15 महीने बाद शहर में लौटी रोड स्वीपिंग मशीनें, रोजाना 35 किलोमीटर सड़कें करेंगी साफ Jalandhar News
ट्रक माउंटेड मशीन की कीमत 43 लाख है और इसके 5 साल की मेनटनेंस कॉस्ट समेत यह करीब 84 लाख रुपए की पड़ेगी। इतनी ही राशि का डीजल पांच साल में खर्च होगा।
जालंधर, जेएनएन। शहर में 15 महीने बाद रोड स्वीपिंग मशीन प्रोजेक्ट वीरवार को दोबारा शुरू होने जा रहा है। इस बार यह प्रोजेक्ट स्मार्ट सिटी कंपनी के फंड से खरीदी गई दो मशीनों से नगर निगम खुद शुरू करेगा। एक मशीन शहर पहुंच गई जबकि एक मशीन आने में एक महीने का समय और लगेगा। मेयर जगदीश राज राजा ने कहा कि वीरवार को सुबह 11 बजे सांसद, विधायक और पार्षदों की मौजूदगी में रोड स्वीपिंग मशीन शुरू की जाएगी। ट्रक माउंटेड मशीन की कीमत 43 लाख है और इसके 5 साल की मेनटनेंस कॉस्ट समेत यह करीब 84 लाख रुपए की पड़ेगी। इतनी ही राशि का डीजल पांच साल में खर्च होगा। दूसरी मशीन बड़ी है और उसकी कीमत 2.21 करोड़ की है और 5 साल के मेनटनेंस कास्ट, डीजल खर्च समेत तीन करोड़ की यह पड़ेगी।
मेयर जगदीश राजा और डिप्टी मेयर हरसिमरनजीत सिंह बंटी ने दावा किया कि रोड स्वीपिंग मशीन प्रोजेक्ट अकाली-भाजपा सरकार के समय में शुरू किए गए प्रोजेक्ट से 80 प्रतिशत कम का है। उन्होंने कहा कि सिर्फ 20 प्रतिशत की कीमत पर शुरू किए जा रहे इस प्रोजेक्ट में पुराने प्रोजेक्ट के मुकाबले तीन गुणा काम होगा। अकाली-भाजपा सरकार के समय 29.10 करोड़ का पांच साल के लिए ठेका हुआ था जबकि स्मार्ट सिटी कंपनी की दो मशीनों पर पांच साल का खर्च करीब पांच करोड़ पड़ेगा और मशीनें भी निगम की ही रहेंगी। मेयर का दावा है कि निगम को पांच साल में 24 करोड़ की बचत होगी। इन मशीनों के आपरेशन एंड मेनटनेंस की जिम्मेवारी भी मशीन निर्माता कंपनी की है। नगर निगम सिर्फ डीजल का खर्चा उठाएगा।
उन्होंने बताया कि एक मशीन पर रोजाना करीब 4500 रुपये के डीजल की खपत होगी। सड़कों की सफाई के लिए जरूरत के मुताबिक निगम स्टाफ की भी तैनाती कर सकता है। इस मशीन की कपेसिटी छह क्यूबिक टन कूड़े को साफ करने की है जबकि जो मशीन पहले काम कर रही थी वह चार क्यूबिक टन कूड़े को साफ करने की कपेसिटी की थी। प्रेस कांफ्रेंस में पार्षद जगदीश गग, पवन कुमार मनमोहन राजू, तरसेम लखोत्रा, राजीव ओमकार टिक्का, जगजीत जीता मौजूद रहे।
एक मशीन एक दिन में 35 किलोमीटर सड़कें साफ करेगी
मेयर जगदीश राजा ने कहा कि नई मशीन एक दिन में 35 किलोमीटर सड़कों की सफाई करेगी। दोनों मशीनें 70 किलोमीटर सड़कें साफ करेंगी जबकि अकाली-भाजपा के समय लायंस सर्विसेज लिमिटेड कंपनी की मशीनें एक दिन में सिर्फ 24 किलोमीटर सड़कें साफ करती थीं। यह मशीन रोजना पांच घंटे काम करेगी और मशीन की स्पीड पांच किलोमीटर प्रति घंटा रहेगी। मेयर ने कहा कि लायंस सर्विसेज कंपनी ने निगम के साथ धोखा किया था और तय शर्त के मुताबिक रोजाना 48 किलोमीटर सड़क साफ नहीं की थी।
मॉनिटरिंग पर करना होगा फोकस, एप भी बनाएंगे
रोड स्वीपिंग प्रोजेक्ट शुरू करते समय प्रोजेक्ट की मॉनिटरिंग पर फोकस करना होगा। इसे कामयाब करने के लिए जरूरी है कि मशीन की वर्किंग पर नजर रखी जाए। मेयर जगदीश राजा ने कहा कि मशीन की जीपीएस से मॉनिटरिंग होगी। वह खुद भी चैकिंग पर निकलेंगे और पार्षदों की भी जिम्मेवारी तय करेंगे। उन्होंने कहा कि एक पब्लिक एप भी बनाएंगे ताकि लोग एप से खुद भी चैक कर सकें कि किस समय मशीन किस जगह पर काम कर रही है।
बरसात में जलभराव कम होगा
जब शहर में रोड स्वीपिंग मशीन काम करती थी तो रोड गलियों की सफाई भी होती थी। इससे शहर में बरसात के दौरान जलभराव की समस्या काफी कम हो गई थी। पानी की निकासी काफी तेज थी। सड़कें साफ रहने से मिट्टी भी रोड गलियों पर नहीं जमती थी।
अकाली-भाजपा का प्रोजेक्ट मेयर के निशाने पर था
अकाली-भाजपा सरकार के समय जब मेयर सुनील ज्योति ने लायंस सर्विसेज कंपनी को प्रोजेक्ट शुरू किया था तो तब निगम में नेता विपक्ष की भूमिका में जगदीश राजा ने इस प्रोजेक्ट में बड़े घोटाले का आरोप लगा कर दावा किया था कि इसमें 80 प्रतिशत गड़बड़ी है। राजा ने तब कोर्ट केस भी किया, लेकिन हार का सामना करना पड़ा था। मेयर बनने के बाद कंपनी के खिलाफ हाउस में विजिलेंस जांच करवाने की घोषणा भी थी लेकिन जांच करवाई नहीं। कंपनी ने नगर निगम को 11 करोड़ का बिल भी दिया था लेकिन मेयर बनने के बाद जगदीश राजा ने पेमेंट रुकवा दी थी। मेयर का आरोप था कि कंपनी ने जो 11 करोड़ का बिल दिया है उसमें से सात करोड़ का घोटाला है।
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