अनसिक्योरड लोन देने से देश की वित्तिय हालत हो रही खराब
बिना किसी सिक्योरिटी के अनसिक्योरड लोन देने से देश की वित्तिय हालत खस्ता हो रही है।
जागरण संवाददाता, लुधियाना : बिना किसी सिक्योरिटी के अनसिक्योरड लोन देने से देश की वित्तिय हालत खस्ता हो रही है। अगर देश में एनपीए को कम करना है तो इसके लिए लोन देते समय अच्छे वैल्यूअर्स की रिपोर्ट के साथ-साथ सिक्योरिटी को अनिवार्य करना होगा ताकि देश के बैंक एनपीए का शिकार न हो। इसके साथ ही सरकार की ओर से वैल्यूअर्स के पंजीकरण में कंपनी रजिस्टर्ड रूल्स 2017 का संशोधन देश में भ्रष्टाचार और एनपीए को बढ़ावा देगा। इसकी चेतावनी वेल्यूअर्स एसोसिएशन ने रविवार को लुधियाना के होटल नागपाल रिजेंसी में आयोजित बैठक में दी। इस दौरान चंडीगढ़, यूपी, उत्तराखंड, राजस्थान, दिल्ली, एनसीआर, जम्मू कश्मीर, हरियाणा, महाराष्ट्र सहित देश भर से वेल्यूअर्स शामिल हुए।
इस दौरान महासचिव कपिल अरोड़ा ने कहा कि सरकार की ओर से नए नियमों के मुताबिक वेल्यूअर्स को जहां पहला चीफ इंकम टैक्स कमिश्नर स्तर के अधिकारी अप्रूवल देते थे। वहीं अब एक प्राइवेट कंपनी को इसके लिए अग्रसर कर दिया गया है। इसके साथ ही वैल्यूअर्स की अनुभव सीमा दस साल से कम कर पांच साल कर दी है। वैल्यूअर्स बनने के लिए अब मात्र पचास घंटे के कोर्स से मान्यता देने की बात कही गई है। उन्होंने कहा कि इससे अन प्रोफेशनल लोग आएंगे और गलत वेल्यूएशन कर ओर एनपीए बढ़ाएंगे। उन्होंने कहा कि देश के कुल एनपीए में से 75 प्रतिशत एनपीए कारपोरेट सेक्टर से संबंधित है। इनमें 63 प्रतिशत अनसिक्योरड लोन है जिसमें कोई गारंटी नहीं ली गई या फिर वेल्यूएशन के लिए सिंगल ओपिनियन लिया गया। इसको लेकर एसोसिएशन की ओर से सभी प्रदेश में केस फाइल किए गए हैं। उन्होंने बताया कि अनसिक्योरड लोन के चलते मुद्दा में ही दो साल में 7 प्रतिशत केस एनपीए हो गए हैं। सबसे ज्यादा एनपीए रियल एस्टेट सेक्टर के हैं। सरकार को वेल्युअर्स के नियमों को कठोर कर प्रोफेशनलिज्म लाने की जरूरत है। इसके साथ ही सभी सेक्टर की भांति वेल्युअर्स का बिल लाने की भी अहम आवश्यकता है। इस दौरान कुलवंत सिंह राय, दीपक सूद, एचके मेहता, संजय वर्मा, बॉबी जैन, सौरव सुमन ने भी संबोधित किया।