Move to Jagran APP

Mangala Gauri Puja Vidhi: आज रखें माता मंगला गौरी का व्रत, जानें पूजा विधि और महत्व

Mangala Gauri Puja Vidhi मंगलवार को माता पार्वती की विधि-विधान से पूजा की जाती है। इसके फलस्वरूप महिलाओं को अखंड सौभाग्यवती होने का आशीर्वाद प्राप्त होता है। माता पार्वती को प्रसन्न करने के लिए महिलाएं मंगली गौरी व्रत का पालन करती हैं।

By Ritesh SirajEdited By: Published: Tue, 03 Aug 2021 07:35 AM (IST)Updated: Tue, 03 Aug 2021 07:35 AM (IST)
Mangala Gauri Puja Vidhi: आज रखें माता मंगला गौरी का व्रत, जानें पूजा विधि और महत्व
Mangala Gauri Puja Vidhi: आज रखें माता मंगला गौरी का व्रत, जानें पूजा विधि और महत्व

Mangala Gauri Puja Vidhi: सावन माह हिंदू धर्म में विशेष महत्व रखता है। हिंदी पंचांग के अनुसार आज सावन मास का दूसरा मंगलवार है। इस दिन माता मंगला गौरी की पूजन अर्चना की जाती है। मान्यता है कि सावन में भगवान शंकर और माता पार्वती धरती पर भ्रमण करने आते हैं। शंकर जी सावन में अपने ससुराल हिमालय भी जाते हैं, इसलिए मंगलवार को माता पार्वती की विधि-विधान से पूजा की जाती है। इसके फलस्वरू महिलाओं को अखंड सौभाग्यवती होने का आशीर्वाद प्राप्त होता है। माता पार्वती को प्रसन्न करने के लिए महिलाएं मंगली गौरी व्रत का पालन करती हैं। आइये विस्तार से जानते हैं मंगला गौरी व्रत की पूजा विधि।

loksabha election banner

मंगला गौरी पूजा विधि

इस दिन व्रत रखने वालों को सूर्य उदय होने से पहले स्नान कर लेना चाहिए। पूजा स्थान पर एक लकड़ी के तख्त पर लाल कपड़ा बिछाकर उसपर मां मंगला गौरी और भगवान गणेश जी की मूर्ति अथवा चित्र रखकर पूजा और व्रत का संकल्प करना चाहिए। मंगला गौरी पूजा में मां को वस्त्र, सुहाग की सामग्री, 16 श्रृंगार, 16 चूडियां, 16 सूखे मेवे, नारियल, फल, इलायची, लौंग, सुपारी और मिठाई आदि अर्पित करना चाहिए।

पूजा के बाद मंगला गौरी आरती करें और कथा सुनना चाहिए। इसके बाद भक्तजनों को प्रसाद वितरित करें। दान करना बहुत जरूरी है, इसलिए जरूरतमंद लोगों को धन तथा अनाज का दान देना चाहिए। सबसे जरुरी बात कि लगातार पांच साल तक मंगला गौरी पूजन करके आखिर साल यानी पांचवे वर्ष में सावन माह के अंतिम मंगलवार को इस व्रत का उद्यापन करना चाहिए।

मंगला गौरी व्रत का महत्‍व

माता मंगला गौरी के व्रत का पाठ और सुनने से जीवन में खुशहाली और सुख-समृद्धि आती हैं। पूरे सावन मंगला गौरी की आरती सुबह और शाम करने से आपकी सभी मनोकामनाएं शीघ्र पूर्ण हो जाएंगी। मंगला गौरी व्रत से वैवाहिक जीवन की सभी समस्याएं दूर हो जाती हैं। अविवाहित युवतियों के विवाह में आने वाली बाधा दूर हो जाती है और मनचाहे वर की प्राप्ति होती है। महिलाएं इस व्रत को संतान प्राप्ति के लिए भी करती हैं।

डिसक्लेमर

'इस लेख में निहित किसी भी जानकारी/सामग्री/गणना की सटीकता या विश्वसनीयता की गारंटी नहीं है। विभिन्न माध्यमों/ज्योतिषियों/पंचांग/प्रवचनों/मान्यताओं/धर्मग्रंथों से संग्रहित कर ये जानकारियां आप तक पहुंचाई गई हैं। हमारा उद्देश्य महज सूचना पहुंचाना है, इसके उपयोगकर्ता इसे महज सूचना समझकर ही लें। इसके अतिरिक्त, इसके किसी भी उपयोग की जिम्मेदारी स्वयं उपयोगकर्ता की ही रहेगी।'


Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें
This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.