रोजाना 400 लोगों की पेट की आग बुझाने वाला माता जी का चूल्हा पड़ा ठंडा
महंगाई के दौर में पेट की आग बुझाना गरीब लोगों के लिए बहुत मुश्किल होता है।
धर्मबीर सिंह मल्हार, तरनतारन : महंगाई के दौर में पेट की आग बुझाना गरीब लोगों के लिए बहुत मुश्किल होता है। ऐसे में कुछ राहत देने के लिए दो वर्ष पहले ह्यूंमन सर्विसिस सोसायटी की ओर से सिविल अस्पताल के साथ माता गंगा जी चूल्हा शुरू किया गया था। यहां पर लोगों को दस रुपये में पेट भर भोजन मिलता था। इस चूल्हे पर कोरोना काल का ऐसा असर पड़ा कि छह माह से चुल्हे की आग ठंडी पड़ी है।
स्थानीय प्रशासन के सहयोग से ह्यूंमन सर्विसिस सोसायटी द्वारा 2018 में सिविल अस्पताल के साथ माता गंगा जी के नाम पर चूल्हा शुरू किया गया था। यहां पर सुबह 11 बजे से लेकर दोपहर ढाई बजे तक दस रुपये में पेट भर भोजन की थाली तैयार मिलती थी। सोसायटी के इस नेक कार्य को देखकर कई समाजसेवी संगठन भी माता गंगा जी चूल्हा के लिए मदद के हाथ बढ़ाने लगे। कोरोना काल के दौरान मार्च माह के अंत में चुल्हा बंद हो गया।
10 लोगों को मिलता था रोजगार
माता गंगा जी चूल्हे से 10 लोगों का रोजगार चल रहा था। प्रत्येक दिन में चुल्हे से 400 थाली भोजन तैयार होता था। यहां रिक्शा चालक, रेहड़ी चालक व लेबर से संबंधित यहां तक कि गरीब परिवारों से संबंधित लोग भी इस चूल्हे का दस रुपये में पेट भर खाना खाते थे। जगजीत सिंह, मेवा सिंह, सरदूल सिंह, हरविंदर सिंह, हरनाम सिंह, जसबीर सिंह, गुलशन लाल, मंदीप कपूर का कहना है कि छह माह से बंद पड़े चुल्हे को दोबारा चालू किया जाना चाहिए, ताकि उनको रोजगार मिल सके।
दोबारा चालू होना चाहिए चूल्हा
ह्यूंमन सर्विसिस सोसायटी के अध्यक्ष दिलबाग सिंह ठरू, उपाध्यक्ष यगदत्त लिटल, सचिव जसविंदर सिंह ने बताया कि भारत विकास परिषद द्वारा भी इस चूल्हे को चलाने लिए सहयोग दिया जाता था। कोरोना काल के दौरान बंद हुआ यह चूल्हा दोबारा चालू करने में कोई एतराज नहीं है। केवल प्रशासनिक तौर पर अनुमति की जरूरत है। यगदत्त लिटल ने बताया कि भोजन तैयार करने वाले स्टाफ को सोसायटी द्वारा वेतन दिया जाता था। यह चूल्हा गरीब वर्ग के लोगों लिए वरदान था। चूल्हा चालू करवाने लिए करूंगा डीसी से बात
विधायक डॉ. धर्मबीर अग्निहोत्री कहते है कि माता गंगा जी के नाम पर चुल्हा चालू करवाते समय मैंने खुद यहां आकर भोजन खाया था। यहां का भोजन मुझे अभी तक नहीं भूला। कोरोना काल के दौरान बंद हुए इस चूल्हे को चालू करवाने लिए डिप्टी कमिश्नर कुलवंत सिंह धूरी के साथ चर्चा होगी। ताकि इस चूल्हे के माध्यम से जरूरतमंद लोग दस रुपये में पेट भर भोजन खा सके।