Move to Jagran APP

पार्टी फर्ज या पैतृक फर्ज में उलझे पेंच

जागरण संवाददाता, संगरूर : लोकसभा चुनावों का माहौल एक तरफ जहां गर्मा रहा है, वहीं शिअद की तरफ से किस

By JagranEdited By: Published: Mon, 18 Mar 2019 07:57 PM (IST)Updated: Mon, 18 Mar 2019 07:57 PM (IST)
पार्टी फर्ज या पैतृक फर्ज में उलझे पेंच
पार्टी फर्ज या पैतृक फर्ज में उलझे पेंच

जागरण संवाददाता, संगरूर : लोकसभा चुनावों का माहौल एक तरफ जहां गर्मा रहा है, वहीं शिअद की तरफ से किसे उम्मीदवार के तौर पर लोकसभा हलका संगरूर की सीट पर उतारा जाएगा इसका रहस्य अभी भी बरकरार है। बेशक राजनीतिक गलियारे में हवा चल रही है कि परमिदर सिंह ढींडसा को संगरूर लोकसभा सीट पर चुनाव मैदान में उतारने के लिए शिअद परमिदर सिंह ढींडसा को साजी करने में जुटा है, वहीं परमिदर सिंह ढींडसा के पिता व राज्यसभा सदस्य सुखदेव सिंह ढींडसा के शिअद के पदों से किनारा कर देने व उनके परिवार के लोकसभा चुनाव न लड़ने के दिए बयान पर आज भी कायम हैं। ऐसे में स्थिति उलझती जा रही है कि परमिदर सिंह ढींडसा पार्टी के फर्ज को निभाएंगे या अपने पिता के फैसले के साथ कंधे से कंधा मिलाकर खड़े होंगे। ऐसे में आने वाले दिनों में स्थिति कुछ भी हो, लेकिन एक बात साफ है कि ढींडसा परिवार का गढ़ माना जाने वाला लोकसभा हलका संगरूर में समीकरण अब कुछ और ही बनते जा रहे हैं। पिछले लोकसभा चुनावों तक शिअद को संगरूर सीट पर उम्मीदवार उतारने के लिए ज्यादा मात्थापच्ची करने की खास जरूरत नहीं होती थी, क्योंकि ढींडसा परिवार ने लोकसभा सीट संगरूर पर लंबे समय तक पारी खेली है। सुखदेव सिंह ढींडसा वर्ष 2004 में लोकसभा सदस्य रह चुके हैं, वहीं वर्ष 2009 में कांग्रेसी उम्मीदवार विजयइंद्र सिगला व 2014 में आम आदमी पार्टी के उम्मीदवार भगवंत मान के मुकाबले मात मिली, लेकिन राज्यसभा सदस्य के तौर पर राजनीतिक में सरगर्म रहे। 1998 की सरकार में तो संगरूर में अकाली दल के राज्य सरकार में चार मंत्रियों समेत केंद्र में सुखदेव सिंह ढींडसा कैबिनेट मंत्री रहे। अब सुखदेव सिंह ढींडसा द्वारा शिअद के पदों से इस्तीफा देने व अपने परिवार की तरफ से किसी के भी लोकसभा चुनाव में न उतरने के दिए बयान के बाद शिअद की स्थिति बदल गई है।

loksabha election banner

सोमवार को मस्तुआना साहिब में सम्मान समारोह दौरान पत्रकारों से बातचीत करते हुए सुखदेव सिंह ढींडसा ने कहा कि वह आज भी अपनी इस जुबान पर अटल हैं कि उनके परिवार से कोई भी सदस्य लोकसभा चुनाव न लड़े। उन्होंने अपनी तरफ से परिवार को सलाह देनी थी, वह दे दी है। परमिदर सिंह ढींडसा को मेरी आज भी यही सलाह है कि वह चुनाव न लड़े। परमिदर सिंह ढींडसा पांच बार विधायक जीता है, वित्तमंत्री, लोक निर्माण मंत्री रह चुके हैं और उनकी राजनीति में अपनी अलग पहचान है, वह अपना फैसला खुद कर सकते हैं। अगर परमिदर सिंह ढींडसा लोकसभा की पारी खेलना चाहता है तो इसका फैसले भी वह खुद ही करेगा। 21 मार्च को सुखबीर बादल संगरूर में करेगे बैठक

राजनीतिक सूत्रों की माने को परमिदर सिंह ढींडसा को संगरूर लोकसभा हलका सीट से उतारने के लिए बैठकों का दौर जारी था, जिसमें परमिदर सिंह ढींडसा को शिअद ने राजी कर लिया है। 21 मार्च को शिअद प्रधान सुखबीर सिंह बादल खुद संगरूर में पार्टी वर्करों से बैठक करने के लिए पहुंच रहे हैं। सुखबीर बादल पार्टी वर्करों से लोकसभा चुनाव के बारे में ही चर्चा करेंगे व पार्टी वर्करों का माना जा रहा है कि बादल इस दौरान परमिदर सिंह ढींडसा की पीठ थपथपाकर जाएंगे।

कौन लड़ेगा चुनाव, इसका फैसला लेगी पार्टी

विधायक परमिदर सिंह ढींडसा का कहना है कि पार्टी हाईकमान ही लोकसभा सीट संगरूर के लिए उम्मीदवार का एलान करेगी। पार्टी उम्मीदवारों पर विचार कर रही है, वह भी अपनी व्यक्तिगत राय पार्टी को दे चुके हैं। बाकी अब किसे पार्टी उम्मीदवार बनाकर उतारेगी, यह फैसला पार्टी खुद करेगी।


Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें
This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.