बाबा साहेब ने समाज को दिखाई समानता की राह: विजय सांपला
संस्था भारत गौरव के प्रधान विजय सांपला की अध्यक्षता में भारत रत्न डॉ. बीआर आंबेडकर के परिनिर्वाण दिवस को समर्पित विशेष सेमिनार कराया गया।
जागरण संवाददाता, होशियारपुर : संस्था भारत गौरव के प्रधान विजय सांपला की अध्यक्षता में भारत रत्न डॉ. बीआर आंबेडकर के परिनिर्वाण दिवस को समर्पित विशेष सेमिनार कराया गया।
इस दौरान हिमाचल प्रदेश यूनिवर्सिटी के वाइस चांसलर डॉ. सिकंदर कुमार मुख्य मुख्य वक्ता के तौर पहुंचे। पंजाब यूनिवर्सिटी के रीजनल सेंटर के लॉ डिपार्टमेंट के हेड डॉ. बृजेश कुमार विशेष अतिथि थे। मंच का संचालन संस्था भारत गौरव के वाइस चेयरमैन संजीव तलवाड़ ने किया।
इस दौरान संस्था भारत गौरव के प्रधान व पूर्व केंद्रीय मंत्री विजय सांपला ने कहा कि डॉ. आंबेडकर ने समाज में समानता की राह दिखाई थी। उनकी समाज को बहुत देन है। उनकी ही बदौलत आज सभी को समान अधिकार का मौका मिला है।
उन्होंने कहा कि भेदभाव को समाप्त करना है। यह कार्य किसी एक व्यक्ति या संस्था का नहीं है। इसके लिए सामूहिक प्रयासों की आवश्यकता है। यह एक सामाजिक आंदोलन है, इस बुराई का खात्मा जागरूक समाज ही कर सकता है, तभी जाकर समाज में वास्तविक समरस्ता का भाव उत्पन्न होगा। सेमिनार में डॉ. आंबेडकर फाउंडेशन नई दिल्ली के सदस्य मनजीत बाली भी ने विचार रखे।
सेमिनार में रिटायर सिविल सर्जन व सामाजिक कार्यकर्ता डॉ. अजय बग्गा, पार्षद नीति तलवाड़, एमएस सिद्धू, डीएस बागी, कमलजीत सेतिया, सुषमा सेतिया, सर्बजीत बब्बू, संदीप शर्मा, साहिल सांपला, भारत भूषण वर्मा, जगदीश लाल बद्धन, गोपी चंद कपूर, चेतन सूद, हनी सूद, नवजिदर बेदी भी मौजूद थे। मानसिकता में बदलाव आना जरूरी: डॉ. सिकंदर
इस दौरान मुख्य वक्ता डॉ. सिकंदर कुमार ने कहा कि समाज में मानसिकता का बदलाव आना बहुत जरूरी है। भेदभाव तब-तक समाप्त नहीं होगा, जब तक कि लोगों की मानसिकता नहीं बदलेगी। उन्होंने कहा कि विपरीत परिस्थितियों के बावजूद डॉ. आंबेडकर ने 32 डिग्रियां हासिल की थी। यह बहुत बड़ी उपलब्धि थी। उच्च शिक्षा हासिल करके उन्होंने समाज को समानता का आइना दिखाया था। डॉ. आंबेडकर ने सभी वर्गों के हितों के लिए किया कार्य: डॉ. बृजेश
विशेष अतिथि पंजाब यूनिवर्सिटी के रीजनल सेंटर के लॉ डिपार्टमेंट के हेड डॉ. बृजेश कुमार ने डॉ. आंबेडकर के जीवन पर विस्तार से चर्चा करते हुए कहा कि देश ही नहीं, बल्कि विदेशों में भी डॉ. आंबेडकर ने अपनी काबिलियत का लोहा मनवाया था। उन्होंने समाज के सभी वर्गों के हित में कार्य किया था। महिलाओं को वोट डालने का अधिकार दिलाना उनकी ही देन है। उनके दिखाए गए रास्ते पर चलने की आवश्यकता है।