कृषि सुधार कानूनों के खिलाफ किसानों ने शहर में निकाली रोष रैली
भारतीय किसान यूनियन एकता डकोंदा और अन्य सहयोगी संगठनों की ओर से केंद्र सरकार के खिलाफ किया जा रहा प्रदर्शन सातवें दिन भी जारी रहा।
संवाद सहयोगी, जगराओं : भारतीय किसान यूनियन एकता डकोंदा और अन्य सहयोगी संगठनों की ओर से केंद्र सरकार के खिलाफ किया जा रहा प्रदर्शन सातवें दिन भी जारी रहा। बुधवार को जहां किसानों ने रेलवे ट्रैक पर धरना जारी रखा वहीं शहर में भी रोष रैली निकालकर प्रदर्शन किया।
यूनियन के जिला प्रधान हरदीप सिंह, ब्लाक प्रधान महेंद्र सिंह कमालपुरा की अगुआई में सैकड़ों प्रदर्शनकारियों ने एसएसपी कार्यालय तक रोष मार्च निकाला गया। इस दौरान कोरोना की आड़ में किसानों पर दर्ज किए केस, पराली जलाने के आरोप में दर्ज केस रद करने, कंबाइन मालिकों को एसएमएस कर थानों में बुलाकर परेशान करना बंद करने की मांग और बेसहारा पशुओं का प्रबंध करने की मांग रखी।
प्रदर्शनकारियों ने एसडीएम की गैर मौजूदगी में नायब तहसीलदार को ज्ञापन सौंपा, जिसमें एक महीना पहले इस मुद्दे पर कोई कार्रवाई न करने के रोष में प्रशासन के खिलाफ पक्का धरना लगाने की चेतावनी भी दी गई।
कलाकारों ने प्रस्तुत की कोरियोग्राफी
इस मौके पर लोक कला मंच मुल्लापुर के कलाकारों ने शहीद भगत सिंह की घोड़ी और बाबुल का वेहडा पर कोरियोग्राफी प्रस्तुत की। इस मौके बूटा सिंह चकर, तरलोचन सिंह, सुरेंद्र शर्मा आदि ने भी धरने को संबोधित किया। इसके अलावा जीटी रोड पर अलीगढ़ के नजदीक एक नजदीक एक पेट्रोल पंप के सामने रामशरण सिंह रसूलपुर की अगुआई में और चौकीमान में टोल प्लाजा पर जोगिंदर सिंह और सुखविंदर सिंह की अगुआई में रोष प्रदर्शन किया।
हाथरस कांड से मानवता का भी हनन : रीटा रानी जागरण संवाददाता, खन्ना : गुरु रविदास दलित समाज (गुरदस) की बैठक वार्ड पांच में मुख्य संचालक स्व. ललित कुमार की पत्नी रीटा रानी की अध्यक्षता में हुई। रीटा रानी ने हाथरस कांड को लेकर निदा की गई। रीटा रानी ने युवती की हत्या और रात के अंधेरे में जबरन उसका अंतिम संस्कार करने की घटना को मानवता का हनन बताया।
उन्होंने कहा कि गुरदस की तरफ से यह मांग की जाती है कि आरोपितों को फास्ट ट्रैक कोर्ट के जरिए तुरंत फांसी की सजा दी जाए। परिवार की सुरक्षा को यकीनी बनाया जाए और इस पर राजनीति कर रही राजनीतिक पार्टियों की लगाम कसी जाए। उन्होंने कहा कि यह घटना सारी मानवता के लिए दुखदाई है। कुछ लोग धर्म और जाति के नाम पर माहौल को खराब करना चाहते हैं। असली मकसद परिवार को इंसाफ दिलाना होना चाहिए। इस अवसर पर अमनदीप सिंह लक्की, दीपक कुमार, सुनील कुमार, महिदर कुमार, विक्की, राधे श्याम, प्रवेश कुमार, अरूण कुमार, निक्कू, यश, निर्मल, यश दत्त भी मौजूद थे।