तीन सालों में गई 291 जानें, शहर में बड़ा ब्लैक स्पाट बरकार
सत्येन ओझा मोगा जिले में पिछले तीन सालों में करीब
सत्येन ओझा, मोगा
जिले में पिछले तीन सालों में करीब 852 सड़क हादसों में 291 लोगों की जिदगी जा चुकी है। इनमें सबसे ज्यादा हादसे मोगा-लुधियाना स्थित अधूरे हाईवे पर हुए। इसी रोड पर धुंध ने पिछले साल 11 फरवरी को हुए हादसे ने एक पूरे परिवार को लील लिया था। दिल्ली से अपनी पत्नी, बेटी व बेटे के साथ मोगा लौटते समय मैहना के निकट उक्त परिवार की कार सड़क किनारे खड़े ट्रक से टकरा गई थी। इस दौरान मौके पर चारों की मौत हो गई थी। वहीं सैकड़ों जानें जाने के बाद सरकार की नींद खुली और 13 करोड़ रुपये अधूरे हाईवे के लिए जारी हुए, अब हाईवे का काम पिछले छह माह से तेजी के साथ जारी है। उसके बाद सड़क हादसों में भी कमी आई है।
मगर, बिना ट्रैफिक कंट्रोल लाइटों के शहर का सबसे व्यस्ततम बहोना चौक रफ्तार से आएदिन खून से लाल होता है। फिर भी किसी ने बहोना चौक की इस समस्या को गंभीरता से नहीं लिया। यह शहर का सबसे बड़ा ब्लैक स्पाट है। पुलिस के अनुसार पिछले एक साल में सड़क हादसों में 113 लोगों की जान जा चुकी है व 203 लोग गंभीर रूप से घायल हो चुके हैं।
बता दें कि शहर में अधूरा हाईवे, मैहमेवाला चौक, चड़िक चौक, बहोना चौक सर्दी के दिनों में कोहरे में ढकने के बाद और भी ज्यादा खतरनाक हो जाते हैं। जिले में पिछले तीन सालों में जो हादसे हुए हैं, उनमें 21 पैदल, 92 साइकिल चालक, सौ से ज्यादा दो पहिया व चार पहिया वाहन हादसे हो चुके हैं। इनमें से करीब सौ से ज्यादा हादसे धुंध के कारण हुए हैं।
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ये हैं बड़े हादसे
शहर के रेलवे रोड निवासी 48 वर्षीय व्यापारी राजीव मित्तल इंडियन आयल कंपनी की लुब्रिकेंट आयल सर्वो के डिस्ट्रीब्यूटर थे। पिछले साल 11 फरवरी को वह अपनी पत्नी मंजू मित्तल, बेटा शुभम व बेटी निधि के साथ दिल्ली से वापस अपनी कार से घर लौट रहे थे। सुबह लगभग 8 बजे जब धुंध काफी ज्यादा थी, तो हाईवे किनारे सड़क पर खड़े इंडियन आयल कंपनी के एक ट्रक के पीछे मैहना के निकट उनकी कार घुस गई थी। जिसके कारण मौके पर चारों की मौत हो गई थी।
-17 जनवरी की सुबह मोगा-कोटकपूरा बाईपास पर घने कोहरे के कारण घटे भीषण सड़क हादसे में दो लड़कियों सहित तीन की मौत हो गई थी। सिघांवाला निवासी अभिषेक शर्मा (18) अपनी बहन पूजा शर्मा (20) और सिमरनजीत कौर (20) को अपने मोटरसाइकिल पर मोगा लेकर जा रहा था। जब वह कोटकपूरा बाइपास पर एक ढाबे के पास पहुंचा, तो घने कोहरे के कारण उनका मोटरसाइकिल एक खड़े कैंटर से टकरा गया। जिस कारण वह तीनों ही सड़क पर गिर गए। उनकी मदद के लिए आगे आए चंद पुराना निवासी हरप्रीत सिंह और बाघापुराना निवासी राम कुमार भी फरीदकोट से आ रही तेज रफ्तार कार की चपेट में आ गए। इस दौरान हरप्रीत सिंह की (33) की मौके पर मौत हो गई। पूजा शर्मा व सिमरनजीत कौर की भी बाद में मौत हो गई थी।
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पुलिस रिकार्ड के अनुसार सड़क हादसों में मारे गए लोगों का आंकड़ा
साल मौत
2018 113
2019 109
2020 अभी तक 69
------------ चौपहिया व दोपहिया वाहनों में मौत सहित राहगीरों की मौत व घायल होने वालों का टेबल
साल -2018
कुल सड़क हादसे के मामले दर्ज -142
मौतें- 113
गंभीर चोटें-68 दोपहिया वाहनों में मौत-68
दोपहिया वाहनों में घायल- 42 चौपहिया वाहनों में मौत-32
चौपहिया वाहनों के कारण घायल-16
राहगीरों की मौत 13
राहगीर घायल-8
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साल-2019
कुल सड़क हादसों के मामले दर्ज- 132
मौतें- 109
गंभीर चोटें-57 दोपहिया वाहनों में मौत-57
दोपहिया वाहनों में घायल- 29 चौपहिया वाहनों में मौत-41
चौपहिया वाहनों के कारण घायल- 14
राहगीरों की मौत 11
राहगीर घायल 17
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साल-2020
20 नवंबर तक -
कुल सड़क हादसों के मामले दर्ज- 84
मौतें-69
गंभीर चोटें-42 दोपहिया वाहनों में मौत-39
दोपहिया वाहनों में घायल- 27 चौपहिया वाहनों में मौत-12
चौपहिया वाहनों के कारण घायल- 12
राहगीरों की मौत-19
राहगीर घायल-3