गेहूं की फसल पर मौसम की मार, सहमे किसान
मौसम खराब होने से किसानों को फसल बर्बाद होने की चिंता सता रही है।
जागरण संवाददाता, कपूरथला : आर्थिक तंगी से परेशान किसानों पर इस बार फिर कुदरत की मार पड़ती दिखाई दे रही है। खराब मौसम को देखते हुए किसान परमात्मा के आगे फरियाद कर रहा है कि अब खैर करना व आने वाले दिनों में बारिश न हो ताकि वह गेहूं की फसल संभाल सके। मंगलवार को दोपहर के बाद बादल छाने और देर शाम तक बूंदाबादी होने से किसान परेशान हो उठे।
मंगलवार को तेज हवाओं व हल्की बारिश से गेहूं की फसल को नुकसान पहुंचा है। बार बार बदल रहा मौसम का मिजाज किसानों के लिए मुसीबत बनता जा रहा है। गेहूं की फसल पर मौसम की मार पड़ने का खतरा लगातार मंडरा रहा है लेकिन कुदरत आगे किसी का भी जोर नही।
तेज हवाओं के साथ किसानों की फसल खेतों में बिछती जा रही है जिसके कारण झाड़ भी कम होगा। खेतों में बिछी फसल को काटने वाले कंबाइन मालिक भी किसानों से ज्यादा पैसे वसूल करेगें।
मंडियों में किसानों का बुरा हाल
एक तरफ जहा किसानों पर मौसम मेहरबान दिखाई नही दे रहा वहीं मंडियों में किसानों का बुरा हाल है। किसानों को फसल में नमी होने कारण मंडियों में रात गुजारना पड़ रहा है। टोकन सिस्टम एवं डाटा अपलोड की वजह से किसानों को फसल बेचने में मंडियों में अधिक समय लग रहा है। दाना मंडी कपूरथला में गेहूं लेकर आए सुरजीत सिंह ने बताया कि उन्होंने गेहूं ट्रालियों में भर कर शेड में दो दिन पहले ही खड़ी कर दी थी। खरीद एजेंसी के अधिकारी कह रहे हैं गेहूं में नमी है। आढ़तियों ने फसल को सुखाने का बहाना लगाकर मंडी में बिखेर दिया गया।
गांव मोठावाल के किसान मणसा सिंह ने कहा कि सरकार की नीतियों ने दुखी कर रखा है। ऐसी नीति होनी चाहिए कि किसानों को मंडियों में आकर किसी परेशानी का सामना न करना पडे। उन्होंने सरकार से मांग की है कि मंडी में फसल आने के बाद तुरंत खरीद की जाए।