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तहसील दफ्तरों में 200 रजिस्ट्रियां रूकीं

मिनिस्टीरियल सर्विस यूनियन पंजाब के आहवान पर जिला फरीदकोट के भी 34 सरकारी विभागों के

By JagranEdited By: Published: Tue, 19 Feb 2019 06:03 PM (IST)Updated: Tue, 19 Feb 2019 06:03 PM (IST)
तहसील दफ्तरों में 200 रजिस्ट्रियां रूकीं
तहसील दफ्तरों में 200 रजिस्ट्रियां रूकीं

जागरण संवाददाता, फरीदकोट

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मिनिस्टीरियल सर्विस यूनियन पंजाब के आहवान पर जिला फरीदकोट के भी 34 सरकारी विभागों के 800 मिनिस्टीरियल कर्मियों द्वारा पिछली 13 फरवरी से कलम छोड़ हड़ताल की जा रही है। इस हड़ताल के चलते फरीदकोट, कोटकपूरा व जैतो के एसडीएम व तहसील दफ्तरों समेत सादिक की सब तहसील का कामकाज भी मुकम्मल तौर पर ठप पड़ा है। इसके कारण तीनों तहसील दफ्तरों व एक सब तहसील दफ्तर में न तो रजिस्ट्रियां नहीं हो रही है और ना ही लोगों के सर्टिफिकेट बन पा रहे हैं। हड़ताल की समय अवधि के दौरान जिला फरीदकोट में करीब 200 रजिस्ट्रियां रूक गई हैं, जबकि 150 से भी अधिक जाति, आमदनी व आवास से संबंधित सर्टिफिकेट की फाइलें आगे नहीं बढ़ पाई हैं। सरकारी दफ्तरों में हर रोज औसतन दो हजार लोगों को निराश लौटना पड़ रहा है। हड़ताल के दौरान कर्मियों द्वारा हर रोज पंजाब सरकार के खिलाफ रोष प्रदर्शन किए जा रहे है।

यूनियन के प्रांतीय उप प्रधान व जिला प्रधान अमरीक ¨सह संधू ,जिला महासचिव नरिन्द्र शर्मा, जिला वित्त सचिव अमरजीत ¨सह वालिया, डीसी दफ्तर यूनियन के प्रांतीय गुरनाम ¨सह विर्क, जिला प्रधान गुर¨वदर ¨सह विर्क, वरिन्द्रजीत ¨सह पुरी, ज¨तदर कुमार ने कहा पंजाब सरकार द्वारा पिछले लंबे समय से दफ्तरी कर्मियों की मांगों की अनदेखी की जा रही है जिसके चलते कर्मियों में रोष पाया जा रहा है। दफ्तरी कर्मियों द्वारा पुरानी पेंशन स्कीम बहाल करने, नई भर्ती बेसिक वेतन की जगह पूरे वेतन पर करने, मुलाजिमों का 23 माह का बकाया जारी करने, डीए की जनवरी 2017 से लेकर अब तक की बकाया किश्तें जारी करने, 6वें वेतन आयोग को 1 दिसंबर 2011 को आधार मानकर लागू करने, कच्चे मुलाजिमों की सेवाएं स्थायी करने व नई भर्ती के लिए बजट में प्रावधान रखने, सरकारी कर्मियों से 200 रूपये प्रति माह प्रोफेशनल टैक्स की वसूली बंद करने की मांगों को लेकर संघर्ष किया जा रहा है। इनसेट

मांगें नहीं मानी तो जारी रहेगी हड़ताल : अमरीक सिंह हड़ताल 21 फरवरी तक जारी रहेगी और उस दिन पंजाब सरकार के साथ यूनियन की बैठक भी होगी। यदि उस बैठक में मांगों को स्वीकार ना किया गया तो हड़ताल जारी रखी जाएगी जिसकी जिम्मेवारी पंजाब सरकार की होगी।


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