बाबरी मस्जिद विध्वंस पर फैसला आने से खुश हुआ संत समुदाय
संवाद सहयोगी दातारपुर 28 साल पहले छह दिसंबर 1992 को अयोध्या में विवादित ढांचा ढहाए जाने के आपराधिक मामले में सीबीआइ की विशेष अदालत के जज सुरेंद्र कुमार यादव की विशेष अदालत ने अपना फैसला सुना दिया है।
संवाद सहयोगी, दातारपुर
28 साल पहले छह दिसंबर, 1992 को अयोध्या में विवादित ढांचा ढहाए जाने के आपराधिक मामले में सीबीआइ की विशेष अदालत के जज सुरेंद्र कुमार यादव की विशेष अदालत ने अपना फैसला सुना दिया है। इस ऐतिहासिक महत्व के फैसले के अनुसार सभी आरोपित बरी कर दिए गए हैं। दैनिक जागरण के साथ चर्चा करते हुए क्षेत्र के वरिष्ठ संतों ने खुशी जाहिर की है।
महंत रमेश दास, महंत राज गिरी, स्वामी महेश पुरी, जिदा बाबा तथा बाबा राम दास ने फैसले को हिदू धर्म, भगवान श्रीराम और करोड़ों हिदुओं की आस्था की जीत बताया है। उक्त संतों ने कहा जज ने फैसला पढ़ते हुए कहा है कि यह विध्वंस पूर्व नियोजित नहीं था, बल्कि आकस्मिक घटना थी। विशेष अदालत ने लालकृष्ण आडवाणी, मुरली मनोहर जोशी व कल्याण सिंह सहित सभी अभियुक्तों को बरी कर दिया है। इस मामले में 49 लोगों को अभियुक्त बनाया गया था। इसमें से 17 की मौत हो चुकी है। सीबीआइ व अभियुक्तों के वकीलों ने करीब आठ सौ पन्ने की लिखित बहस दाखिल की है। इससे पहले सीबीआइ ने 351 गवाह व करीब 600 से अधिक दस्तावेजी साक्ष्य पेश किए हैं। 30 सितंबर, 2019 को सुरेंद्र कुमार यादव जिला जज, लखनऊ के पद से सेवानिवृत्त हुए थे लेकिन सुप्रीम कोर्ट ने इन्हें फैसला सुनाने तक सेवा विस्तार दिया था। महंत रमेश दास, महंत राज गिरी,स्वामी महेश पुरी, जिदा बाबा तथा बाबा राम दास ने कहा करोड़ों हिदुओं की आस्था का केंद्र राम मंदिर निर्माण का मार्ग तो पहले ही प्रशस्त हो चुका है। इस फैसले से पूरे विश्व में रहते सनातन धर्म के अनुयाई गदगद हो गए हैं। उन्होंने ने अदालत के फैसले को न्याय की जीत बताया इस अवसर पर भाजपा जिला महासचिव सतपाल शास्त्री, सुश्री देवा जी दातारपुर, गणेशोत्सव कमेटी, दशहरा कमेटी, विश्व हिदू परिषद के उमेश कुमार ने भी अदालत के फैसले को ऐतिहासिक बताते हुए इस पर खुशी का इजहार किया।