पंजाब के लोगों को उद्योगपति गौतम अदानी से बड़ी उम्मीद, अंबूजा सीमेंट फैक्ट्री से प्रदूषण की समस्या होगी हल
गांव दबुर्जी में अंबूजा सीमेंट फैक्ट्री से प्रदूषण के खिलाफ रोष प्रदर्शन कर रहे प्रदर्शनकारियों को उम्मीद जगी है कि अब देश के ही कारोबारी ने अंबूजा सीमेंट को खरीदा है तो उनकी सुनवाई होगी। वे लंबे समय फैक्ट्री से हो रहे प्रदूषण का विरोध कर रहे हैं।
संवाद सूत्र, घनौली (रुपनगर)। स्विट्जरलैंड के साथ संबंधित कंपनी होलसिम लिमिटेड की तरफ से अंबूजा सीमेंट लिमिटेड और एसीसी लिमिटेड में अपना हिस्सा उद्योगपति गौतम अडानी को बेच दिया गया है। इसके बाद गांव दबुर्जी में अंबूजा सीमेंट फैक्ट्री से प्रदूषण के खिलाफ रोष प्रदर्शन कर रहे प्रदर्शनकारियों को उम्मीद जगी है कि अब देश के ही कारोबारी ने अंबूजा सीमेंट को खरीदा है तो उनकी सुनवाई होगी। हालांकि उन्होंने अपना संघर्ष समस्याओं का हल होने तक जारी रखने का एलान किया है।
रोष धरने की अगुवाई कर रहे नेताओं रजिंदर सिंह घनौला, परमजीत सिंह बहादुरपुर, तजिंदर सिंह लोहगढ़ फिड्डे, कुलदीप सिंह जेई घनौली आदि ने बताया कि वह पिछले लंबे समय से अंबूजा सीमेंट फैक्ट्री और थर्मल प्लांट रूपनगर के प्रदूषण के खिलाफ संघर्ष करते आ रहे हैं, लेकिन उनकी समस्या का हल नहीं हुआ है।
उनका कहना है कि पंजाब प्रदूषण विभाग के अलावा केंद्रीय प्रदूषण कंट्रोल विभाग के अधिकारी भी नींद में हैं। उनकी दलीलों का अधिकारियों पर कोई असर नहीं हो रहा। उन्होंने बताया कि जब स्विट्जरलैंड की कंपनी ने अंबूजा फैक्ट्री खरीदी थी तो उन्होंने सोचा था कि अंग्रेज नियमों का पालन करते हैं और वे फैक्ट्री के प्रदूषण को घटाने की तरफ भी ध्यान देंगे। उन्होंने स्विट्जरलैंड से मीडिया बुलाकर उनको फैक्ट्री के प्रदूषण के हालात दिखाए थे। खबरें स्विट्जरलैंड के चैनलों पर दिखाई कि शायद स्विस मालिक को फैक्ट्री के पास के गांवों के लोगों की मुश्किलों के बारे में समझ आ जाए। इसके बावजूद भी उनके मसले का हल नहीं हुआ।
अब गौतम अडानी की तरफ से अंबूजा सीमेंट फैक्ट्री और एसीसी सीमेंट फैक्ट्री की हिस्सेदारी खरीदी जाने के उपरांत भी उन्होंने अपना संघर्ष जारी रखने का फैसला किया है। उनको पूरी उम्मीद है कि नए मालिक गौतम अडानी उनके मसले का हल जरूर करेंगे।