50 रुपये प्रति किलो तक पहुंचे प्याज के दाम, लोगों की परेशानी बढ़ी
दो सालों बाद प्याज के दामों में फिर से भारी उछाल आया है। प्याज 50 रुपये प्रति किलो तक मार्केट में बिक रहा है। दाम बढ़ने की मुख्य वजह मार्केट में नई फसल का न आना है।
ऋषि चंद्र, नवांशहर : दो सालों बाद प्याज के दामों में फिर से भारी उछाल आया है। प्याज 50 रुपये प्रति किलो तक मार्केट में बिक रहा है। दाम बढ़ने की मुख्य वजह मार्केट में नई फसल का न आना है। बारिश की वजह से कर्नाटक, आंध्रप्रदेश और तमिलनाडू में प्याज की फसल को काफी नुकसान पहुंचा है। 60 से 70 फीसद प्याज की फसल खेतों में ही खराब हो चुकी है। पंजाब में सिर्फ नासिक और मध्यप्रदेश से ही प्याज आ रहा है। अलवर से प्याज की सप्लाई होने के बाद प्याज सस्ता हो सकता है लेकिन अलवर का प्याज अक्टूबर के अंतिम सप्ताह से पहले मंडियों में नहीं आएगा।
नवांशहर सब्जी मंडी में प्याज के आढ़ती त्रिलोकीनाथ, चेतन कृष्ण और दुशांत भुच्चर ने बताया कि प्याज कि दाम बढ़ने से खपत भी कम हुई है। कोई भी रिटेल दुकानदार बड़ा स्टॉक नहीं उठा रहा है, क्योंकि दाम अभी स्थिर नहीं हुए हैं। सभी दुकानदार थोड़ा-थोड़ा स्टॉक उठा रहे हैं। माना जा रहा है कि फेस्टिवल सीजन आने की वजह से प्याज के दाम अभी बहुत कम नहीं होंगे। प्याज की नई फसल आने के बाद ही दाम कम होने की संभावना है। मंडी में प्याज का काम करने वाले दुकानदारों ने बताया कि प्याज के दाम एकदम बढ़ने से वह स्टॅाक उठाने से डर रहे हैं। इस वजह से अब रोजाना की जरूरत का ही स्टॉक उठाया जा रहा है। प्याज के दाम बढ़ने से मंडियों में ग्राहकों की कमी
दविदर बंटी का कहना है कि कुछ दिनों में ही प्याज के दाम 10 से 15 रुपये बढ़ने से मंडियों में ग्राहकों की कमी है। ग्राहक मंडियों में आकर खरीद करने से कतरा रहे हैं। सिर्फ प्याज के दाम ही नहीं बड़े साथ साथ सभी सब्जियों के दाम बढ़ने से मंडियों में ग्राहकों की कमी है। लोग अब जरुरत के हिसाब से ही मंडियों से सामान खरीद रहें हैं। इस लिए मंडियों में दुकानदारों को मंदी का सामना करना पढ़ रहा है। पांच किलो के स्थान पर जरुरत का खरीद रहें प्याज
ग्रहणी नीलम का कहना है कि प्याज महंगा होने से पहले घर के लिए पांच किलो की खरीद किया करते थे। अब प्याज के दाम बढ़ने से जरुरत के मुताबिक ही प्याज की खरीद की जा रही है। कब प्याज के दाम कम हो जाए। इसलिए प्याज पांच किलो के स्थान पर अब प्याज की खरीद एक किलो की ही की जा रहा है। पिछले साल हुआ था घाटा इस बार नहीं किया स्टॉक
प्याज के विक्रेता धर्मपाल ने बताया के पिछले साल प्याज के रेट बड़े थे, तब कुछ स्टाक किया था और कुछ समय में ही प्याज के दाम स्थिर इसलिए इस बार घाटे के डर से स्टाक नहीं किया। वर्ष 2017 में प्याज के दाम 50 रुपये तक पहुंच गए थे। उसे ध्यान में रखते हुए पिछले साल बहुत से व्यापारियों ने काफी स्टाक जमा कर लिया था। लेकिन पिछले साल नई फसल का मंडियों में आने की वजह से दाम नहीं बढ़े और स्टाक किया हुआ प्याज ऐसे ही सड़ गया था। इस वजह से इस बार व्यापारियों ने स्टॉक जमा नहीं किया।