चाहिए। इससे तरक्की के साथ सेहत पर भी बुरा असर पड़ता है।
सूर्यास्त के बाद बिल्कुल न करें ये काम
बाल, नाखून आदि काटना
सूर्यास्त के बाद बिल्कुल भी नाखून, बाल, दाढ़ी आदि नहीं काटनी चाहिए। क्योंकि ऐसा करने से नकारात्मक ऊर्जा का सबसे अधिक प्रभाव पड़ता है। जिसके कारण व्यक्ति कभी भी कर्ज से छुटकारा नहीं पा पाता है।
पेड़ पौधों को छूना
इस बात को अधिकतर हर कोई सुनता चला रहा है कि सूर्यास्त के बाद पेड़ पौधों को न छूना चाहिए और न ही पानी देना चाहिए। क्योंकि वह सो जाते हैं। ऐसे में उन्हें छूना या पत्तियां तोड़ने से वह नाराज हो जाते हैं।
कपड़े धोना या सूखना
शास्त्रों के अनुसार, सूर्यास्त के बाद कपड़ों को न धो चाहिए और न ही सुखाना चाहिए। क्योंकि सूर्यास्त के बाद वातावरण में सबसे अधिक सकारात्मक ऊर्जा होती है। ऐसे में वह कपड़ों में प्रवेश कर जाती है। इससे व्यक्ति के स्वास्थ्य पर बुरा असर पड़ता है।
अंतिम संस्कार करना
गरुण पुराण के अनुसार, सूर्यास्त के बाद कभी भी अंतिम संस्कार नहीं करना चाहिए। ऐसा करने से वह व्यक्ति परलोक में कई कष्टों का सामना करना है। इसके साथ ही अगले जन्म में उसके अंगों में खराबी आ सकती है।
दही का सेवन
सूर्यास्त के बाद दही का सेवन नहीं करना चाहिए क्योंकि उसकी तासीर ठंडी होती है। इसके अलावा दही का संबंध शुक्र ग्रह से हैं। वहीं शुक्र ग्रह को धन-वैभव, आकर्षण आदि का कारक माना जाता है। सूर्य और शुक्र के बीच मित्रता का भाव नहीं है। ऐसे में सूर्यास्त के बाद इसका सेवन करने से कई समस्याओं का सामना करना पड़ता है।
डिसक्लेमर
इस लेख में निहित किसी भी जानकारी/सामग्री/गणना की सटीकता या विश्वसनीयता की गारंटी नहीं है। विभिन्न माध्यमों/ज्योतिषियों/पंचांग/प्रवचनों/मान्यताओं/धर्मग्रंथों से संग्रहित कर ये जानकारियां आप तक पहुंचाई गई हैं। हमारा उद्देश्य महज सूचना पहुंचाना है, इसके उपयोगकर्ता इसे महज सूचना समझकर ही लें। इसके अतिरिक्त, इसके किसी भी उपयोग की जिम्मेदारी स्वयं उपयोगकर्ता की ही रहेगी।