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प्रशासन की ओर से चार्ज किए जा रहे अन-अर्नड प्रॉफिट पर सोसायटियों में रोष

प्रशासन की ओर से निजी सोसायटियों से लिए जा रहे अन-अर्नड प्रॉफिट पर यहां पर रहने वाले लोगों ने रोष जाहिर किया है। सोसायटियों के प्रतिनिधियों ने सेक्टर-27 में कहा कि जिस वक्त पूरा शहर कोरोना की वजह से घरों में कैद था बिजनेस ठप पड़े थे लोगों पर जीने का संकट पैदा हो गया था उस वक्त यूटी प्रशासन ने चुपके से ग्रुप हाउसिग सोसायटीज के लिए ट्रांसफर पॉलिसी में नया नियम जोड़ दिया।

By JagranEdited By: Published: Sat, 18 Sep 2021 06:10 PM (IST)Updated: Sat, 18 Sep 2021 06:10 PM (IST)
प्रशासन की ओर से चार्ज किए जा रहे अन-अर्नड प्रॉफिट पर सोसायटियों में रोष
प्रशासन की ओर से चार्ज किए जा रहे अन-अर्नड प्रॉफिट पर सोसायटियों में रोष

जागरण संवाददाता, चंडीगढ़ : प्रशासन की ओर से निजी सोसायटियों से लिए जा रहे अन-अर्नड प्रॉफिट पर यहां पर रहने वाले लोगों ने रोष जाहिर किया है। सोसायटियों के प्रतिनिधियों ने सेक्टर-27 में कहा कि जिस वक्त पूरा शहर कोरोना की वजह से घरों में कैद था, बिजनेस ठप पड़े थे, लोगों पर जीने का संकट पैदा हो गया था, उस वक्त यूटी प्रशासन ने चुपके से ग्रुप हाउसिग सोसायटीज के लिए ट्रांसफर पॉलिसी में नया नियम जोड़ दिया। प्रशासन ने सभी सोसायटीज के फ्लैट पर ट्रांसफर के नाम पर लाखों रुपये अन-अर्नड प्रॉफिट के वसूलने शुरू कर दिए। प्रेसवार्ता में आम आदमी पार्टी के वरिष्ठ नेता संदीप भारद्वाज ने कई सोसायटीज के प्रेसिडेंट और अन्य पदाधिकारियों के साथ शनिवार को प्रेस क्लब में प्रेस कॉन्फ्रेंस की।

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भारद्वाज ने कहा कि चंडीगढ़ में सेक्टर-48 से 51 तक 108 ग्रुप हाउसिग सोसायटीज हैं। वहां लगभग 13000 परिवार रहते हैं। अब हाल ये है कि अगर कोई भी व्यक्ति फ्लैट की ट्रांसफर करवाता है तो उसने अन-अर्नड प्रॉफिट के नाम पर 8 से 13 लाख रुपए तक भरने पड़ते हैं। इसके अलावा रजिस्ट्री का खर्चा और 18 फीसद जीएसटी अलग से लिया जा रहा है।

ग्रुप हाउसिग सोसायटी काउंसिल वेलफेयर काउंसिल के पदाधिकारियों का कहना है कि जिस समय चंडीगढ़ हाउसिग बोर्ड ने सोसायटीज को जमीन अलॉट की थी तो वह काफी सस्ते रेट पर दी थी। अब कई सालों बाद जब जमीनों की कीमतें बढ़ गई हैं तो प्रशासन नए और पुराने रेट के डिफरेंस पर एक तिहाई अन-अर्नड प्रॉफिट वसूल रहा है। पदाधिकारियों का कहना है कि हालांकि प्रशासन का इस पर कोई हक नहीं बनता। इसका कारण है कि सभी सोसायटीज ने फ्लैट की कंस्ट्रक्शन खुद करवाई थी। इसके अलावा सोसायटीज के अंदर के डेवलपमेंट से जुड़े काम भी हम खुद ही करवा रहे हैं तो फिर सरकार अब प्रॉफिट क्यों मांग रही है।

26 सितंबर को होगी महा पंचायत

अन-अर्नड प्रॉफिट की वजह से फ्लैट की खरोद-फरोख्त पर काफी असर पड़ा है। लोग अब फ्लैट खरीदने में कम दिलचस्पी दिखा रहे हैं। लोगों को जब पता लगता है कि एक करोड़ के फ्लैट पर 15 लाख रुपये तो अन-अर्नड प्रॉफिट देना पड़ेगा तो फिर वे अपना मन बना लेते हैं। इससे उन मजबूर लोगों को भी प्रभावित होना पड़ रहा है जिन्हें फ्लैट बेचना पड़ रहा है। संदीप भारद्वाज ने कहा कि भाजपा शासित चंडीगढ़ प्रशासन ने लोगों से लूट शुरू कर दी है और वे चाहते हैं कि जल्द से जल्द इस लूट को बंद किया जाए वरना प्रशासन के खिलाफ लोग सड़कों पर उतरेंगे और 26 सितंबर को महा पंचायत करके सख्त कदम उठाए जाएंगे।


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