स्ट्रीट लाइट्स नहीं, अंधेरे में खतरनाक साबित हो रहे हैं आवारा पशु
स्ट्रीट लाइट के न होने के कारण होने वाले अंधेरे से जहां लोगों को परेशानी होती है वहीं चोरियों की घटनाएं भी होती हैं। इसके साथ एक और बड़ी समस्या है वह है अंधेरे के कारण आवारा पशुओं से टकराकर आए दिन होने वाले हादसे। इसके कारण आए दिन कोई न कोई घायल होता है और अनेकों दुर्घटनाएं होती हैं। लेकिन न ही आवारा पशुओं की और न ही स्ट्रीट लाइट की समस्या का कोई समाधान निकालने के लिए नगर कौंसिल व प्रशासन सामने आ रहा है।
ज¨तदर कुमार, कोटकपूरा
स्ट्रीट लाइट के न होने के कारण होने वाले अंधेरे से जहां लोगों को परेशानी होती है वहीं चोरियों की घटनाएं भी होती हैं। इसके साथ एक और बड़ी समस्या है वह है अंधेरे के कारण आवारा पशुओं से टकराकर आए दिन होने वाले हादसे। इसके कारण आए दिन कोई न कोई घायल होता है और अनेकों दुर्घटनाएं होती हैं। लेकिन न ही आवारा पशुओं की और न ही स्ट्रीट लाइट की समस्या का कोई समाधान निकालने के लिए नगर कौंसिल व प्रशासन सामने आ रहा है।
उल्लेखनीय है कि शहर में आवारा पशुओं की भरमार है और मुख्य सड़कों के साथ-साथ गली मोहल्लों में भी इनकी भरमार है। हालांकि दिन में भी इनके कारण अनेकों दुर्घटनाएं होती हैं परंतु सायंकाल का अंधेरा होते ही यह और अधिक भयानक साबित होते हैं। क्योंकि अंधेरे के कारण यह दिखाई नहीं देते और जब तक यह दिखाई देते हैं तब तक व्यक्ति इनके इतने करीब पहुंच चुका होता है कि इनसे टकराना या फिर इनके द्वारा व्यक्ति को मारने से बचना मुश्किल हो जाता है। खास कर परेशानी उस समय होती है जब व्यक्ति वाहन पर होता है क्योंकि इनके नजदीक आने पर जब इनका पता चलता है तो गति में चल रहे वाहन को रोक पाना मुश्किल है। शाम के समय स्थानीय फरीदकोट रोड़, मुक्तसर रोड़, मोगा रोड़ पर इनकी भरमार होती है। पिछले दिनों के दौरान ही मोगा व फरीदकोट रोड़ पर रात्रि के समय अनेकों बार या तो वाहन के इनके टकराने के कारण दुर्घटनाएं हो चुकी हैं। रात्रि के समय यह सड़क के बीचोंबीच घूमते रहते हैं लेकिन ऐसे में वाहन चालक को सामने से आ रहे वाहन की लाइट के चलते यह दिखाई नहीं देते और इतने में वो उनके करीब पहुंच जाते हैं। इसी कारण स्ट्रीट लाइट का न होना इस तरीके से भी शहरवासियों के लिए खतरनाक साबित हो रहा है।
नगर कौंसिल का उदासीन रवैया डाल रहा मुश्किल में
इस संबंध में शहरवासियों का कहना है कि आवारा पशुओं की समस्या बहुत बड़ी है और इसे सुलझाने में समय लग सकता है परंतु स्ट्रीट लाइट की समस्या को सुलझाना तो प्रशासन व नगर कौंसिल के हाथ में है और इसे अगर वे चाहे तो शीघ्र ही सुलझा भी सकते हैं परन्तु नगर कौंसिल का इस मुद्दे के प्रति उदासीन रवैया लोगों को मुश्किल में डाल रहा है। लोगों ने मांग उठाई है कि प्रशासन इस ओर ध्यान दे और कुछ जिलों में आवारा पशुओं को संभालने के जो प्रयास हो रहे हैं उन्हें शहर में भी लागू किया जाए ताकि आवारा पशुओं से निजात मिल सके। इसके साथ ही उन्होंने स्ट्रीट लाइट समस्या जो कि अनेकों समस्याओं की जड़ बनती जा रही है इसे भी हल करने के लिए प्रयास करने की मांग उठाई गई है।