बेरोजगार अध्यापकों की प्रिंसिपल चीफ सेक्रेटरी के साथ मीटिंग तय, प्रदर्शन समाप्त
बेरोजगार ईटीटी टीईटी पास अध्यापकों ने 12 मार्च को प्रमुख सचिव सुरेश कुमार साथ मीटिंग के आश्वासन पर मान गए और प्रदर्शन समाप्त कर दिया है।
जेएनएन, पटियाला। पसियाणा स्थित भाखड़ा नहर पर प्रदर्शन कर रहे बेरोजगार ईटीटी, टीईटी पास अध्यापकों ने 12 मार्च को प्रमुख सचिव सुरेश कुमार साथ मीटिंग के आश्वासन पर मान गए और प्रदर्शन समाप्त कर दिया। दूसरी ओर यूनियन ने पुडा ग्राउंड में चल रहा प्रदर्शन पहले की तरह जारी रखने का एलान करते हुए मीटिंग में सार्थक हल न होने की सूरत में 14 मार्च को बड़ा एक्शन करने की चेतावनी भी दी।
प्रशासन ने प्रदर्शन खत्म करवाने के लिए दो प्लान बनाए थे। पहला बेरोजगार अध्यापकों को डराकर धरना समाप्त करने के लिए कहा गया। यूनियन सदस्य दीप बनारसी ने बताया कि पुलिस प्रशासन द्वारा भाखड़ा नहर पर प्रदर्शन कर रहे बेरोजगार अध्यापकों को पहले रविवार देर रात डराया गया। पुलिस ने सोमवार सुबह तक प्रदर्शनकारियों को मामला दर्ज करने की धमकियां दी। मामला दर्ज होने पर नौकरी न मिलने की बातें कहकर भी डराया गया, लेकिन प्रदर्शनकारी पीछे नहीं हटे। इसके बाद प्रशासन ने उनकी मीटिंग प्रिंसिपल चीफ सेक्रेटरी सुरेश कुमार के साथ फिक्स करवाकर नहर पर चल रहा प्रदर्शन खत्म करवाया।
ये हैं यूनियन की मांगें
- प्राइमरी स्कूलों में खाली पोस्टें भरी जाएं।
- ईटीटी टेट पास अध्यापकों पर लागू एक और टेस्ट रद करके भर्ती पहले की तरह टीईटी की मेरिट के आधार पर करने की मांग।
- उम्र सीमा 37 से 42 साल करने मांग।
बेरोजगार अध्यापकों के सरकार से सवाल
- राज्य में ईटीटी टीचर्स की 12000 के करीब पोस्टें खाली, फिर भी 1664 पोस्टें क्यों निकाली?
- सत्ता में आने से पहले सीएम ने बेरोजगारी दूर करने का वादा किया था, लेकिन तीन साल बाद पोस्टें निकाली, वह भी काफी कम।
- सीएम ने तीन बार आश्वासन देकर मीटिंग नहीं की। समय देकर भी मांगें सुनने का समय क्यों नहीं सीएम के पास?
- राज्य में 14136 टीईटी पास बेरोजगार अध्यापकों के लिए रोजगार की व्यवस्था क्यों नहीं कर रही सरकार।
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