विजयादशमी पर केंद्र का फूंका पुतला
दशहरा पर हर वर्ष रावण मेघनाद व कुंभकर्ण के पुतले जलाएजाते हैं।
संवाद सहयोगी, श्री मुक्तसर साहिब
दशहरा पर हर वर्ष रावण, मेघनाद व कुंभकर्ण के पुतले जलाकर बुराई का अंत किया जाता है लेकिन इस बार किसानों ने अलग तरीके से दशहरा मनाया। इस अवसर पर किसानों द्वारा प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का पुतला फूंका गया। 23 दिनों से किसानों की तरफ से नए बने खेती कानूनों के विरोध में संघर्ष किया जा रहा है। पुतला फूंकते समय महिलाएं, बच्चे ने भी शमूलियत की।
खेती मजदूर जत्थेबंदी, भारतीय किसान यूनियन एकता उगराहा तथा अन्य जत्थेबंदियों की तरफ से मलोट रोड पर प्रधानमंत्री का पुतला फूंका गया। वक्ताओं ने कहा कि खेती कानूनों के नाम पर पास किए गए काले कानूनों को जब तक केंद्र सरकार रद नहीं करती तब तक संघर्ष जारी रहेगा। उन्होंने कहा कि भाजपा के नेताओं को गांवों, शहरों में घूसने नहीं दिया जाएगा। किसानों ने कहा कि उन्हें लोगों का पूरा समर्थन मिल रहा है। उन्होंने नेताओं को भी चेतावनी देते हुए कहा कि वह किसानों की आड़ में अपनी राजनीति चमकाने से बाज आ जाएं।
इस अवसर पर सुखदेव सिंह बुडा गुज्जर, बोहड़ सिंह, सुमंदर सिंह, जगदेव सिंह, हरमनदीप सिंह, रणदीप सिंह, गुरवीर सिंह काकू, हरजीत सिंह, तरसेम खुंडेहलाल, काका सिंह, आंगनवाड़ी की राष्ट्रीय मीत प्रधान हरगोबिद कौर, छिदरपाल कौर आदि उपस्थित थे।