C&C Towers के चेयरमैन संजय गुप्ता पर धोखाधड़ी के दो और केस दर्ज Chandigarh News
सीएंडसी टावर्स लिमिटेड के चेयरमैन मैनेजिंग डायरेक्टर (एमडी) व डायरेक्टर को मोहाली कोर्ट ने 26 सितंबर 2019 को भगोड़ा घोषित कर दिया था।
मोहाली, जेएनएन। फेज-6 स्थित बाबा बंदा सिंह बहादुर इंटर स्टेट बस टर्मिनल (आइएसबीटी) में कमर्शियल प्रॉपर्टी बेचने के नाम पर लोगों से करोड़ों रुपये की धोखाधड़ी करने के मामले में गिरफ्तार सीएंडसी टावर्स लिमिटेड कंपनी के चेयरमैन संजय गुप्ता को धोखाधड़ी की पहले से दर्ज इसी थाने की दो अलग-अलग एफआइआर में नामजद कर लिया गया है।
संजय गुप्ता को 2018 में एफआइआर नंबर-150 व 2019 में एफआइआर नंबर-196 में नामजद किया गया है। इन दोनों एफआइआर में भी लोगों के साथ धोखाधड़ी का मामला दर्ज किया गया था। आरोपित संजय गुप्ता को रविवार को ड्यूटी मजिस्ट्रेट के समक्ष पेश किया गया जहां अदालत ने उसे चार दिन के रिमांड पर भेज दिया है। इससे पहले संजय गुप्ता दो दिन के पुलिस रिमांड पर भेजा था। हालांकि संजय गुप्ता के अलावा कंपनी के चेयरमैन गुरजीत सिंह जौहर, राजबीर सिंह, मैनेजिंग डायरेक्टर चरनवीर सिंह सेठी, चीफ जनरल मैनेजर सीवीएम सहगल, डायरेक्टर अमृतपाल सिंह चड्ढा के खिलाफ भी फेज-1 में धोखाधड़ी का मामला दर्ज हैं जोकि अब तक फरार हैं।
गुप्ता की मामले में पहली गिरफ्तारी
करोड़ों की धोखाधड़ी मामले में संजय गुप्ता की यह पहली गिरफ्तारी है। सीएंडसी टावर्स लिमिटेड के चेयरमैन, मैनेजिंग डायरेक्टर (एमडी) व डायरेक्टर को मोहाली कोर्ट ने 26 सितंबर 2019 को भगोड़ा घोषित कर दिया था। अकाली-भाजपा सरकार के कार्यकाल के दौरान शुरू हुए उक्त मोहाली जंक्शन का निर्माण 2009 में पूरा होना था। जिसमें शोरूम आदि लेने के लिए लोगों ने करोड़ों रुपये कंपनी के पास जमा करवाए थे। गमाडा की ओर से पैनल्टी लगाने के बावजूद कंपनी ने सही समय पर निर्माण कार्य खत्म नहीं किया। बाद में इसकी अवधि 2012 तक बढ़ा दी गई थी।
एग्रीमेंट तो कर लिया लेकिन बाद में की टालमटोल
शिकायतकर्ताओं ने बताया था कि बाबा बंदा सिंह बहादुर एसी बस स्टैंड फेज-6 मोहाली में दुकानें व ऑफिस खरीदने के लिए उन्होंने कंपनी को मोटी रकम दी थी। बढ़ी हुई समय अवधि के तहत कंपनी ने उनसे एग्रीमेंट किया था कि वर्ष 2012 में यह प्रोजेक्ट पूरा हो जाएगा और अलॉटमेंट कर दी जाएगी। प्रोजेक्ट अधूरा रहने के कारण उन्होंने कपंनी से अपने पैसे वापस मांगे तो कंपनी ने 18 फीसद ब्याज सहित पैसे वापस करने के लिए कहा। कंपनी के अधिकारी बार-बार टालमटोल करने लग पड़े तो उन्होंने पुलिस को शिकायत दी। इस मामले में 28 मार्च 2019 को थाना फेज-1 में उक्त कंपनी प्रबंधकों के खिलाफ धारा-406, 420 व 120बी के तहत मामला दर्ज किया गया था।
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