Smart बनने में सुधार ब्लॉक के स्कूलों ने मारी बाजी, कम खर्च में मिल रही आधुनिक शिक्षा सुविधाएं Ludhiana News
लुधियाना के सुधार ब्लॉक के स्मार्ट सरकारी प्राइमरी स्कूल बन चुके है। स्मार्ट मॉडल ब्लॉक सरकारी स्कूलों में सुधार के ब्लॉक ने जिले में बाजी मार ली है।
जगराओं [बिंदु उप्पल]। मां-बाप अपने बच्चों को ऐसे स्कूलों में पढ़ाना चाहते है, जहां पर फीस के साथ पढ़ाई के खर्चे तो कम ही हो साथ में उनको आधुनिक तरीके से शिक्षा सुविधाएं मिल सके। ऐसे ही मां-बाप के सपने पूरे करने में ग्रामीण क्षेत्र में शिक्षा विभाग द्वारा माडर्न स्मार्ट शिक्षा सुविधाएं उपलब्ध करा दी है, जिसका उदाहरण जिला लुधियाना के सुधार ब्लॉक के स्मार्ट सरकारी प्राइमरी स्कूल बन चुके है। स्मार्ट मॉडल ब्लॉक सरकारी स्कूलों में सुधार के ब्लॉक ने जिले में बाजी मार ली है।
यह जानकारी जिला शिक्षा अधिकारी प्राइमरी राजिंदर कौर ने दी। उन्होंने बताया कि स्मार्ट स्कूल बनने में ब्लॉक सुधार अधीन के 51 स्कूल स्मार्ट बन चुके है, जिसमें स्मार्टनेस में सरकारी प्राइमरी स्कूल का बाहरी प्रवेश द्वार आकर्षित व सुंदर बना दिए गए है। अब प्राइवेट स्कूलों की तर्ज पर अब स्मार्ट प्राइमरी स्कूल में बच्चे यूनिफार्म व टाई-बेल्ट लगाते है। पूरे स्कूल में बिल्डिंग एंड लर्निंग के माध्यम से स्कूल के हर कोने व कक्षा को सुंदर व आकर्षक रंगों से पेटिंग व शिक्षाप्रद चीजों से सजाया गया है।
अधिकतर स्कूलों में लग चुकी है एलईडी : बीपीईओ
ब्लॉक प्राइमरी एजुकेशन अफसर बलविंदर कौर ने बताया कि सुधार ब्लॉक के स्मार्ट स्कूलों में एलईडी प्रोजेक्टर लग चुके है कई स्कूलों में दो-दो-तीन तीन एलईडी लग चुकी है जिसके माध्यम से बच्चों को पढ़ाया जाता है।
आंगनवाड़ी वर्कर भी करती हैं प्री-प्राइमरी बच्चों की देखभाल
स्मार्ट मॉडल ब्लॉक सुधार के स्कूलों में आंगनवाड़ी वर्कर भी प्री-प्राइमरी बच्चों की देखभाल करती हैं। उन्होंने बताया कि सुधार ब्लॉक को स्मार्ट ब्लॉक बनाने में दानी सज्जनों, अध्यापकों व शिक्षा विभाग के फंडों से सबसे पहले स्मार्ट ब्लॉक बनाने में सफलता मिली है। अब इस ब्लॉक में नए सेंशन से नई दाखिला प्रक्रिया बढ़ाने के लिए दाखिला मुहिम को लेकर जागरूकता प्रोग्राम कराए जाएंगे।
प्री-नर्सरी व नर्सरी से इंग्लिश मीडियम शुरू
जिला को-ऑर्डिनेटर स्मार्ट स्कूल प्रोजेक्ट संजीव कुमार ने बताया कि अब सुधार ब्लॉक के सभी प्राइमरी स्मार्ट बन चुके है। इन स्कूलों में किए गए कलर-कोडिंग बच्चों को ऐसे स्कूल में पढ़ने के लिए आने के लिए आकर्षित करते है। सुधार ब्लॉक के सभी स्कूलों में प्री-नर्सरी व नर्सरी से इंग्लिश मीडियम शुरू हो गया है। अब इन स्कूलों में पिछले वर्ष से नई दाखिला प्रक्रिया बढ़ गई है।
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