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खराबी ठीक करने से मुकरी कार कंपनी तो उपभोक्ता फोरम में पहुंचा ग्राहक

कार कंपनी से करीब 22 लाख रुपये की खरीदी नई गाड़ी की तकनीकि खराबी की शिकायत की तो कंपनी ने इसे ठीक करने से इंकार कर दिया।

By JagranEdited By: Published: Fri, 27 Dec 2019 12:54 AM (IST)Updated: Fri, 27 Dec 2019 06:08 AM (IST)
खराबी ठीक करने से मुकरी कार कंपनी तो उपभोक्ता फोरम में पहुंचा ग्राहक
खराबी ठीक करने से मुकरी कार कंपनी तो उपभोक्ता फोरम में पहुंचा ग्राहक

जागरण संवाददाता, पटियाला :

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कार कंपनी से करीब 22 लाख रुपये की खरीदी नई गाड़ी की तकनीकि खराबी की शिकायत की तो कंपनी ने इसे ठीक करने से इंकार कर दिया। कंपनी ने जवाब दिया कि कार में कोई खराबी नहीं है, जिसके बाद कई चक्कर काटने पड़े। लग्जरी गाड़ी के कांपने की समस्या से परेशान होकर कार के मालिक हरजीत सिंह निवासी त्रिपड़ी ने बताया कि राष्ट्रीय उपभोक्ता विवाद निवारण कमिशन ने उनकी शिकायत को सही पाया।

कंपनी के खिलाफ पंजाब उपभोक्ता विवाद निवारण कमिश्न में सुनवाई हो रही है। दूसरी ओर सर्विस न देने पर पटियाला उपभोक्ता फोर्म को शिकायत दी। वहीं, हरजीत सिंह ने बताया कि उन्होंने यह कार मार्च 2018 में खरीदी थी। कार कुछ समय चलाई तो महसूस हुआ कि गाड़ी चलते समय कांपती है। इसकी कंप्लेंट मोहाली स्थित कार एजेंसी में की, क्योंकि कार यही से खरीदी थी। एजेंसी वालों ने कहा कि वह चेक करेंगे, लेकिन बाद में समस्या हल नहीं की। बार-बार कंप्लेंट की तो इन लोगों ने सुनवाई करनी बंद कर दी। जिसके बाद पंजाब उपभोक्ता विवाद निवारण कमिशन को कंप्लेंट की, जहां से उनकी कंप्लेंट खारिज कर दी गई। मामला नेशनल उपभोक्ता विवाद निवारण कमिशन के पास पहुंचा, जिन्होंने उनके हक में फैसला सुनाते हुए बनती कार्रवाई करने के निर्देश दिए। इस दौरान एक अन्य नामी कार एजेंसी के मालिक दीदार, मैकेनिक राजिदर कुमार सरकारी सर्वेयर शमशेर सिंह से कार टेस्ट करवाई, जिन्होंने कार में तकनीकि खामी बताई। बावजूद इन सभी सबूतों के कार कंपनी ने उनकी सुनवाई नहीं की, जिस वजह से वह पैसा वापस लेने के लिए संघर्ष कर रहे हैं। हरजीत सिंह के वकील दिनेश शर्मा ने बताया कि इस दौरान ही हरजीत सिंह कार को केमिकल से धुलवाने के लिए कंपनी के पास गए थे, लेकिन वहां पर कार को पानी से धोकर वापस कर दी और बदले में पैसा भी वसूल किया। यह केस पटियाला कंज्यूमर फोरम में किया गया है। कोट्स

बिना गाड़ी देखे नहीं बता सकते

बिना गाड़ी देख कर कुछ कहा नहीं जा सकता। गाड़ी में कोई मेनूफेक्चरिग नुक्स है तो तो उसकी रिपोर्ट हेड आफिस भेजी जाती है, जहां से कंपनी के इंजीनियर आकर गाड़ी के नुक्स की जांच करते है। कोई पार्ट बदलना है तो कंपनी बदलती है। कंस्टमर उनकी एजेंसी आकर गाड़ी दिखा सकता है।

..राहुल चौहान, टीम लीडर टोयोटा।


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