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अब वोटर कार्ड से जुड़ेगा आधार व वाट्सएप नंबर

राज कुमार राजू, मोगा : अब मतदाता सूची में मतदाताओं के नाम के साथ आधार व मोबाइल नंबर भी जोड

By JagranEdited By: Published: Fri, 01 Dec 2017 03:01 AM (IST)Updated: Fri, 01 Dec 2017 03:01 AM (IST)
अब वोटर कार्ड से जुड़ेगा आधार व वाट्सएप नंबर
अब वोटर कार्ड से जुड़ेगा आधार व वाट्सएप नंबर

राज कुमार राजू, मोगा : अब मतदाता सूची में मतदाताओं के नाम के साथ आधार व मोबाइल नंबर भी जोड़ा जाएगा। राज्य निर्वाचन आयोग के इस निर्णय के बाद अब निर्वाचन विभाग के कर्मचारी घर-घर जाकर मतदाताओं से उनके आधार नंबर व मोबाइल नंबर को लेकर वार्ड के हिसाब से सूची में नंबरों को जोड़ेंगे।

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जानकारी के अनुसार अब वोटर कार्ड के लिए परेशान नहीं होना पड़ेगा। युवा जैसे ही 18 साल के होंगे, उनका नाम खुद ही उनके इलाके की वोटर लिस्ट में जुड़ जाएगा। इसके बाद वोटर कार्ड उनके घर भी पहुंच जाएगा। इसके लिए न तो बूथ जाना पड़ेगा और न ही निर्वाचन दफ्तर के चक्कर लगाने होंगे। वोटर लिस्ट में नाम जोड़ने के लिए फॉर्म भी नहीं भरना पड़ेगा। यह आधार कार्ड के जरिए होगा। केंद्रीय निर्वाचन आयोग आधार कार्ड को वोटर लिस्ट से ¨लक करने का सिस्टम बना रहा है। यह 15 अगस्त तक बनकर तैयार हो जाएगा।

ऑनलाइन ही बदलवा सकेंगे फोन नंबर और पता

एडीसी राजेश त्रिपाठी के अनुसार आधार कार्ड में दिया आपका फोन नंबर या पता बदल गया है तो उसे बदलवाने के लिए यूआइडीएआई की वेबसाइट पर ऑनलाइन आवेदन किया जा सकेगा। इस सिस्टम में सबसे पहले उन लोगों के नाम जोड़े जाएंगे, जिनके आधार कार्ड बन चुके हैं। 15 अगस्त के बाद जैसे ही किसी का आधार कार्ड बनेगा, वह खुद ही आयोग के सिस्टम से ¨लक हो जाएगा।

ऐसे जुड़ेगा नाम

- कम उम्र के बच्चे जिनका आधार कार्ड बना हुआ है, 18 साल के होते ही वे वोटर लिस्ट में आ जाएंगे।

- उन्हें मोबाइल पर इसका कन्फर्मेशन मैसेज मिल जाएगा।

अब नए वोटर आइडी कार्ड के लिए जन्म और आवासीय प्रमाण पत्र देना अनिवार्य होगा। मतदाता चाहे वीआइपी हो या सामान्य। सिर्फ फॉर्म-6 भरने से नाम नहीं जुड़ेगा। उन्हें अपना प्रमाण पत्र फॉर्म के साथ में देना होगा। भारत निर्वाचन आयोग के निर्देश पर सभी फॉर्म और दस्तावेजों को ईआरओ यानी निर्वाचक निबंधन पदाधिकारी के नेट पर अपलोड किया जाएगा, जिसे चार श्रेणियों में जांच करने के बाद वोटर आइडी कार्ड को पास किया जाएगा।

घर-घर जाएंगे बीएलओ

दरअसल बूथ लेबल ऑफिसर (बीएलओ) मतदाताओं से उनका फॉर्म-6 लेंगे, जो अपने इलाके के कार्यालय क्षेत्र में ऑपरेटर से ईआरओ-नेट पर मतदाता का प्रमाण पत्र और फॉर्म को अपलोड कराएंगे। अपलोड होने के बाद इसकी जांच सुपरवाइजर करेंगे। दस्तावेजों का मिलान करने के बाद इसे एइआरओ यानी सहायक निर्वाचक निबंधन पदाधिकारी के पास भेज देंगे। एइआरओ भी दस्तावेजों का मिलान कर एक चेक लिस्ट जारी करेगा, जिसके बाद इआरओ अपनी अंतिम मुहर लगाएंगे। हालांकि, यह व्यवस्था पहले भी थी, लेकिन इससे पहले बिना दस्तावेज के ही वोटर आइडी कार्ड बन जाता था। इस मामले पर सख्ती करने के लिए दस्तावेज को सीधे ईआरओ के नेट पर अपलोड कर किया जा रहा है, ताकि कभी भी संबंधित मतदाता के दस्तावेज देखे जा सकते हैं।

आवेदन के साथ देना होगा सबूत

जन्म प्रमाण पत्र के लिए हाई स्कूल का सर्टिफिकेट, पैनकार्ड, रजिस्ट्रार द्वारा निर्गत जन्म प्रमाण पत्र, आधारकार्ड को शामिल किया जाएगा। घर के पते के लिए बिजली बिल, पैन पासबुक, राशन कार्ड, ड्राइ¨वग लाइसेंस, टेलीफोन, पासपोर्ट, पानी का बिल, आयकर निर्धारण के किसी आदेश की कॉपी को प्रमाण पत्र के रूप में स्वीकार करेंगे।

किसके लिए है कौन सा फार्म

- नए मतदाता बनने के लिए फॉर्म -6

- विदेश में रहने वाले भारतीय मतदाताओं के लिए फॉर्म-6 ए

-नाम के शामिल किए जाने पर कोई आपत्ति के लिए फॉर्म -7

-मतदाता सूची में गलती को दूर कर शुद्ध करवाने के लिए फॉर्म -8

-एक ही विधानसभा क्षेत्र में पता बदलवाने के लिए फॉर्म -8 ए


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