जेल में बंद कैदियों को राखी बांधने पहुंची 200 बहनें
पटियाला केंद्रीय जेल में बंद अपने भाईयों की कलाई पर राखी बांधने के लिए 200 बहनें पहुंची लेकिन वह न तो उनको राखी बांध पाई और न ही उनको मिल पाई। बहनों को अपनी राखी जेल प्रशासन को सौंपकर ही अपने दिल को समझना पड़ा।
जागरण संवाददाता, पटियाला : केंद्रीय जेल में बंद अपने भाईयों की कलाई पर राखी बांधने के लिए 200 बहनें पहुंची, लेकिन वह न तो उनको राखी बांध पाई और न ही उनको मिल पाई। बहनों को अपनी राखी जेल प्रशासन को सौंपकर ही अपने दिल को समझना पड़ा। इस बार जेल प्रशासन ने कोरोना वायरस से बचाव के लिए महिलाओं को राखी बांधने सहित किसी भी व्यक्ति को राखी लेकर जेल के भीतर आने की इजाजत नहीं दी।
जेल प्रशासन ने किए पुख्ता प्रबंध
जेल प्रशासन ने इस बार जेल में बंद करीब 1600 कैदियों एवं हवालातियों को कोरोना वायरस से बचाए रखने के लिए बहनों को सीधे भाई की कलाई पर राखी बांधने की इजाजत देने के बजाय खुद उनसे राखी ली। उनको सैनिटाइज करके उनके भाईयों तक खुद पहुंचाया। राखी लेने की सुबह आठ बजे से शुरू हुई प्रक्रिया शाम पांच बजे तक जारी रही। इस दौरान 200 बहनें अपने भाइयों के लिए राखी लेकर जेल में पहुंचीं और अधिकारियों को राखी दी। उनकी शारीरिक दूरी बनाए रखने के लिए पूरा इंतजाम किया गया था। जेल प्रशासन ने पहले ही कह दिया था। वहां पर आने वाले लोग राखी के पैकेट पर भाई का नाम लिखकर आएं, ताकि उनको पहुंचाया जाए।
जेल प्रशासन ने राखी लेकर आए लोगों से पहले रखी ली और उसको सैनिटाइज करके पेकिग करवाई । पैकिग करने के बाद उनको जेल के अंदर पहुंचाया। इसके साथ ही जेल प्रशासन ने मिठाई भी दी, ताकि वे खुशी से अपनी राखी कलाई पर बांध सकें। इस बाबत जेल के सुपरिटेंडेंट केएस संधू ने बताया कि आज राखी का त्यौहार शांतिपूर्वक बीता है।