गन्ने का बकाया न मिलने पर किसानों ने जताया रोष
गन्ने का बकाया न मिलने पर किसानों ने बैठक कर रोष जताया है।
संवाद सहयोगी, काहनूवान :गन्ने का बकाया न मिलने पर किसानों ने बैठक कर रोष जताया है। किसान नेता गुरप्रताप ¨सह ने बताया कि अगस्त माह उन्होंने विभिन्न शूगर मिलों के प्रबंधकों के साथ इस मामले संबंधी बैठकें की। फिर जिला स्तर पर डीसी स्तर के अधिकारियों को अपने मांग पत्र सौंपे। अगस्त व सितंबर माह तक भी गन्ने की अदायगी न होने के कारण उन्होंने डीसी को मांग पत्र भी सौंपे। मगर फिर भी पंजाब सरकार व मिल प्रबंधक पैसे देने नहीं दे रहे। पंजाब की सरकारी मिलों की तरफ किसानों के 250 करोड़ के बकाए खडे़ है।
देश में गन्ना काश्तकारों का पिछले कई सालों से शूगर मिलों द्वारा अरबों रुपये के बकाए खड़े हैं। एक आंकड़े के मुताबिक किसानों का 18 हजार करोड़ रुपये की अदायगी शूगर मिलों व सरकार द्वार अभी तक नहीं दी गई। केवल पंजाब के गन्ना काश्तकारों का सितंबर माह तक 700 करोड़ का विभिन्न शूगर मिलों में बकाया है। इनमें से सरकारी सहकारी शूगर मिलों व प्राइवेट शूगर मिलों की किसानों की तरफ देनदारी है। पूरे भारत में 6 खरीद परिवार गन्ने की खेती करते है। पंजाब में एक लाख एकड़ में गन्ने की काश्त साल 2017-18 में किसानों ने की थी।
जुलाई 2018 में पंजाब के किसानों का शूगर मिलों में 964 करोड़ ते गन्ने की अदायगी के बकाए थे। जोकि तीन माह में केवल 164 करोड़ ही अदा हो पाए हैं। पंजाब के गन्ना काश्तकारों का अगस्त माह तक रकम न मिलने के कारण सबर का बन टूट गया है तथा किसान पैसों के लिए संघर्ष के रास्ते पर चल पड़े हैं।