मनमर्जी से किराया वसूल जेब पर कैंची चला रहे ई-रिक्शा चालक
कुछ ई-रिक्शा चालकों की लूट बाजारी का खेल चल रहा है।
पंकज नांगला, होशियारपुर
कुछ ई-रिक्शा चालकों की लूट बाजारी का खेल चल रहा है। प्रशासन इन पर अंकुश लगाना मुनासिब नहीं समझ रहा। अधिकतर ई-रिक्शा के आरसी और परमिट भी नहीं है। पेट्रोल खर्च न होने से इन पर हींग न लगे न फिटकिरी और भी माल चोखा वाली कहावत इन पर चरितार्थ करती है, क्योंकि यह सवारियों से किराया भी मनमर्जी से वसूल रहे हैं।
शहर में करीबन 100 ई-रिक्शा चल रहे हैं। सोसायटी ने रेट फिक्स कर रखा है। एक सवारी का लोकल रेट 20 रुपये रखा है। अकेले ले जाने का 40 रुपये है। किसी ने एक घंटे के लिए ई-रिक्शा किराये पर लेना है तो उसका रेट 100 रुपये रखा है। इससे ज्यादा रेट नहीं है। मगर, कुछ ई रिक्शा चालकों ने अपना ही मनमर्जी का रेट बनाया हुआ है। अपनी मनमर्जी से ग्राहक से पैसे वसूल रहे हैं। पड़ताल करने पर मालूम पड़ा है कि वह 20 रुपये से लेकर 200 रुपये तक सवारियों से लोकल रेट वसूलते हैं। ई-रिक्शा चालक ज्यादा निशाना बाहर के सवारियों पर लगाते हैं। मनमानियों पर लगाम कसे प्रशासन
दैनिक जागरण टीम ने आम लोगों सुनीता, रमन व रज्जी से बात की तो उन्होंने कहा कि ई-रिक्शा चालक पचास रुपये से कम लेते नहीं है। इनका रेट मनमर्जी का होता है। ऑटो रिक्शा की बात करें तो उनका रेट 10 से 15 रुपये ही है। प्रशासन को चाहिए कि वह ई-रिक्शा की लूटबाजारी पर लगाम कसे ताकि लोगों की जेब पर कैंची न चल सके। चालक कर रहे मनमानी: प्रधान बिल्ला
ई-रिक्शा सोसायटी के प्रधान पवन कुमार बिल्ला ने कहा कि शहर में करीबन 100 ई-रिक्शा चल रहे हैं। कुछ रिक्शा चालक अपनी मनमर्जी से सवारियों से किराया वसूलते हैं। इनको रोकने टोकने वाला भी कोई नहीं है। ऐसे ई-रिक्शा चालक सोसायटी से बाहर के हैं। उन पर कार्रवाई होनी चाहिए। बिल्ला ने कहा कि वह तो एक ही रखे हैं, लेकिन कुछ लोग मनमर्जी कर रहे हैं।
सरकार ई-रिक्शा का किराया फिक्स करे
अगर सरकार बेरोजगारों को ई-रिक्शा दे रही है तो इनके शहर में रेट भी फिक्स कर देनी चाहिए और जगह-जगह इनके बॉल लगने चाहिए हर स्टेशन पर ताकि किसी भी आमजन को परेशानी का सामना ना करना पड़े ई रिक्शा के प्रधान का कहना है कि अगर सरकार हमारे ई रिक्शा मैं नंबर लगा दे तो हम हर एक रक्षा की एंट्री अपने रजिस्टर में डाल सकेंगे और हमें पता चल जाएगा कि कौन सा ई रिक्शा वाला किसी सवारी से ज्यादा ज्यादा पैसा ले रहा है और उसके खिलाफ काम कार्रवाई कर सकेंगे अभी तक तो किसी भी ई-रिक्शा में कोई नंबर नहीं है इसलिए पता ही नहीं चलता कि कौन सी ई रिक्शा वाला सवारी से ज्यादा पैसा ले रहा है और कौन सा कम अगर आरटीओ दफ्तर से हमारे ई रिक्शा में हमारे रिक्शा को नंबर प्लेट लग जाए तो हम इस चीज का भी समाधान खुद कर लेंगे और कोई भी सवारी को ज्यादा परेशानी का सामना नहीं करना पड़ेगा।