25 साल से एक ही परिवार की बादशाहत, पशु अस्पताल में न डॉक्टर आता और न नालों पर स्लैब डले
कैंटोनमेंट बोर्ड के स्लम एरिया में गिने जाते वार्ड नंबर-1 में बेशक विकास के कई दावे किए जा रहे हों लेकिन इसकी जमीनी हकीकत कुछ और ही है। क्षेत्र में बेशक मौजूदा पार्षद द्वारा विकास के अनेकों दावे किए जा रहे हो लेकिन हालात यह है कि यहां की पिछले लंबे समय से लटकती आ रही समस्याओं को हल करवाने में पार्षद नाकाम ही साबित हुए है।
तरुण जैन, फिरोजपुर : कैंटोनमेंट बोर्ड के स्लम एरिया में गिने जाते वार्ड नंबर-1 में बेशक विकास के कई दावे किए जा रहे हों, लेकिन इसकी जमीनी हकीकत कुछ और ही है। क्षेत्र में बेशक मौजूदा पार्षद द्वारा विकास के अनेकों दावे किए जा रहे हो, लेकिन हालात यह है कि यहां की पिछले लंबे समय से लटकती आ रही समस्याओं को हल करवाने में पार्षद नाकाम ही साबित हुए है। इसे वोटों की सियासत कहीं जाएं या फिर इस वक्त सत्ता में खुद की सरकार का न होना।
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जानिएं वार्ड को वार्ड में ज्यादातर एससी-एसटी वोट है और यहीं कारण है कि छावनी परिषद द्वारा इस क्षेत्र को शुरू से ही अनुसूचित व जनजातियों के लिए आरक्षित रखा गया है। 1985 से लेकर अब तक एक ही परिवार का सदस्य चुनाव जीतते आ रहा है। पहले यहां से जोगिन्द्र सिंह जिदू चुनाव लड़ते थे और जीत जाते थे, लेकिन उनके 2012 में विधायक बनने के बाद 2015 में उनका बेटा रोहित गिल इस वार्ड से पार्षद बना। वार्ड में गवाल मंडी एरिया है, जिस कारण यहां पर पशु पालक दूध दोहने के बाद मवेशियों को खुला छोड़ देते है और पशु गलियों में घूमते रहते है, जिस कारण यहां पर गंदगी का आलम बरकरार रहता है। क्षेत्र में एक सरकारी स्कूल है और तीन साल पहले स्थानीय विधायक द्वारा इसी वार्ड में पशुओं के उपचार के लिए एक अस्पताल बनवाया था, लेकिन उसमें डॉक्टर न आने के कारण ज्यादातर यह अस्पताल बंद ही रहता है और लोगों को इस अस्पताल का कम ही फायदा मिला है। वहीं गलियों में नालियों व नालों पर ढ़क्कन न होने के कारण भी कई बार हादसे होते रहते है।
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पार्षद के दावे युवा पार्षद रोहित गिल दावा करते है कि उन्होंने अपने कार्यकाल में चेतना हॉल, जिसमें लोग अपने महोत्सव करते है, का शेड डलवाया है और सीवरेज का कार्य अपने वार्ड में सबसे पहले पुरा करवाने के अलावा सभी गलियों व नालियों को पक्का करवाया है ताकि यहां पर लोगों को किसी भी किस्म की परेशानी न आएं। उन्होंने कहा कि वह पार्षद बनकर ही पिता की तरह सेवादार बनकर वार्ड के लोगों के कार्य करते है और हरेक के सुख-दुख में भागीदार बने रहते है। उन्होंने कहा कि अस्पताल का लोगों का फायदा न होने, नालियों के ढक्कन लगाने, बेसहारा पशुओं के घूमने संबंधी समस्याओं को वह बोर्ड की मीटिग में उठाते है।
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वोटों की स्थिति वार्ड की अबादी करीब 10 हजार है और 2015 के चुनावों में यहां पर 4200 वोट थे, लेकिन बोर्ड द्वारा अवैध निर्माण व अतिक्रमण का हवाला देकर यहां पर पार्षद के परिवार सहित सभी के वोट काट मात्र 29 वोट बचाएं थे, लेकिन नई वोट बनने के बाद इस वक्त इस वार्ड में 2110 लोगों के वोट अब बने हुए है।
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लोगों की सुनों - बेली राम का कहना है कि इसमें कोई शक नहीं है कि उनके वार्ड में विकास कार्य तो खूब हुआ है, जिस तरह से उनके क्षेत्र को लोग स्लम एरिया कहते थे, विकास के बाद यहां से स्लम शब्द खत्म ही हो गया है।
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- गोपाल कृष्ण ने कहा कि वार्ड में युवाओं के लिए जिम होनी चाहिए, ताकि यहां के युवा उसमें कसरत कर सामाजिक बुराईयों से दूर हो सके। उन्होंने कहा कि नालियों पर ढक्कन लगने से हादसों से बचा जा सकता है।
- रोहित गिल ने कहा कि वार्ड में पशुओं के अस्पताल का नियमित रूप से चलना समय की मांग है, क्योंकि इस क्षेत्र में ज्यादातर दूध दोहने वालों के घर होनें के कारण उन्हें अपने बीमार पशुओं का उपचार बाहर से डॉक्टर बुलवाकर करवाना पड़ता है, लेकिन यहीं पर उपचार होनें से लोगों को बाहर ले जाने में मुश्किल नहीं उठानी पड़ेगी।