पंजाब में आर्थिक संकट: वेतन देने के लाले पड़े, सीएम व मंत्रियों की सैलरी भी रुकी
पंजाब सरकार गंभीर आर्थिक संकट में फंस गई है। हालात यह हो गए हैं कि उसके पास वेतन देने के लिए पैसे नहीं हैं। ऐसे में अभी सीएम और मंत्रियों की सैलरी रोक ली गई है।
चंडीगढ़, [दर्शन सिंह खोखर]। पंजाब सरकार आर्थिक संकट से जूझ रही है। हालात यह हाे गए हैं कि सरकार को तनख्वाह देने के लाले पड़ गए हैं। ऐसे में राज्य सरकार ने मुख्यमंत्री और मंत्रियों का वेतन भी रोक दिया है। वित्त मंत्री मनप्रीत बादल ने कहा कि सरकार ने फैसला किया है कि मुख्यमंत्री व मंत्रियों की सैलरी सबसे आखिर में रिलीज की जाएगी। यानी उनका नंबर कर्मचारियों के बाद आएगा। वहीं, पंजाब के हजारों कर्मचारियों को इस माह की सैलरी के लिए अभी एक हफ्ते तक इंतजार करना पड़ सकता है।
कर्मचारियों को वेतन के लिए अभी करना पड़ेगा एक हफ्ता इंतजार
सरकार के सबसे बड़े प्रशानिक कांप्लेक्स पंजाब सिविल सचिवालय के मुलाजिमों के खातों में सोमवार को भी तनख्वाह जमा नहीं हुई, जबकि इन मुलाजिमों को पहली तारीख को ही तनख्वाह मिल जातीं थी।पंजाब सरकार की खराब वित्तीय हालत के कारण इस बार तनख्वाह मिलने में हफ्ते से ज्यादा की देरी हो जाएगी। हालांकि कुछ विभागों के मुलाजिमों को तनख्वाह मिलना शुरू हो गई है। सैलरी का यह संकट जीएसटी लागू होने के कारण पैदा हुआ है। टैक्स वसूली की यह रकम अभी तक पंजाब के खजाने में नहीं आई है। पंजाब सरकार के अपने स्रोतों से भी पूरी रकम इकट्ठा नहीं की है।
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वित्तमंत्री बोले- सिर्फ एक महीने की दिक्कत, फिर सब ठीक हो जाएगा
पंजाब के वित्त मंत्री मनप्रीत सिंह बादल ने कहा कि इस महीने सरकारी खजाने में दिक्कत बनी हुई है। अगले महीने से यह मसला स्थायी तौर पर हल हो जाएगा। उन्होंने बताया कि सरकार ने तनख्वाह देने के लिए यह व्यवस्था की है कि एक-एक कर सभी विभागों की तनख्वाह जारी की जाएगी।
साढ़े चार लाख हैं कर्मचारी
पंजाब सरकार के साढ़े चार लाख कर्मचारियों में से अभी तक एक हजार से कम कर्मचारियों को ही तनख्वाह दी गई है। यह पहली बार हुआ है कि तनख्वाह के बिलों पर जुबानी आदेश जारी कर रोक लगाई गई है।
थानों को रोजाना 300 चालान के आदेश
पंजाब में इन दिनों जगह-जगह पुलिस नाके दिखाई दे रहे हैं। सरकारी सूत्रों के अनुसार आइजी स्तर के अफसरों ने थानों को यह आदेश दिए हैं कि रोज हर थाना क्षेत्र में 300 चालान किए जाएं। यह भी कहा जा रहा है यह कवायद पंजाब के खजाने को भरने के लिए की जा रही है। हर नाके पर 15 से 20 पुलिस कर्मचारी तैनात किए गए हैं और हर व्हीकल मालिक के दो हजार से 4500 रुपये तक के चालान काटे जा रहे हैं।
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सचिवालय मुलाजिमों ने दी चेतावनी
पंजाब सिविल सचिवालय के कर्मचारियों की ज्वाइंट एक्शन समिति ने सैलरी न मिलने पर रोष प्रकट किया और सरकार को प्रदर्शन की चेतावनी दी। मुलाजिमों के वर्ष 2014 के डीए के एरियर की किश्त भी नहीं मिली है। इस मीटिंग में प्रधान एनपी सिंह, कोर्डिनेटर भूपिंदर सिंह, उप प्रधान गुरप्रीत सिंह, महासचिव सुखचैन सिंह खैहरा, संयुक्त सचिव दलजीत कौशल संयुक्त व वित्त सचिव संजय अरोड़ा समेत कई पदाधिकारी मौजूद थे।