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राजस्थान के तीन एयरफोर्स स्टेशनों पर जल्द तैयार होंगे बम और मिसाइल प्रूफ शेल्टर

airforce station. राजस्थान के तीन एयरफोर्स स्टेशन पर लड़ाकू विमानों के लिए शेल्टर बनाए जाएंगे।

By Sachin MishraEdited By: Published: Fri, 23 Aug 2019 02:23 PM (IST)Updated: Fri, 23 Aug 2019 06:17 PM (IST)
राजस्थान के तीन एयरफोर्स स्टेशनों पर जल्द तैयार होंगे बम और मिसाइल प्रूफ शेल्टर
राजस्थान के तीन एयरफोर्स स्टेशनों पर जल्द तैयार होंगे बम और मिसाइल प्रूफ शेल्टर

जागरण संवाददाता, जयपुर। पाकिस्तान से सटी सीमा पर स्थित राजस्थान के तीन एयरफोर्स स्टेशन पर लड़ाकू विमानों के लिए शेल्टर बनाए जाएंगे। राजस्थान में रेगिस्तानी जिले बाड़मेर के उत्तर लाई, बीकानेर के नाल और श्रीगंगानगर के सूरतगढ़ एयरफोर्स स्टेशन पर सुखाई-30 लड़ाकू विमानों के लिए बम व मिसाइल प्रूफ शेल्टर (ब्लास्ट पेन) बनाए जाएंगे। शेल्टर बनने के बाद मिग की कुछ स्क्वाड्रन को सीमा से हटाकर थोड़ा पीछे किया जा सकता है और सुखाई उनका स्थान लेंगे।

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सैन्य सूत्रों के अनुसार, शेल्टर बनाने का काम शीघ्र पूरा कर लिया जाएगा। भारतीय सेना की पाकिस्तान में की गई एयरस्ट्राइक के बाद राजस्थान के तीनों एयरफोर्स स्टेशनों पर वायुसेना की गतिविधियां बढ़ी है। एयरफोर्स के विमान लगातार एक्सरसाइज कर रहे है।

जानकारी के अनुसार, केंद्र सरकार ने करीब डेढ़ साल पहले देशभर में 110 शेल्टर बनाने के प्रस्ताव को मंजूरी दी थी। लेकिन इनका काम तेज गति से नहीं हो सका। अब जम्मू-कश्मीर में धारा-370 हटाए जाने के बाद शेल्टर बनाने के काम में तेजी आई है। रक्षा मामलों की समिति द्वारा जैसलमेर और बाड़मेर में किए गए दौरे के दौरान भी शेल्टर बनाने का काम शीध्र पूरा करने की बात कही गई थी।

1965 के युद्ध में हुआ था नुकसान

शेल्टर नहीं होने के कारण 1965 के भारत-पाकिस्तान युद्ध में भारतीय वायुसेना को काफी नुकसान हुआ था। सैन्य सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार, खुले हैंगर में रखे करीब 60 लड़ाकू विमान पाकिस्तानी विमानों की बमबारी में क्षतिग्रस्त हुए थे। भारतीय वायुसेना के पास 240 सुखोई विमान है। लेकिन इनके लिए पूरे देश में शेल्टर कहीं नहीं है। इनकी बहुत कम स्क्वाड्रन सीमा के निकट है। राजस्थान में जोधपुर एयरबेस पर सुखोई तैनात है।

सीमा से सुखोई की दूर तैनाती का कारण बताने वाले सैन्य सूत्रों के अनुसार, ऐसा इसलिए है क्योंकि सीमा के निकट एयरबेस पर बम या मिसाइल हमला होने पर एयरबेस पर खड़े लड़ाकू विमानों को नुकसान हो सकता है। इसी कारण से पाकिस्तान से सटी सीमा पर जम्मू-कश्मीर से लेकर राजस्थान के जैसलमेर तक मिग की स्क्वाड्रन ही तैनात कर रखी है। बालाकोट हमले के बाद पाकिस्तान के लड़ाकू विमानों के भारतीय सीमा की तरफ आने पर उनका सबसे पहले मुकाबला मिग विमानों ने ही किया था। सैन्य सूत्रों का कहना है कि यदि शेल्टर बने हुए होते तो सुखाई सीमा के निकट रहता और पाक विमानों को अधिक ताकत से जवाब दिया जा सकता था।

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