किसानों और मजदूरों ने अमृतसर-खेमकरण रेल मार्ग पर लगाया धरना
। गांव बुट्टर सिवियां स्थित चीनी मिल के आगे चले आ रहे धरने के तीसरे दिन किसानों ने रेल का चक्का जाम कर दिया।
जागरण संवाददाता, तरनतारन : गन्ने की बकाया राशि का भुगतान न होने और कैप्टन सरकार द्वारा लंबित मांगों को पूरा न किए जाने के रोष में गांव बुट्टर सिवियां स्थित चीनी मिल के आगे चले आ रहे धरने के तीसरे दिन किसानों ने रेल का चक्का जाम कर दिया।
मंगलवार को अमृतसर-खेमकरण मार्ग स्थित गांव गोहलवड़ में रेलवे ट्रैक पर किसानों ने धरना लगाया और पंजाब सरकार के खिलाफ जमकर नारेबाजी की। धरना की अगुआई किसान-मजदूर संघर्ष कमेटी के उपाध्यक्ष सविंदर सिंह चोताला, सुखविंदर सिंह सभरा, जसबीर सिंह पिद्दी, गुरलाल सिंह पंडोरी, हरप्रीत सिंह सिधवां और गुरबचन सिंह चब्बा ने संयुक्त तौर पर की।
इससे पहले बाद दोपहर एक बजे किसानों और मजदूरों ने गांव बुट्टर सिवियां स्थित चीनी मिल के बाहर धरनास्थल से गांव गोहलवड़ स्थित रेलवे ट्रैक की ओर झंडे लेकर कूच किया। किसानों ने रेल मार्ग मुकम्मल तौर पर बंद करने का एलान करते हुए अनिश्चितकाल के लिए धरना शुरू कर दिया। इस दौरान सविंदर सिंह चोताला ने कहा कि विश्व बैंक और विश्व व्यापार संस्था से संबंधित आदेशों को कैप्टन सरकार पंजाब में लागू कर रही है। ऐसा करने से खेतीबाड़ी तबाह हो जाएगी। किसान और मजदूर को रोटी के लाले पड़ जाएंगे। उन्होंने कहा कि प्रदेश में औसतन हर पांचवें दिन किसान खुदकुशी कर रहा है। स्वामीनाथन कमीशन की रिपोर्ट को लागू नहीं किया जा रहा। किसानों का कर्ज माफ करने की बजाय उनकी जमीनों की कुर्की की जा रही है।
किसान नेता हरप्रीत सिंह सिधवां ने कहा कि पराली प्रबंधन लिए छह हजार प्रति एकड़ के हिसाब से मुआवजा दिया जाए। गांव मन्नण में प्रस्तावित टोल प्लाजा के लिए 14 एकड़ जमीन एकवायर करने का नोटिफिकेशन रद किया जाए, मुख्यमंत्री से हुई बैठक के दौरान मानी गई मांगों को लागू किया जाए। इसके अलावा गन्ना मिलों की ओर बकाया राशि का ब्याज समेत भुगतान किया जाए।
इस बीच, किसानों ने खेमकरण की ओर से आ रही डीएमयू गाड़ी को रोक दिया और सरकार के खिलाफ नारेबाजी शुरू कर दी। शाम 6.10 बजे धरना खत्म कर दिया गया। इससे पहले धरने को लखविंदर सिंह वरियाम नंगल, कुलदीप सिंह, कश्मीर सिंह, जसवंत सिंह, सरवन सिंह बाऊपुर, गुरमेल सिंह, सलविंदर सिंह जहांगीर, गुरप्रीत सिंह गोपी खानपुर, रणबीर सिंह डुगरी, सतनाम सिंह मानोचाहल, सलविंदर सिंह जीओबाला और लखविंदर सिंह ने भी संबोधित किया।