Move to Jagran APP

बादल परिवार से पंथ को खतरा : ब्रह्मपुरा

पंजाब को बादल परिवार व कांग्रेस से बचाने के लिए ही तीसरे फ्रंट का गठन किया गया है।

By JagranEdited By: Published: Sun, 27 Jan 2019 08:35 PM (IST)Updated: Sun, 27 Jan 2019 08:35 PM (IST)
बादल परिवार से पंथ को खतरा : ब्रह्मपुरा
बादल परिवार से पंथ को खतरा : ब्रह्मपुरा

संवाद सूत्र, धारीवाल : पंजाब को बादल परिवार व कांग्रेस से बचाने के लिए ही तीसरे फ्रंट का गठन किया गया है। इसलिए पंजाब वासियों को अधिक से अधिक सहयोग देकर इस फ्रंट को और मजबूत बनाना चाहिए। उक्त विचार शिरोमणि अकाली दल टकसाली के राष्ट्रीय प्रधान व सांसद रणजीत ¨सह ब्रह्मपुरा ने धारीवाल में पूर्व सरपंच जसबीर ¨सह जफरवाल के प्रबंधों में हुए विशाल इकट्ठ को संबोधित करते समय व्यक्त किए।

loksabha election banner

इस मौके पर अमरपाल ¨सह बोनी पूर्व विधायक, मनमोहन ¨सह सठियाली पूर्व विधायक, जसवंत ¨सह रंधावा, एडवोकेट जगरुप ¨सह सेखवां भी उपस्थित थे। वक्ताओं ने कहा कि बादल परिवार से गुरुद्वारों, एसजीपीसी व अकाल तख्त साहिब को मुक्त करवाने के लिए ही शिरोमणि अकाली दल टकसाली का गठन किया गया है। अकाली दल बादल की सरकार के समय ही श्री गुरु ग्रंथ साहिब जी की बेअदबी की घटनाओं व बहबल कलां गोली कांड जैसी मंदभागी घटनाएं घटित हुई हैं। इसलिए प्रकाश ¨सह बादल का परिवार व बादल सरकार इन घटनाओं की जिम्मेदारी से भाग नहीं सकता। शिरोमणि अकाली दल बादल की पार्टी को बनाने के लिए लंबी कुर्बानियां दी गई थीं, मगर बादल परिवार ने कुर्बानियां देकर बनाई इस ऐतिहासिक पार्टी को निजी मुनाफे के लिए इस्तेमाल करके इसके असली मकसद को भंग कर दिया गया है। गत समय में शिरोमणि अकाली दल बादल जितने भी प्रधान बने हैं वे अपनी जायदादें गंवाकर गए हैं, मगर एक बादल परिवार ही ऐसे परिवार है, जिसने अकाली दल बादल के प्रधान होते हुए अरबों रुपये की जायदाद बना ली है। सुखबीर बादल के प्रधान बनने से अकाली दल बादल को बड़ी आघात पहुंची है। बादल परिवार से पंथ को खतरा है। कार्यक्रम के अंत में प्रबंधकों द्वारा प्रधान रणजीत ¨सह ब्रह्मपुरा व अन्य को सिरोपा डालकर स मानित किया गया। इस मौके पर बल¨वदर ¨सह, इंद्रजीत ¨सह बाजवा, बाबा लक्खा ¨सह, हरजीत ¨सह बाजवा, जोहन, चरण ¨सह चाहल के अलावा अन्य उपस्थित थे।


Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें
This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.