अब द हिदू बैंक के कर्मी लोन उगाहने के लिए नहीं कर पाएंगे धरना-प्रदर्शन
सात अरब रुपये का सालाना कारोबार करने वाले दी हिदू अर्बन को-आपरेटिव बैंक के कर्मचारी अब लोन उगाहने के लिए धरना-प्रदर्शन नहीं कर पाएंगे।
जासं, पठानकोट : सात अरब रुपये का सालाना कारोबार करने वाले दी हिदू अर्बन को-आपरेटिव बैंक के कर्मचारी अब लोन उगाहने के लिए धरना-प्रदर्शन नहीं कर पाएंगे। उन्हें यह ऐसा नहीं करने की नसीहत आदर्श आचार संहिता को लागू करने के लिए बनाए गए मोडल अफसर पी सिंह ने दी। पठानकोट के सहायक कमिश्नर (शिकायत) एवं नोडल अफसर कोड आफ कंडकट पी सिंह के साथ मुलाकात आज सुबह बार एसोसिएशन के पूर्व अध्यक्ष एडवोकेट कुलभूषण मनहास ने अपने साथी वकीलों संग की। उन्होंने दर्ज करवाई शिकायत में कहा कि बैंक के कुछेक कर्मचारी एक राष्ट्रीय पार्टी से संबंधित हैं और वह अपने आका के इशारे पर ही कुछेक उपभोक्ताओं के घर-घर जा कर प्रदर्शन कर रहे हैं। उन्होंने ऐसे कर्मचारियों के नाम भी शिकायत में दिए। एडवोकेट मनहास ने दावा किया कि जिस प्रकार से यह काम हो रहा है वह आदर्श आचार संहिता का सरेआम उल्लंघन है। जीए पी सिंह ने वकीलों की शिकायत पर तुरंत संज्ञान लेते हुए प्रदर्शन पर रोक लगा दी है। साथ ही यह निर्देश भी दिया कि बिना किसी अनुमति के बैंक कर्मचारी ऐसा कुछ नहीं करेंगे।
वकीलों का तर्क
वकीलों का तर्क है कि बैंक की कार्यशैली ने लगभग एक लाख परिवारों के खाते सीज कर दिए हैं। कर्मचारियों ने पहले कभी भी अच्छे से काम नहीं किया है। कर्मचारियों और बैंक अधिकारियों की मिली भुगत के बग़ैर बैंक डूब नहीं सकता था। बैंक की वर्तमान हालत राजनीतिक दखलअंदाजी का परिणाम है। नेताओं ने चेयरमैन और अफसर लगाने के चक्कर में बैंक का बेड़ा गर्त कर दिया है। अब कर्मचारी खुद को साफ साबित करने के लिए दूसरों पर कीचड़ उछाल रहे है। रिजर्व बैंक को चाहिए कि वह एक लाख लोगों के पैसों को ध्यान में रखते हुए ठोस कदम उठाए।
कांग्रेस ने नहीं निभाया वादा : अश्वनी शर्मा
पूर्व विधायक एवं पंजाब भाजपा के पूर्व अध्यक्ष अश्वनी शर्मा ने हिदू बैंक की वर्तमान हालत हल नहीं करने के लिए पंजाब की कांग्रेस सरकार को आड़े हाथ लिया है। अश्वनी शर्मा ने कहा कि बैंक की पतली हालत पंजाब की अकाली -भाजपा सरकार के कार्यकाल में भी हुई थी परंतु तब सरकार ने इसे सुलझा लिया था। कुछ दिन पहले तक पठानकोट के विधायक अमित विज तथा संसदीय हलके के सांसद सुनील जाखड़ ने बैंक को आश्वासन दिया था कि वह इसे कमजोर वित्तीय हालत से उभारने में सहयोग करेंगे। उन्होंने कहा कि बैंक कर्मचारी कुछ दिन पहले भी सासंद से मिले थे और उन्होंने साफ कहा था कि पंजाब सरकार बैंक पर आंच नहीं आने देगी परंतु वह अपना वायदा निभाने में असफल रहे हैं। अश्वनी ने कहा कि वह बैंक के एक-एक उपभोक्ता के साथ खडे हैं।
लोगों का पैसा डुबोने वाले बैंक कर्मियों की हो सीबीआइ जांच : डॉ. समरेंद्र
पंजाब पब्लिक सर्विस कमिश्नर के पूर्व सदस्य एवं भाजपा के सीनियर लीडर रहे प्रिसिपल समरेंदर शर्मा ने एडवोकेट कुलभूषण मन्हास एवं पठानकोट व्यापार मंडल के अध्यक्ष एसएस बावा संग मिलकर पत्रकार सम्मेलन में मांग की कि बैंक में करोड़ों के घपलों हुए हैं अतएव इसकी सीबीआई जांच होनी चाहिए। डॉ. समरेंदर शर्मा ने कहा कि वह खुद बैंक की मंदी नीतियों के भुगत भोगी हैं। उनका खुद का पैसा भी डूब गया है। उन्होंने कहा कि बैंक के बहुत से वर्तमान तथा पूर्व अधिकारी इसके लिए जिम्मेदार हैं। इन अधिकारियों ने बीस-बीस लाख की संपत्ति पर दो-दो करोड के लोन दे रखे हैं। अब जब लोन भुगतान की बारी है तो बहुत सो लोग आना-कानी कर रहे हैं। उन्होंने कहा कि वह विजिलेंस को एफीडेविट दे कर ऐसे अधिकारियों की जांच करने और फिर उनकी संपत्ति को भी अटैच करने की अपील करेंगे। उन्होंने कहा कि जब तक अधिकारियों की संपत्तियां अटैच नहीं होगी और उन्हें जिम्मेदार नहीं बनाया जाएगा तब तक बैंक का घाटा पूरा नहीं होगा।
बैंक में 200 कर्मी, जरूरत 90 की : मन्हास
पत्रकार सम्मेलन में एडवोकेट मन्हास और डॉ. समरेंदर शर्मा ने कहा कि बैंक की हालत के हिसाब से उसमें अधिकतम 90 कर्मचारियों की जरूरत है। जबकि इस समय बैंक में 200 कर्मचारी काम कर रहे हैं। उन्होंने कहा कि आधे से ज्यादा कर्मचारी तुरंत निकाले जाने चाहिए।
शनिवार को नहीं हुआ धरना
हिदू बैंक के स्टाफ ने शनिवार को लोन उगाहने के लिए कोई धरना-प्रदर्शन नहीं किया। बैंकिग के हिसाब से वित्त का अंतिम दिन लोन उगाहने के लिए बेहद महत्वपूर्ण था।