धनतेरस पर लोगों ने जमकर की खरीदारी
सोमवार को धनतेरस के मौके पर बाजारों में चहल-पहल दिखी। शुभ दिन में लोगों ने अपनी हैसियत के मुताबिक खरीददारी करने में खूब दिलचस्पी दिखाई। लोगों ने जेवरात खरीदने में कम दिलचस्पी दिखाई। अधिकतर लोगों ने बर्तन इत्यादि खरीदने को ही प्राथमिकता दी। बाजार में खरीददारी तो हुई है, लेकिन इस बार लोगों ने ज्यादा महंगी चीजें खरीदने की बजाय रुटीन की खरीददारी से काम चलाया है।
जागरण संवाददाता, होशियारपुर : सोमवार को धनतेरस के मौके पर बाजारों में चहल-पहल दिखी। शुभ दिन में लोगों ने खरीदारी करने में खूब दिलचस्पी दिखाई। लोगों ने जेवरात खरीदने में कम दिलचस्पी दिखाई। अधिकतर लोगों ने बर्तन इत्यादि खरीदने को ही प्राथमिकता दी। बाजार में खरीदारी तो हुई है, लेकिन इस बार लोगों ने ज्यादा महंगी चीजें खरीदने की बजाय रुटीन की खरीददारी से काम चलाया है।
बाजारों में खरीददारी कम रही, क्योंकि पिछले दस दिनों तक लाजवंती स्टेडियम में चले सरस मेले में भी लोगों ने खरीदारी कर ली है। फिर भी एक अनुमान के मुताबिक पिछले साल धनतेरस के मौके पर जिले में 20 करोड़ के आसपास कारोबार हुआ है।
उधर, बर्तन कारोबारी रमन कुमार ने बताया की कि इस बार भी बर्तन खरीदने में लोगों ने ज्यादा दिलचस्पी दिखाई है। पिछले कई बरसों की तुलना में उनकी दुकान पर ज्यादा रौनक देखने को मिली है। क्योंकि इस बार लोग सस्ती चीजों को खरीदने में ज्यादा महत्व दे रहे हैं। जेब के हिसाब से की खरीददारी
पिछले कई सालों से सोने के जेवरात की खरीद कर रहे जसवीर ¨सह ने इस बार ऐसा नहीं किया है। उन्होंने कहा कि इस बार उनका बजट गड़बड़ाया हुआ था। इसीलिए उन्होंने खरीददारी को शुभ मानते हुए बर्तन की ही खरीददारी की है। इसी तरह से गुरप्रेम ¨सह, संध्या, राज रानी इत्यादि ने कहा कि उन्होंने भी अपनी हैसियत के मुताबिक खरीददारी की है। हालांकि पहले वह धनतेरस के मौके पर महंगा सामान खरीदते थे, लेकिन इस बार बजट अच्छा न होने से बर्तन ही खरीदा है। धनतेरस पर क्यों की जाती है खरीदारी
समुद्र मंथन के दौरान धनतेरस के दिन भगवान धनवंतरि जी प्रकट हुए तो उनके हाथ में अमृत से भरा सोने का कलश था। उसी दिन से प्रचलन हुआ की कि आज दिन के सोने अथवा बर्तन इत्यादि खरीदना शुभ होता है। तबसे ही यह परंपरा चली आ रही है। धनतेरस के दिन लोग अपनी हैसियत के मुताबिक बर्तन, चांदी और सोना इत्यादि खरीदते हैं।