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Rajasthan: एसपी बनकर विधायक से मांगे दस लाख, गिरफ्तार

Arrested in Fraud Case. पुलिस अधीक्षक के नाम से विधायक से दस लाख रुपये की ठगी के प्रयास का मामला सामने आया है।

By Sachin Kumar MishraEdited By: Published: Wed, 03 Jun 2020 09:43 PM (IST)Updated: Wed, 03 Jun 2020 09:43 PM (IST)
Rajasthan: एसपी बनकर विधायक से मांगे दस लाख, गिरफ्तार
Rajasthan: एसपी बनकर विधायक से मांगे दस लाख, गिरफ्तार

उदयपुर, संवाद सूत्र। Arrested in Fraud Case. राजस्थान में चित्तौड़गढ़ पुलिस अधीक्षक के नाम से विधायक चंद्रभान सिंह आक्या से दस लाख रुपये की ठगी के प्रयास का मामला सामने आया है। इस मामले में पुलिस ने पाली के एक हिस्ट्रीशीटर को गिरफ्तार किया है। इससे पहले वह अधिकारी बनकर 47 लोगों को ठग चुका है। इसके खिलाफ प्रदेश भर में दर्जनों मामले दर्ज हैं। जिसमें उसने कभी अपने आप को मंत्री-विधायक तो कभी बड़ा अधिकारी बताया।

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जानकारी के अनुसार, पकड़ा गया आरोपित पाली निवासी सुरेश घांची है। वह पाली की कोतवाली थाना पुलिस का घोषित हिस्ट्रीशीटर है। चित्तौड़गढ़ विधायक चंद्रभान सिंह आक्या ने पुलिस को दी रिपोर्ट में बताया कि 30 मई को अज्ञात व्यक्ति ने उनसे ठगी का प्रयास किया। जिसमें उसने खुद को पुलिस अधीक्षक दीपक भार्गव बताया और कहा कि उनका रिश्तेदार उदयपुर के अमेरिकन अस्पताल में भर्ती हैं। जिसके लिए उन्हें तत्काल दस लाख रुपये की आवश्यकता है। वह फोन वॉट्सएप से किया गया था और नंबर चित्तौड़गढ़ के पुलिस अधीक्षक दीपक भार्गव के ही थे। जिससे किसी प्रकार का संदेह भी नहीं हुआ और विधायक चंद्रभान सिंह ने उदयपुर में रहने वाले अपने चचेरे भाई महिपाल सिंह से संपर्क कर रुपये का इंतजाम करने को कहा। करीब बीस मिनट बाद विधायक ने पुलिस अधीक्षक दीपक भार्गव से बात की तो पता चला कि उन्होंने किसी तरह का फोन नहीं किया और ना ही उनके कोई रिश्तेदार उदयपुर के अमेरिकन हॉस्पिटल में भर्ती हैं। जिस पर उन्होंने तत्काल अपने चचेरे भाई को रोका, जो अमेरिकन अस्पताल की ओर निकल चुका था। समय रहते ही पता चलने पर दस लाख

रुपये बच गया।

ठगी के प्रयास की सूचना पर पुलिस अधीक्षक दीपक भार्गव ने सदर थाने को तत्काल कार्रवाई करने को कहा। आरोपित के मोबाइल नंबर और लोकेशन के आधार पर पुलिस जांच में जुट गई। फोन करने वाले की लोकेशन पाली आ रही थी। जहां दबिश देकर पुलिस ने सुरेश उर्फ भैरा राम उर्फ भैरिया पुत्र भंवरलाल घांची को डिटेन किया और उसे हिरासत में लेकर चित्तौड़गढ़ लाया गया। पूछताछ में उसने माना कि उसी ने पुलिस अधीक्षक बनकर ठगी का प्रयास किया था। कोतवाली थाने में उसके खिलाफ ठगी के प्रयास का मामला दर्ज करते हुए उसका मोबाइल बरामद कर लिया। पुलिस अधीक्षक दीपक भार्गव ने बताया कि इससे पहले विभिन्न अधिकारी बनकर प्रदेश के 47 लोगों से लाखों रुपये ठग चुका है। उसने बताया कि वह मंत्री, विधायक तथा बड़ा अधिकारी बनकर लोगों से ठगी करने का आदी है। 


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