बसपा ने जालंधर के फिल्लौर विधानसभा हलके का ढांचा भंग किया, कोई भी नेता मौजूदा पद का प्रयोग नहीं कर सकेगा
पार्टी हाईकमान के अगले दिशानिर्देश तक फिल्लौर विधानसभा हलके का कोई भी बसपा नेता अपने साथ मौजूदा पद का प्रयोग नहीं कर सकेगा। इस संबंधी बसपा पंजाब के राज्य कार्यालय की तरफ से आधिकारिक तौर पर सूचना जारी की गई है।
जागरण संवाददाता, जालंधर। बहुजन समाज पार्टी (बसपा) की तरफ से तत्काल प्रभाव से विधानसभा हलका फिल्लौर का ढांचा भंग कर दिया गया है। पार्टी हाईकमान के अगले दिशानिर्देश तक फिल्लौर विधानसभा हलके का कोई भी बसपा नेता अपने साथ मौजूदा पद का प्रयोग नहीं कर सकेगा। इस संबंधी बसपा पंजाब के राज्य कार्यालय की तरफ से आधिकारिक तौर पर सूचना जारी की गई है। ढांचा भंग करने का तर्क यह दिया गया है कि फिल्लौर के कुछ पदाधिकारी बसपा की राष्ट्रीय अध्यक्ष कुमारी मायावती के दिशा निर्देशों का पालन करने में कोताही कर रहे थे तथा सोशल मीडिया के ऊपर पार्टी के फैसलों को चुनौती देते हुए पार्टी विरोधी कार्यक्रमों की घोषणा कर रहे थे।
हालांकि बीते एक महीने के दौरान फिल्लौर के इन अनुशासनहीन नेताओं को राज्य कार्यालय जालंधर में राज्य प्रधान जसवीर सिंह गढ़ी एवं राज्य महासचिव डॉ. नछत्तर पाल की तरफ से समझा कर पार्टी संगठन में कार्य करने की कोशिश की गई थी, लेकिन अनुशासनहीन नेताओं की तरफ से बात नहीं मानी गई। इस संबंध में राज्य इंचार्ज रणधीर सिंह बेनीवाल को भी सूचित किया गया।
अंतिम समय तक प्रत्येक साथी को साथ लेकर चलने की नीति के तहत बसपा पंजाब की तरफ से तीन सदस्यीय कमेटी राज्य महासचिव लोकसभा जालंधर के इंचार्ज गुरमेल चुंबर, राज्य सचिव एडवोकेट विजय बद्धन एवं जोन इंचार्ज जगदीश शेरपुरी की तरफ से तीन बार फिर समझाने की कोशिश की गई, लेकिन इसका भी कोई नतीजा नहीं निकला। आखिरकार पार्टी के उज्जवल भविष्य के लिए पार्टी हाईकमान की तरफ से फिल्लौर विधानसभा के प्रत्येक पदाधिकारी को पद मुक्त करने का फैसला लिया गया।
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