आज जालंधर में तुलसी विवाह को लेकर कई जगह होंगे आयोजन, यहां लीजिए पूरी जानकारी
Tulsi Vivah 2020 जालंधर के प्रसिद्ध धार्मिक तथा ऐतिहासिक स्थान मां अन्नपूर्णा तथा सती वृंदा देवी मंदिर कोट किशन चंद में तुलसी विवाह सबसे पहले मनाए जाते थे। इसके बाद अन्य धार्मिक स्थलों पर भी इस पर्व को मनाया जाने लगा।
जालंधर, जेएनएन। शहर में कई जगहों पर शुक्रवार को तुलसी विवाह का आयोजन किया जाएगा। बताया जाता है कि तुलसी विवाह करवाने से कन्यादान के बराबर पुण्य फल प्राप्त होता है। यही कारण है कि तुलसी विवाह की परंपरा कई सदियों से चली आ रही है। शहर प्रसिद्ध धार्मिक तथा ऐतिहासिक स्थान मां अन्नपूर्णा तथा सती वृंदा देवी मंदिर कोट किशन चंद में तुलसी विवाह सबसे पहले मनाए जाते थे। इसके बाद शहर के अन्य धार्मिक स्थानों पर भी यह परंपरा चल पड़ी।
-प्राचीन शिव मंदिर नई बारादरी में तुलसी विवाह का आयोजन दोपहर 3 बजे से होगा, जिसे लेकर मंदिर में व्यापक स्तर पर तैयारियां की गई हैं। भगवान शालिग्राम की बारात विभिन्न इलाकों से होते हुए मंदिर में पहुंचेगी जहां पर शादी की रस्में अदा की जाएगी।
- श्री हनुमान मंदिर चौक सूदां में भी तुलसी विवाह का आयोजन शाम 4 बजे से होगा, जिसमें शादी की तमाम वर्ष में विधिवत पूरी की जाएगी। इस बारे में जानकारी देते हुए मंदिर प्रबंधक मनीष बाहरी बताते हैं कि शादी को लेकर पिछले कई दिनों से तैयारियां जारी हैं। उन्होंने कहा कि कोरोना वायरस महामारी के चलते एक परिवार से केवल एक सदस्य को ही शामिल होने की इजाजत दी गई है। इसके अलावा शादी में शारीरिक दूरी नियमों की पालना करने के लिए अतिरिक्त सेवादार तैनात किए गए हैं।
-मां अन्नपूर्णा मंदिर तथा सती वृंदा देवी मंदिर में आंवला पूजन मेले का दौर जारी रहेगा। इन मंदिरों में मेले का आगाज सुबह 10 बजे ठाकुर जी की पूजा अर्चना के साथ से किया जाएगा।
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