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Online Fraud: 77 लाख की ठगी में दिल्ली की महिला गिरफ्तार Udaipur News

Online Fraud. राजस्थान में उदयपुर के एईएन से ऑनलाइन 77 लाख रुपये की ठगी में पुलिस ने दिल्ली की महिला को गिरफ्तार किया है।

By Sachin MishraEdited By: Published: Thu, 25 Jul 2019 07:09 PM (IST)Updated: Thu, 25 Jul 2019 07:09 PM (IST)
Online Fraud: 77 लाख की ठगी में दिल्ली की महिला गिरफ्तार Udaipur News
Online Fraud: 77 लाख की ठगी में दिल्ली की महिला गिरफ्तार Udaipur News

उदयपुर, जेएनएन। विभिन्न इंश्योरेंस कंपनियों में पूंजी निवेश का झांसा देकर सार्वजनिक निर्माण विभाग के सेवानिवृत्त सहायक अभियंता से 77 लाख रुपये की ठगी का मामला सामने आया है। ऑनलाइन ठगी के मामले में उदयपुर पुलिस दक्षिणी दिल्ली से एक महिला आरोपित को गिरफ्तार कर गुरुवार को उदयपुर लेकर आई। ठगी में उसके साथ पूरा गिरोह सक्रिय है और उसके सदस्यों की तलाश जारी है।

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पुलिस अधीक्षक कैलाशचंद्र विश्नोई ने बताया कि हिरणमगरी सेक्टर चौदह निवासी सेवानिवृत्त एईएन भंवरलाल रजक से ठगी के मामले में दक्षिणी दिल्ली से विनिता पत्नी शहजाद खान को गिरफ्तार किया है। भंवरलाल रजक ने गत पांच अप्रेल को गोवर्द्धनविलास थाने में ठगी की रिपोर्ट दर्ज कराई थी। जिसमें उन्होंने बताया कि वह साल 2014 में विभाग से सेवानिवृत्त हुए। उन्होंने टाटा एआईजी, रिलायंस और मैक्स लाइफ इंश्योरेंस व अन्य कंपनियों में अपनी पूंजी निवेश की थी। उसके पास अलग-अलग नंबरों से कॉल आते हैं, जो स्वयं को इन कंपनियों का प्रतिनिधि बता दिल्ली हेड ऑफिस से बात करना बताते और झांसा देते हैं। पूंजी निवेश करने पर बहुत बड़ी धनराशि बोनस के रूप में मिलेगी। इस पर उसने बताई गई कंपनियों में पूंजी निवेश किया और इस तरह चार वर्षों में कुल 76 लाख 57 हजार 854 रुपये जमा करवाए।

इस पर थानाधिकारी भवानी सिंह राजावत की अगुवाई में आईओ रामनारायण ने जांच की। टीम ने जिन बैंक खातों में राशि जमा कराई उसके आधार पर जांच की। अधिकांश बैंक खाते व मोबाइल नाम पते दिल्ली एवं आसपास के पाए गए। जांच में सभी नाम पते एवं बैंक खाताधारकों के नाम फर्जी पाए गए। पुलिस टीम ने खातों से मिले फोटो तथा मोबाइल नंबरों के आधार दिल्ली महानगर, गाजियाबाद यूपी तथा नोएडा से करीब सत्रह पुलिस थानों में जाकर खोजबीन की। इस दौरान विनिता पत्नी शहजाद खान को हिरासत में लिया गया। जिसने अपने साथियों के साथ ठगी करना स्वीकार कर लिया। पुलिस ने बताया कि गिरोह में शामिल अधिकांश सदस्य उच्च शिक्षित एवं आईटी के जानकार हैं, जो वास्तिकिवक कंपनियों से पॉलिसी धारकों का मूल डेटा चुराकर उनसे संपर्क करते हैं तथा ज्यादा बोनस लाभ का प्रलोभन देकर ग्राहकों से अपने बैंक खातों में राशि ट्रांसफर करवा लेते हैं।

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