गडवासू सूबे के सात पशु पालकों को मुख्यमंत्री अवार्ड ये करेगी सम्मानित
गुरु अंगद देव वेटरनरी एंड एनिमल साइंस यूनिवर्सिटी (गडवासू) की ओर से 23 मार्च को पशु पालन मेले में राज्य के सात पशु पालकों को मुख्यमंत्री अवार्ड प्रदान किया जाएगा।
जागरण संवाददाता, लुधियाना
गुरु अंगद देव वेटरनरी एंड एनिमल साइंस यूनिवर्सिटी (गडवासू) की ओर से 23 मार्च को पशु पालन मेले में राज्य के सात पशु पालकों को मुख्यमंत्री अवार्ड प्रदान किया जाएगा। वेटरनरी यूनिवर्सिटी की ओर से पहली बार सात पशु पालकों को इस अवार्ड के लिए चुना गया है। जबकि इससे पहले तक तीन से चार पशु पालकों को ही यह अवार्ड दिया जाता रहा है। बुधवार को वेटरनरी यूनिवर्सिटी के निर्देशक प्रसार शिक्षा डॉ. हरीश कुमार वर्मा ने बताया कि यूनिवर्सिटी ने मुख्यमंत्री अवार्ड के लिए अलग-अलग श्रेणियों में से सात पशु पालकों का चयन किया है। गाय पालन: रोजाना 17 क्विंटल दूध का उत्पादन करते हैं प्रीतइंदर
गायों की डेयरी फार्मिग की श्रेणी में अमृतसर के गांव नाग खुर्द के पशु पालक प्रीतइंदर सिंह को मुख्यमंत्री अवार्ड के लिए चुना गया है। प्रीतइंद्र ने वर्ष 1997 में डेयरी का काम शुरू किया था। आज उनके पास 155 पशु हैं। जिनमें से दूध देने वाली गायें रोजाना 17 क्विंटल दूध दे रही हैं। इन्होंने आधुनिक दूध चुआई पार्लर, आरामदायक हवादार शैड व दुधारू पशुओं के मल मूत्र से गोबर गैस प्लांट भी लगाया हुआ है।
-- भैंस पालन: भीम सेन ने 2006 में शुरू किया था काम
भैंसों की डेयरी फार्मिग कैटेगिरी से मुख्यमंत्री अवार्ड के लिए बरनाला के गांव चीमा के किसान भीम सैन को चुना गया है। भीम सेन ने वर्ष 2006 में डेयरी फार्मिग का काम शुरू किया था। इस समय उनके पास 250 भैंसें हैं। जिसमें से दूध देने वाली 125 भैंसों से रोजाना 10 क्विंटल दूध का उत्पादन होता है।
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बकरी पालन: बठिंडा के जुगराज कमा रहे मुनाफा
बकरी पालन के क्षेत्र में बठिंडा के गांव ढंडे के किसान जुगराज सिंह को सम्मानित किया जाएगा। जुगराज ने वर्ष 2016 में बकरी फार्म का व्यवसाय शुरू किया। इस समय उनके पास 240 बकरियां हैं। एक बकरी औसतन 15000 से 18000 रुपये में बेचते हैं। एक बकरी पर उन्हें 500 रुपये की बचत होती है। मछली पालन: 5 एकड़ में से शुरू किया व्यवसाय, आज 20 एकड़ तक पहुंचाया
मछली पालन के क्षेत्र में पटियाला के गांव ढींढसा के किसान परमजीत सिंह को मुख्यमंत्री अवार्ड दिया जाएगा। वर्ष 1997 में उन्होंने पांच एकड़ रकबे में मछली पालन का व्यवसाय शुरू किया। इस समय वह 20 एकड़ में मछली पालन कर रहे हैं। जहां प्रति एकड़ प्रति साल 25 क्विंटल से अधिक मछली पैदा होती हैं। वह पंजाब सरकार के एक शिष्टमंडल के साथ चीन होकर भी आए हैं। जहां उन्होंने मछली पालन की आधुनिक तकनीकें सीखीं। सूअर पालन: मोहाली के संजीत, सिटी के तेजिंदर पाल होंगे सम्मानित
सूअर पालन के क्षेत्र में दो पशु पालकों को मुख्यमंत्री अवार्ड के लिए चुना गया है। इनमें एक मोहाली के संजीत सिंह व लुधियाना के तेजिंदरपाल सिंह हैं। अमृतसर के बलदेव भी होंगे सम्मानित
पशु उत्पादों की गुणवत्ता बढ़ाकर उसे व्यवसाय में परिवर्तित कर सफलता हासिल करने वाले अमृतसर के किसान बलदेव ंिसंह को भी मुख्यमंत्री अवार्ड प्रदान किया जाएगा। बलदेव दूध की प्रोसेसिंग करके नौ तरह के पदार्थ तैयार करके मार्केट में बेच रहे हैं।