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Rajasthan: उदयपुर में अकेली रह रही वृद्धा की हत्या

Murder of Old Woman in Udaipur. राजस्थान के उदयपुर में अकेली रह रही वृद्धा का गला दबाकर हत्या का मामला सामने आया है।

By Sachin MishraEdited By: Published: Wed, 18 Dec 2019 02:24 PM (IST)Updated: Wed, 18 Dec 2019 02:24 PM (IST)
Rajasthan: उदयपुर में अकेली रह रही वृद्धा की हत्या
Rajasthan: उदयपुर में अकेली रह रही वृद्धा की हत्या

उदयपुर, संवाद सूत्र। राजस्थान में उदयपुर जिले के परसाद थानांतर्गत चणावदा गांव में अकेली रह रही बुजुर्ग महिला की हत्या कर दी गई। पुलिस मामले की जांच कर रही है।

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घटना का पता उस समय लगा, जब रोजाना की तरह एक महिला वृद्धा के घर दूध देने पहुंची थी। परसाद थाना पुलिस ने बताया कि घटनास्थल पर हालात देखकर अंदाजा लगाया जा सकता है कि किसी ने लूट के लिए वृद्धा की हत्या कर दी। वृद्धा के गले से सोने की चेन और कानों से सोने के टॉप्स गायब थे। घर का सारा सामान बिखरा पड़ा था। पोस्टमार्टम रिपोर्ट से पता चला कि वृद्धा की मौत गला दबाने से हुई है।

वारदात में एक से अधिक अपराधियों के शामिल होने का अनुमान है। मृतका की पहचान कंकू बाई (75) के रूप में हुई। पति चुन्नीलाल लोहार की मौत के बाद वह घर में अकेली रह रही थीं। उनके कोई संतान नहीं थी और आसपास के लोग उनका ख्याल रखते थे। पुलिस मामले की जांच कर रही है।

महिलाओं व बच्चों के साथ होने वाले अपराधों की होगी त्वरित जांच

राजस्थान में महिलाओं और बच्चों के साथ बढ़ते जघन्य अपराधों पर रोकथाम और इनकी त्वरित जांच राजस्थान पुलिस का अगले वर्ष (2020) का मुख्य एजेंडा होगा। राजस्थान पुलिस ने अगले वर्ष के लिए छह प्राथमिकताएं तय की हैं।

राजस्थान में महिलाओं और बच्चों के साथ होने वाले अपराध पुलिस के लिए परेशानी का बड़ा कारण बने हुए हैं। हर रोज कहीं न कहीं किसी बड़े अपराध की सूचना सामने आती है। हालांकि पुलिस इन मामलों में कार्रवाई भी कर रही है, लेकिन इन अपराधों पर प्रभावी रोक नहीं लग पा रही है। इसी को देखते हुए राजस्थान के पुलिस महानिदेशक (डीजीपी) डॉ. भूपेंद्र सिंह ने दो श्रेणियों में पुलिस की प्राथमिकताएं तय की हैं। डीजीपी ने अपराध संबंधी प्राथमिकताओं में तय किया है कि जघन्य एवं संगठित अपराधों की रोकथाम एवं त्वरित अनुसंधान व सफल अभियोजन के लिए समन्वित प्रयास किया जाएगा। महिलाओं, बच्चों व कमजोर वर्गों के विरुद्ध अपराधों का त्वरित अनुसंधान एवं प्रभावी नियंत्रण किया जाएगा और सड़क दुर्घटनाओं में मृतकों की संख्या में कमी लाने का प्रयास किया जाएगा।

पुलिस मुख्यालय ने प्राथमिकताओं के अनुसार काम करने के लिए सभी पुलिस अधिकारियों को निर्देश भी जारी किए हैं। इसी तरह तीन प्रशासनिक प्राथमिकताएं भी तय की गई हैं। इनमें पुलिस थानों में स्वागत कक्ष एवं अन्य जन केंद्रित सुविधाओं का विकास करना, पुलिस परिसरों में पुलिसकर्मियों व उनके परिवार के लोगों के लिए कल्याणकारी गतिविधियों का विकास करना और पुलिसकर्मियों में तकनीकी कार्य दक्षता की अभिवृद्धि करना शामिल है।

गौरतलब है कि जघन्य अपराधों की जांच के लिए मुख्यमंत्री और गृह मंत्री अशोक गहलोत ने कुछ समय पहले ही एक विशेष सेल गठित करने का फैसला किया था। इसमें पुलिस के साथ विधि विशेषज्ञों को भी शामिल किया जाएगा, ताकि जांच बेहतर ढंग से हो सके और कोई कानूनी कमी न रहे। इसके साथ ही मुख्यमंत्री ने पुलिस अधिकारियों को राज्य में सभी प्रकार के माफिया एवं संगठित अपराधों के खिलाफ अभियान चलाकर शिकंजा कसने के निर्देश दिए हैं। पुलिस की सभी विंग माफियाओं के खिलाफ सूचनाएं साझा कर इस अभियान को चलाएंगी।

इसके साथ ही उन्होंने फर्जी एवं भ्रामक विज्ञापनों के जरिए आमजन को अपने जाल में फंसाने वाले विज्ञापनदाताओं के खिलाफ भी सख्त कार्रवाई के निर्देश दिए हैं। जमीन, खनन, शराब, मादक पदार्थ, बजरी, बकाया पैसे की वसूली सहित सभी प्रकार के माफिया पर अंकुश लगाने के लिए लोगों को सूचना देने के लिए प्रोत्साहित किया जाएगा, ताकि आमजन से इस संबंध में पुख्ता सूचनाएं मिलें। इसके साथ ही ऐसे माफियाओं से मिलीभगत करने वाले पुलिसकर्मियों पर कड़ी कार्रवाई भी की जाएगी।

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