रोशन ग्राउंड में जादूगर आंचल का कमाल कल से
संवाद सहयोगी, होशियारपुर रोशन ग्राउंड में 4 जून से शुरू होने जा रहे जादूगर आंचल का शो शुरू होने जा
संवाद सहयोगी, होशियारपुर
रोशन ग्राउंड में 4 जून से शुरू होने जा रहे जादूगर आंचल का शो शुरू होने जा रहा है। राजस्थान के उदयपुर में 22 फरवरी 1993 को गिरधारी लाल कुमावत व मां तारा कुमावत के घर जन्मी जादूगर आंचल ने ढाई साल की उम्र में ही इस कला को सीखना शुरू कर दिया था। पांच साल की उम्र में ही अपनी कला से सब को हैरान करना शुरू कर दिया था। उसका यह हुनर तब सामने आया जब वह जिस स्कूल में पढ़ती थी वहां सालाना समारोह था। 23 दिसंबर 1997 में उस समारोह में जादूगर आंचल ने अपनी कला से सबकों दांतों तले उंगली दबाने को विवश कर दिया। उसके बाद उसने फिर पीछे मुड़ कर नहीं देखा।
-सौ तालों को खोल कर आई बाहर, बनाया विश्व रिकार्ड।
आंचल के पिता गिरधारी लाल ने बताया कि हरिद्वार में योग गुरु बाबा राम देव सहित कई हस्तियों की मौजूदगी में हुआ शो आंचल के लिए खास रहा। इस शो में आंचल को सौ तालों व चेन से बांधा गया था। इसके बाद उसे एक बक्से में बंद किया गया। बक्से को क्रेन से कई फीट उंची झोंपड़ी के बीच रखा गया और बाद में झोंपड़ी को आग लगा दी गई। लोगों की सांसे थमा देने वाले इस शो में जादूगर आंचल पांच सेकंड में ही अपनी कला के बल पर जलती आग से बाहर आ गई। इस शो के दौरान आंचल के हाथ झुलसे थे क्योंकि उसके हाथ उस बकसे से बाहर थे। उसका यह शो लिमका बुक आफ रिकार्ड में दर्ज हो चुका है। वह कई राज्यों में अपने शो कर चुकी है। पंजाब में उसका दूसरा शो है। इससे पहले वह पटियाला में शो कर चुकी है अब होशियारपुर में शो करने आई है। जादूगर आंचल का कहना है कि पंजाब को लोगों से उसे बहुत प्यार मिला।