वादों की अनदेखी, इंडस्ट्रियलिस्टों को लगा झटका
इंडस्ट्री को 5 रुपये प्रति यूनिट बिजली देने के वायदे पर कांग्रेस सरकार घिरती नजर आ रही है। बिजली के बिल 9.80 रुपये यूनिट आने से सीएम सिटी के इंडस्ट्रियलिस्ट नाराज है। बार-बार मांग करने पर भी बिजली बिलों में कोई सुधार नहीं हो रहा।
जागरण संवाददाता, पटियाला
इंडस्ट्री को 5 रुपये प्रति यूनिट बिजली देने के वायदे पर कांग्रेस सरकार घिरती नजर आ रही है। बिजली के बिल 9.80 रुपये यूनिट आने से सीएम सिटी के इंडस्ट्रियलिस्ट नाराज है। बार-बार मांग करने पर भी बिजली बिलों में कोई सुधार नहीं हो रहा। अब इंडस्ट्रियलिस्ट पंजाब स्टेट इलेक्ट्रीसिटी रेगुलेटरी कमीशन और पावरकॉम के चेयरमैन से मिलने जा रहे हैं। इससे पहले भी फोकल प्वाइंट इंडस्ट्री एसोसिएशन पावरकॉम मैनेजमेंट से बैठक कर चुकी है।
पटियाला चैंबर ऑफ इंडस्ट्री के प्रधान न¨रदर ¨सह खुराना ने बिजली का बिल दिखाते हुए कहा कि इस बार भी बिजली का बिल 9.80 रुपये प्रति यूनिट के हिसाब से आया है। वादों के बावजूद पावरकॉम डिपार्टमेंट इंडस्ट्री को 5 रुपये प्रति यूनिट बिजली मुहैया नहीं करवा पा रहा, जबकि मुख्यमंत्री कैप्टन अम¨रदर ¨सह कई बार इसकी घोषणा कर चुके हैं। पटियाला के इंडस्ट्रियलिस्ट की सुनवाई नहीं हो रही। बिजली के बढ़े हुए बिल को लेकर पटियाला चैंबर ऑफ इंडस्ट्री के सदस्य पावरकॉम के सीएमडी से मुलाकात करेंगे। 5 रुपये प्रति यूनिट लागू कराने को लेकर अगर जरूरत पड़ी तो चंडीगढ़ स्थित इलेक्ट्रीसिटी रेगुलेटरी कमीशन से भी मिलेंगे। अधिक बिल आने से इंडस्ट्रियलिस्ट में बेचैनी बढ़ती जा रही है।
इंडस्ट्रियल फोकल प्वाइंट एसोसिएशन के बलबीर ¨सह शाही ने कहा कि इंडस्ट्री को 5 रुपये यूनिट बिजली देने की घोषणा केवल कागजों तक सीमित रह गई है। इंडस्ट्रलिस्ट अभी भी भारी भरकम बिल दे रहे हैं, जबकि सुविधा के नाम पर पावरकॉम महज खानापूर्ति कर रही है। राज्य की इंडस्ट्री पहले ही पड़ोसी राज्यों की नीतियों कारण पलायन हो रही है, जो पंजाब के विकास में योगदान देते हुए यहीं फैक्ट्री चला रहे है उनकी तरफ सरकार की ध्यान नहीं है। 5 रुपये यूनिट बिजली का वादा कहां गया। मुख्यमंत्री कै.अम¨रदर ¨सह को जल्द से जल्द अपनी की हुई घोषणा पर अमल कराना चाहिए।