Surya Yantra: रथ सप्तमी के दिन घर में करें सूर्य यंत्र की स्थापना, धन-धान्य की बढ़ोतरी के साथ मिलेगी सफलता
Achala Saptami 2023 अचला सप्तमी के दिन भगवान सूर्य की विधिवत पूजा करने का विधान है। इस दिन सूर्य देव की पूजा करने के साथ सूर्य यंत्र की स्थापना करना शुभ होगा। जानिए कैसे करें सूर्य यंत्र की स्थापना साथ ही जानिए लाभ
नई दिल्ली, Surya Yantra: ज्योतिष शास्त्र में सूर्य को नवग्रहों का राजा माना जाता है। माना जाता है कि जिन लोगों की कुंडली में सूर्य की स्थिति मजबूत होती है। उन्हें शारीरिक, मानसिक और आर्थिक समस्याओं का सामना नहीं करना पड़ता है। इसके साथ समाज में मान-सम्मान, पद-प्रतिष्ठा बढ़ती है। लेकिन सूर्य की स्थिति कमजोर होने पर कई समस्याओं का सामना करना पड़ता है। अगर आपकी कुंडली में भी सूर्य की स्थिति कमजोर है, तो घर में सूर्य यंत्र की स्थापना करनी चाहिए। सूर्य यंत्र की स्थापना के लिए अचला सप्तमी का दिन सबसे अच्छा माना जाता है। क्योंकि इस दिन भगवान सूर्य रथ के साथ प्रकट हुए थे। इसी के कारण इसे रथ सप्तमी, सूर्य जयंती, माघ सप्तमी जैसे कई नामों से जाना जाता है। अचला सप्तमी के दिन सूर्य यंत्र की स्थापना करने से व्यक्ति को हर कष्ट से निजात मिल जाती है और हर क्षेत्र में सफलता हासिल होती है।
Achala Saptami 2023:अचला सप्तमी का शुभ मुहूर्त और कैसे करें भगवान सूर्य की पूजा
सूर्य यंत्र स्थापना करने के लाभ
- माना जाता है कि घर में सूर्य यंत्र स्थापना करने से व्यक्ति को हर क्षेत्र में सफलता हासिल होती है।
- सरकारी कार्यों, व्यापार और नौकरी संबंधी मामलों में भी जीत हासिल होगा।
- जिन राशियों की कुंडली में सूर्य की स्थिति खराब है, तो सूर्य यंत्र रखने से लाभ मिलेगा।
- जिन लोगों को आंखों संबंधी कोई समस्या है, तो सूर्य यंत्र की पूजा करने से लाभ मिलेगा।
- जिन लोगों की अपने पिता से नहीं बनती है। वह लोग सूर्य यंत्र की स्थापना करके विधिवत पूजा करें।
- समाज में मान-सम्मान बढ़ाने के लिए सूर्य यंत्र की स्थापना करना शुभ होगा।
सूर्य यंत्र स्थापना विधि
सूर्य जयंती के दिन या फिर रविवार के दिन सुबह स्नान आदि करने के बाद एक चौकी में लाल कपड़ा बिछाकर यंत्र स्थापित कर दें। इसके बाद सूर्य देव के बीज मंत्र 'ॐ ह्रां ह्रीं ह्रौं स: सूर्याय नम:' का 11 या फिर 21 बार जाप करें। इसके बाद यंत्र को गंगाजल या कच्चे दूध से शुद्ध करें। इसके बाद चंदन, केसर और लाल फूल आदि चढ़ाकर हाथ जोड़े और अधिक से अधिक शुभ फल की प्रार्थना करें। इसके बाद सूर्य यंत्र की रोजाना पूजा करें।
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