पठानकोट में 538 सरकारी स्कूलों में 1.42 लाख किताबों का किया वितरण
जिला भर के 538 सरकारी प्राइमरी हाई तथा सीनियर सेकेंडरी स्कूलों में विभाग में किताबें बांटी गई।
संवाद सहयोगी, पठानकोट : जिला भर के 538 सरकारी प्राइमरी, हाई तथा सीनियर सेकेंडरी स्कूलों में विभाग की ओर से अभी तक कुल वितरित की जानी वाले किताबों का आधे से भी कम हिस्सा ही वितरित किया जा सका है। आधे से अधिक किताबें अभी विभाग के पास पहुंची ही नहीं। ऐसे में इन किताबों के आने के बाद विभाग को एक बार फिर से बच्चों को बुलाकर अथवा अध्यापकों को इनके घर-घर तक किताबें वितरित किए जाने के लिए जी जान मारनी पड़ेगी।
शिक्षा विभाग के अधिकारियों के अनुसार विभाग के पास अभी तक सिर्फ 1.42 लाख के लगभग किताबें पहुंच पाई थी। विभिन्न बीपीइओ की ओर से इसी आधार पर बच्चों को किताबें दी गई है। 2 लाख 34 हजार के करीब किताबें आना अभी शेष हैं, जैसे ही यह किताबें आएगी, बच्चों को वितरित कर दी जाएगी। 538 सरकारी स्कूलों में 48538 बच्चे करते रहे शिक्षा ग्रहण
जिला भर में 538 सरकारी, प्राइमरी, हाई तथा सेकेंडरी स्कूल है। इन स्कूलों में 48538 विद्यार्थी शिक्षा ग्रहण करते हैं। इनमें से लड़किया-लड़के एससी तथा बीपीएल परिवारों को किताबें वितरित किए जाने की सूची तैयार हो चुकी है। इन समस्त बच्चों के लिए जिला भर में 1 लाख 42 हजार के करीब किताबें आई थी जोकि लगभग लिस्टों के हिसाब से वितरित की जा चुकी है। 2 लाख 34 हजार के करीब किताबें अभी आना शेष है। जैसे ही यह किताबें आएगी, उन्हें भी वितरित कर दिया जाएगा। इन किताब वितरण में लगे अध्यापकों को बच्चों के घरों तक किताबें पहुंचाने के एवज में किसी तरह का कोई भत्ता नहीं दिया जाता। किताब वितरण में शारीरिक दूरी का रखा जा रहा ध्यान
डीइओ एलीमेंट्री इंजीनियर संजीव गौतम ने कहा कि अध्यापकों की ओर से अपने बीपीइओ से किताबें लेकर स्कूलों में रखी गई है। ऐसे में वह शारीरिक दूरी का खास तौर पर ध्यान रखकर अभिभावकों तथा बच्चों को 10-10 की संख्या में बुलाकर वितरित कर रहे हैं। यदि कोई बच्चे स्कूलों से दूर रहते है तो ऐसे बच्चों तक उनके अध्यापक किताबें पहुंचाने का काम कर रहे हैं।