जीवन जीने की कला है यज्ञ: शून्य प्रभु
धर्म का वास्तविक स्वरूप यज्ञ है। इसके बिना कोई भी शुभ कार्य असंभव है।
संस, लुधियाना : धर्म का वास्तविक स्वरूप यज्ञ है। इसके बिना कोई भी शुभ कार्य असंभव है। यदि प्राणी मात्र को सुख-दुख पहुंचाने वाली किसी एक वस्तु का नाम लिया जाए तो वह वायु है और उसे यज्ञ के द्वारा शुद्ध किया जा सकता है। इसी प्रकार यज्ञ के माध्यम से हम सभी प्राणियों का उपकार करते हैं।
यह यज्ञ जीवन जीने की कला है। इस यज्ञ का प्रचार व प्रसार जो महानगर में बढ़ रहा है, उसकी देन योगी सत्यानाथ महाराज हैं। ये विचार धाम सेवक प्रवीण चौधरी की अगुआई में मां बगलामुखी धाम पक्खोवाल रोड में 7 फरवरी को होने वाले अखंड महायज्ञ का निमंत्रण देने के लिए की गई मीटिग के दौरान शनिगांव प्रमुख शून्य प्रभु ने व्यक्त किए। धाम के सेवक प्रवीण चौधरी व मंजीत छतवाल ने कहा कि 10 दिवसीय 205 घंटे का अखंड महायज्ञ 7 से 16 फरवरी तक धाम में कराया जा रहा है। अखंड महायज्ञ को लेकर धाम के सेवक देश के कोने-कोने में गणमान्यों को निमंत्रण देने में जुटे हुए हैं। इसी क्रम में शुक्रवार को शनिगांव शून्य प्रभु सहित डॉ. एसएल स्वामी चेयरमैन आइसीइआइ, सुरेंद्र ढल्ल, सुभाष नगर, कल्याण नगर होजरी एसोसिएशन सदस्यों को निमंत्रण दिए गए।
इन सभी ने मां बगलामुखी धाम में मां का आशीर्वाद व यज्ञ में आहुति डालने का संकल्प लिया। योगी सत्यानाथ ने कहा कि अखंड महायज्ञ देश के लोगों के लिए सुख व शांति के लिए कराया जा रहा है। यज्ञ में मां भक्त आकर आहुतियां डाल अपने लिए सुख व शांति मांगें। इस अवसर पर सुनील महाजन, जितेंद्र सूद, रमन घई, अमित मखीजा, सुनील गेरा, पुरुषोत्तम चौधरी, कृष्णु ठाकुर, सुनील हांडा, डूंगर सिंह, विक्रम सिंह (सरताज नमकीन), हुकम सिंह (बीकानेर मिष्ठान),राजेंद्र साही, सुधीर महाजन, योगेश सिगला, गौरव कालिया, सुनील पासी, राकेश पासी, हरेंद्र साही, रविदर वालिया, गौतम सचदेवा, नीलेश मुंदारा, राज सोलंकी, नरेंद्र महाजन, गौरव कालिया, आदित्य गुप्ता, अरुण चांदना, हरमोहन मल्होत्रा, रोहित शर्मा, सतविदर ठाकुर, संदीप सूद, जतिन सूद, तेजेंद्र मिगलानी, वेद लुथरा, रमेंद्र गंगी, तुषार बांसल, कर्ण शर्मा, समीर भक्कू, वरुण शर्मा, रमन शर्मा, नितेश सूद सोमनाथ शर्मा, नरेश शर्मा, आशुतोष गुप्ता शामिल थे।