एडजोइन कॉलोनी अवैध, फिर भी एक मकान का नक्शा वैध
सूर्या एन्क्लेव के साथ बसाई जा रही अवैध कॉलोनी का सच आखिर सामने आ ही गया।
सत्येन ओझा, जालंधर : सूर्या एन्क्लेव से लगे क्षेत्र में विकसित की जा रही कॉलोनी के मामले का सच आखिर सामने आ ही गया। नगर निगम के एमटीपी मेहरबान ¨सह ने बताया कि कॉलोनी अवैध है, उसमें बने एक मकान का नक्शा वैध है। इस पूरे प्रकरण में बड़ी साजिश की बू आ रही है। आशंका है एक मकान के नक्शे की वैधता को आधार बनाकर ही पूरी कॉलोनी बसाने की तैयारी है। कुछ मकान निर्माणाधीन भी हैं। इसी साजिश के तहत सूर्या एन्क्लेव की दीवार तीन स्थानों से ध्वस्त कर अवैध कॉलोनी को रास्ता दिया गया है। कॉलोनी के लिए पानी व सीवरेज के कनेक्शन भी अवैध रूप से दिए गए हैं। भले ही भाजपा नेता व पूर्व मंत्री मनोरंजन कालिया अपनी भूमिका से इनकार कर रहे हैं, लेकिन हकीकत है कि यह सब अकाली-भाजपा की सरकार में हुआ है। एक बड़ी नर्सरी भी सूर्या एन्क्लेव से लिए गए अवैध पानी कनेक्शन से ही चल रही है।
सूर्या एन्क्लेव प्रकरण में निजी लोगों के फायदे के लिए सूर्या एन्क्लेव के आवंटियों से धोखाधड़ी की साजिश बेनकाब हो चुकी है। साल 2001 में 170 एकड़ क्षेत्र में एशिया का पहला हर घर को पाइप लाइन से गैस कनेक्शन देने के वादे के साथ सूर्या एन्क्लेव बसाया गया था। एन्क्लेव के चारों ओर सुरक्षा दीवार बनाने का वादा किया गया था। एशिया के इस गौरव पर राजनेताओं ने ऐसी कालिख पोती कि सूर्या एन्क्लेव को न तो एशिया का नंबर-1 का गौरव मिला, न पाइप लाइन से गैस कनेक्शन मिले। सुरक्षा दीवार भी धीरे-धीरे तोड़कर निजी कॉलोनियों को रास्ते दिए जा रहे हैं। सरकार के लुभावने वादों में फंसकर आवंटी पानी, सीवरेज, सड़कों की समस्या से जूझने को मजबूर हैं। ताजा प्रकरण में निगम के म्युनिसपल टाउन प्लानर मेहरबान ¨सह ने ये तो मान लिया है कॉलोनी अवैध है, लेकिन आशंका व्यक्त की जा रही है कि राजनीतिक दवाब में मौके की रिपोर्ट सिर्फ नक्शा पास कराने वाले एक मकान के आधार पर तैयार की जा सकती है, मौके पर निर्माणाधीन अन्य मकानों का जिक्र नहीं किया जा सकता है, ताकि कॉलोनी बसाने का रास्ता साफ हो सके। ये उस स्थिति में है जब इंप्रूवमेंट ट्रस्ट के ईओ राजेश चौधरी मान चुके हैं, कॉलोनी को जा रहे पानी व सीवरेज के बिल अवैध हैं, इन्हें बंद किया जाएगा। म्यूनिसिपल टाउन प्लानर मेहरबान ¨सह ने बताया कि कॉलोनी अवैध है, मौके पर बने एक मात्र मकान का नक्शा वैध है, पहले नियम था एनओसी लेकर नक्शा बनाया जा सकता था, हो सकता है, उसी नियम के तहत नक्शा बना हो। बाकी जानकारी एटीपी के पास होगी।