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सीएमसी अस्पताल में गर्भपात पर भड़के परिजन, डॉक्टर पर लगाए लापरवाही के आरोप

परिवार का आरोप था कि गर्भ में पल रहे शिशु की मौत डॉक्टर की लापरवाही से हुई। परिजनों ने डॉक्टर के खिलाफ प्रदर्शन भी किया।

By JagranEdited By: Published: Fri, 17 Aug 2018 02:10 PM (IST)Updated: Fri, 17 Aug 2018 02:10 PM (IST)
सीएमसी अस्पताल में गर्भपात पर भड़के परिजन, डॉक्टर पर लगाए लापरवाही के आरोप
सीएमसी अस्पताल में गर्भपात पर भड़के परिजन, डॉक्टर पर लगाए लापरवाही के आरोप

जासं, लुधियाना : सीएमसी अस्पताल में इलाज के दौरान महिला के गर्भ में 14 हफ्ते के शिशु की मौत के बाद परिजनों ने जमकर हंगामा किया। परिवार का आरोप था कि गर्भ में पल रहे शिशु की मौत डॉक्टर की लापरवाही से हुई। परिजनों ने डॉक्टर के खिलाफ प्रदर्शन भी किया। इसके बाद मौके पर थाना नंबर एक, दो, तीन व चार की पुलिस व एसीपी सेंट्रल वरियाम सिंह मौके पर पहुंचे। उन्होंने परिजनों को समझाकर मामला शात करवाया।

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खुडमोहल्ला के अमनदीप सिंह ने बताया कि वह कपड़ों का कारोबार करते हैं। सोमवार को उनकी पत्नी जसमीत कौर (30) के पेट में दर्द हुआ। वह 14 सप्ताह की गर्भवती थी। वह पत्नी को लेकर सीएमसी अस्पताल पहुचे। वहा डॉक्टरों ने उसे दाखिल कर लिया। अमनदीप ने बताया कि चार दिन तक डॉक्टरों ने उनकी पत्नी की सही तरीके से देखरेख नहीं की। 14 अगस्त की सुबह तड़के पत्नी के पेट में दर्द उठा। अस्पताल ने डॉक्टर से ऑनकॉल बात करके दवा लिख दी। डॉक्टर ने मरीज के अल्ट्रासाउड करवाने की बात कही। अमनदीप के मुताबिक, वह सुबह से अल्ट्रासाउड करवाने के लिए भटकता रहा। दोपहर करीब ढाई बजे तक उसकी पत्नी की अल्ट्रासाउड नहीं की गई। काफी समय बाद एक सीनियर डॉक्टर के कहने पर अल्ट्रासाउड की गई। जब अल्ट्रा साउंड हुआ, तो गर्भ में पल रहा शिशु मृत पाया गया। अमनदीप ने कहा कि यदि डॉक्टर सही समय पर अल्ट्रासाउड कर देते तो शायद उनके शिशु की जान बच सकती थी। परिवार ने थाना तीन में लिखित शिकायत देकर डॉक्टर के खिलाफ कार्रवाई की मांग की है।

अस्पताल ने नकारे आरोप, कहा-महिला के हो चुके 4 गर्भपात

सीएमसी अस्पताल ने इलाज में लापरवाही के आरोपों को नकारा है। अस्पताल के मेडिकल सुप¨रटेंडेंट के अनुसार महिला जब अस्पताल में आई तो उसका गर्भाश्य का मुंह कमजोर था। इससे पहले भी महिला के चार गर्भपात हो चुके हैं। इस बार 14 सप्ताह के गर्भ को बचाने के लिए उन्होंने सर्जरी की। डॉक्टरों ने मां के साथ-साथ गर्भ में पल रहे भू्रण को बचाने की पूरी कोशिश की। दुर्भाग्यवश महिला का गर्भपात हो गया।


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