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एसआइटी की सक्रियता से न्याय की आस बंधी

प्रदेश की धार्मिक व सियासी राजनीति में भूचाल लाने वाले बरगाड़ी मामले में अब न्याय की आस बंधने लगी है।

By JagranEdited By: Published: Sat, 04 Jul 2020 04:46 PM (IST)Updated: Sun, 05 Jul 2020 06:10 AM (IST)
एसआइटी की सक्रियता से न्याय की आस बंधी
एसआइटी की सक्रियता से न्याय की आस बंधी

प्रदीप कुमार सिंह, फरीदकोट

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प्रदेश की धार्मिक व सियासी राजनीति में भूचाल लाने वाले बरगाड़ी बेअदबी कांड को पांच साल पूरे होने को है। सीबीआई, दो जस्टिस आयोग, एसआईटी जांच के बावजूद अभी तक बरगाड़ी कांड के मुख्य दोषियों का पता नहीं लग पाया है। बहिबल कलां व कोटकपूरा गोलीकांड की जांच कर रही एसआइटी की सक्रियता से लोगों में आस बंधती दिख रही है कि शायद अब मुख्य दोषी का पर्दाफाश हो सके।

गोलीकांड की जांच हेतु गठित एसआइटी और बेअदबी कांड की जांच कर रही एसआइटी द्वारा 17 जून से लेकर 4 जुलाई के मध्य दस लोगों की गिरफ्तारी की जा चुकी है। इसमें दो बहिबल कलां गोली कांड, एक कोटकपूरा गोलीकांड जबकि सात डेरा प्रेमियों को बेअदबी कांड में 4 जुलाई की सुबह गिरफ्तार किया गया। गोलीकांड की जांच आइजी कुंवर विजय प्रताप सिंह द्वारा आगे बढ़ाई जा रही है तो बेअदबी मामले से संबंधित तीन घटनाओं ( पावन स्वरूप चोरी करने, पोस्टर लगाने व बेअदबी करने) की जांच डीआईजी रणबीर सिंह खटड़ा द्वारा की जा रही है। 4 जुलाई को सात डेरा प्रेमियों की गिरफ्तारी से पहले इस मामले में कोटकपूरा के महेन्द्रपाल बिट्टू समेत दस डेराप्रेमियों को गिरफ्तार किया जा चुका है।

शहीद दोनों सिख नौजवानों के परिवारों समेत घायलों के परिजन अभी भी इंसाफ की राह ताक रहे हैं। हालांकि बहिबल गोलीकांड मामले में तो 21 अक्टूबर 2015 को थाना बाजाखाना में अज्ञात पुलिस पार्टी पर हत्या का केस दर्ज किया गया था, लेकिन कार्रवाई कोई नहीं की गई थी। दो साल जस्टिस रणजीत सिंह आयोग की रिपोर्ट आने के बाद पंजाब सरकार ने 12 अगस्त 2018 को बहिबल गोलीकांड वाले केस में तत्कालीन एसएसपी मोगा चरनजीत सिंह शर्मा,एसपी फाजिल्का बिक्रमजीत सिंह,एसएसपी मोगा के रीडर इंस्पेक्टर प्रदीप सिंह व तत्कालीन थाना बाजाखाना प्रभारी एसआई अमरजीत सिंह कुलार को नामजद किया गया, अब जून महीने में इस मामले में सुहेल बराड़ और पंकज बांसल को नामजद कर गिरफ्तार किया गया है।

इसके अलावा कोटकपूरा के मुख्य चौक में जत्थेबंदियों के धरने पर फायरिग मामले में भी आयोग की सिफारिश पर 7 अगस्त 2018 को अज्ञात पुलिस अधिकारियों पर इरादा ए कत्ल की एफआईआर दर्ज की गई है। आयोग की ही हिदायत पर पंजाब सरकार ने गोलीकांड मामलों की जांच के लिए एडीजीपी प्रमोद कुमार की अध्यक्षता में एसआईटी का गठन किया, जिसने अब तक की पड़ताल के आधार पर बहिबल गोलीकांड केस में पूर्व एसएसपी चरनजीत सिंह शर्मा और कोटकपूरा गोलीकांड में पूर्व एसएसपी चरनजीत सिंह शर्मा के अलावा शिअद के पूर्व विधायक मनतार सिंह बराड़, आईजी परमराज सिंह उमरानंगल, एसपी बलजीत सिंह, एसपी परमजीत सिंह पन्नू, एसआई गुरदीप सिंह पंधेर के खिलाफ जिला अदालत में चालान पेश किया जा चुका है और उन पर आरोप तय करने की प्रक्रिया चल रही है, जिसकी अदालत में अगली तारीख 7 अगस्त निर्धारित है। इसी मामले में तत्कालीन कोटकपूरा थाने के प्रभारी पंधेर 5 जुलाई तक एसआईटी के पास रिमांड पर है।

महिदर पाल बिट्टू पर 3 केस दर्ज थे, इसमें बुर्जजवाहर सिंह वाला में श्री गुरूग्रंथ साहिब के पावन स्वरूप चोरी करने, मोगा में प्रदर्शन के दौरान बस जलाने के अलावा 2015 में बरगाड़ी में हुए श्री गुरू ग्रंथ साहिब की बेअदबी का केस दर्ज था। अगस्त 2017 से बिट्टू फरार चल रहा था। जिसे 7 जून 2018 को बरगाड़ी मामले की जांच कर रही एसआईटी ने हिमाचल के पालमपुर से गिरफ्तार किया। बिट्टू की शिनाख्त पर उसके साथ नामजद आरोपी सनी कुमार निवासी कोटकपूरा और शक्ति सिंह निवासी गांव ढगौरपुरा फरीदकोट को भी गिरफ्तार किया गया था, जिन्हें बीते दिनों जमानत मिल गई थी। बिट्टू को जमानत नहीं मिली थी। डीआइजी रणबीर सिंह खटड़ा ने दावा किया कि एसआइटी की जांच में सामने आया है कि बरगाड़ी बेअदबी मामले की घटनाओं का मुख्य सूत्रधार महेन्द्रपाल बिट्टू ही है जिसने डेरे से जुड़े अपने विश्वासपात्रों के साथ मिलकर इन घटनाओं को अंजाम दिया। अब तक महेन्द्रपाल बिट्टू समेत कुल 9 आरोपियों की शिनाख्त कर ली है और उन्हें पकड़ भी लिया है। 23 जून 2019 को नाभा जेल में हत्या कर दी गई थी, इनसेट-

बरगाड़ी बेअदबी कांड की टाइम लाइन -1 जून 2015-बुर्ज जवाहर सिंह वाला के गुरूद्वारा साहिब से पावन ग्रंथ की चोरी,

-25 सितंबर 2015-बुर्ज जवाहर सिंह के गुरुद्वारा साहिब के बाहर पोस्टर लगाने की घटना,

-12 अक्टूबर 2015-बरगाड़ी के गुरुद्वारा साहिब के बाहर पावन ग्रंथ की बेअदबी,

-14 अक्टूबर 2015-बहिबल कलां में पुलिस फायरिग में दो नौजवानों की मौत,

-14 अक्टूबर 2015-कोटकपूरा के मुख्य चौक में पुलिस कार्यवाही से 100 लोग घायल,

-15 अक्टूबर 2015-मुख्यमंत्री ने एसआइटी व न्यायिक आयोग का गठन करवाया,

-20 अक्टूबर 2015-एसआईटी ने दो भाईयों को पकड़ा जिन्हें बाद में रिहा कर दिया गया,

-21 अक्टूबर 2015-बहिबल गोलीकांड के मामले में अज्ञात पुलिस पार्टी पर हत्या का केस,

-15 नवंबर 2015-राज्य सरकार ने बेअदबी मामले की जांच सीबीआई को सौंपी,

-30 जून 2016-जस्टिस जोरा सिंह आयोग ने अपनी रिपोर्ट सरकार को सौंपी,

-14 अप्रैल 2017-कैप्टन सरकार ने जस्टिस रणजीत सिंह आयोग का गठन किया,

-7 अगस्त 2018-कोटकपूरा मुख्य चौक पर फायरिग करने पर अज्ञात पुलिस अधिकारियों पर इरादा ए कत्ल की एफआईआर दर्ज,

-16 अगस्त 2118-जस्टिस रणजीत सिंह ने मुख्यमंत्री को अपनी जांच रिपोर्ट सौंपी,

-27 अगस्त 2018-जस्टिस रणजीत सिंह आयोग की रिपोर्ट विधानसभा में पेश हुई,

-10 सितंबर 2018-एडीजीपी प्रबोध कुमार की अध्यक्षता में एसआईटी का गठन,

-22 जून 2019-नाभा जेल में डेरा प्रेमी महिदरपाल बिट्टू की हत्या,


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