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प्रकृति को सुख दे रहा है सुखविंदर

पंजाब प्रदूषण कंट्रोल बोर्ड व कृषि और किसान भलाई विभाग द्वारा वातावरण प्रदूषण को रोकने के लिए किसानों को धान की पराली को आग लगाने की जगह खेत में ही मिलाने के लिए प्रेरित किया जा रहा है।

By JagranEdited By: Published: Sun, 08 Nov 2020 05:25 PM (IST)Updated: Sun, 08 Nov 2020 05:25 PM (IST)
प्रकृति को सुख दे रहा है सुखविंदर
प्रकृति को सुख दे रहा है सुखविंदर

संवाद सहयोगी, फतेहगढ़ साहिब : पंजाब प्रदूषण कंट्रोल बोर्ड व कृषि और किसान भलाई विभाग द्वारा वातावरण प्रदूषण को रोकने के लिए किसानों को धान की पराली को आग लगाने की जगह खेत में ही मिलाने के लिए प्रेरित किया जा रहा है। इस काम के लिए सरकार और जिला प्रशासन द्वारा विशेष जागरूकता मुहिम चलाई जा रही है। जहां कई किसान पराली को आग लगाकर वातावरण को प्रदूषित कर रहे हैं। वहीं गांव कोटला भाईका का प्रगतिशील किसान सुखविदर सिंह पांच वर्ष से बिना पराली को आग लगाए 22 एकड़ में सफलतापूर्वक खेती कर अन्य किसानों के लिए प्रेरणास्त्रोत बना हुआ है।

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किसान सुखविदर सिंह जहां धान और गेहूं की खेती करता है, वहीं घरेलू जरूरत के लिए दालें जैसे कि मूंग, चन्ने, सब्जियों की कीटनाशक के बिना बिजाई करता है। उसने बताया कि 2018-19 में गांव के किसानों द्वारा सराओ फार्मर ग्रुप बनाया था और उसे इसका प्रधान बनाया। ग्रुप द्वारा कृषि और किसान भलाई विभाग की स्कीमों के तहत 80 फीसद सब्सिडी पर विभिन्न तरह की मशीनरों की खरीद की, जोकि इलाके के अन्य किसानों को जायज रेट पर पराली प्रबंधन के लिए मुहैया करवाई जाती है। बकौल सुखविदर सिंह अब खेती करना काफी आसान हो गया है। कृषि और किसान भलाई विभाग की मदद से खरीदी मशीनों से पराली की संभाल करने में काफी मदद मिलती है। उसका कहना है कि पराली को खेतों में मिलाने से मिट्टी की उपजाऊ शक्ति पहले से भी काफी बढ़ी है और खाद के प्रयोग में भी कमी आई है।


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