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शिअद ने किसानाें को रोकने का किया विरोध, कहा- हरियाणा दमनकारी रणनीति का न करे इस्तेमाल

शिरोमणि अकाली दल ने पंजाब के आंदोलनकारी किसानों को हरियाणा में आने से राेकने का विराेध किया है। शिअद ने कहा कि हरियाणा सरकार किसानों के खिलाफ दमनकारी रणनीति का इस्‍तेमाल न करे। किसान दिल्‍ली जाना चाहते हैं।

By Sunil Kumar JhaEdited By: Published: Wed, 25 Nov 2020 10:00 AM (IST)Updated: Wed, 25 Nov 2020 10:00 AM (IST)
शिअद ने किसानाें को रोकने का किया विरोध, कहा- हरियाणा दमनकारी रणनीति का न करे इस्तेमाल
किसानों के दिल्‍ली चलो आंदोलन को लेकर पंजाब में सियासत गर्मा गई है। (फाइल फोटो)

चंडीगढ़, जेएनएन। किसानों के दिल्‍ली चलो आंदोलन को लेकर पंजाब और हरियाणा में सियासत गर्मा गई है। किसानों काे हरियाणा में दाखिल होने से रोकने के मनोहरलाल सरकार की रणनीति का पंजाब के कई दलों ने विरोध किया है। दिल्ली में 26-27 नवंबर को प्रस्तावित धरने के मद्देजनर हरियाणा सरकार की तरफ से किसानों को रोकने के लिए सीमाओं पर बैरिकेडिंग करने का शिरोमणि अकाली दल ने कड़ा विरोध किया है।

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हरियाणा की तरफ से सीमाओं पर बैरिकेडिंग करने का किया विरोध  

शिअद का कहना है कि केंद्र व हरियाणा की भाजपा सरकार किसानों के शांतिपूर्ण प्रदर्शन के लिए दमनकारी रणनीति का इस्तेमाल न करे। इसके साथ ही अकाली दल के प्रधान सुखबीर बादल ने वीडियो जारी कर पार्टी वर्करों व दिल्ली सिख गुरुद्वारा प्रबंधक कमेटी से यह अपील की है कि वे किसानों की हर संभव मदद करे।

सुखबीर बादल बोले, किसानों को देंगे हर संभव मदद

सुखबीर सिंह बादल ने कहा कि दिल्‍ली जा रहे किसानों को हरसंभव मदद देंगे। शिअद के प्रवक्ता डा. दलजीत सिंह चीमा ने कहा कि हरियाणा की सीमाओं पर बैरिकेडिंग करना बेहद दुर्भाग्यपूर्ण है। उन्होंने कहा कि हरियाणा सरकार को अपनी सड़कों पर किसानों की आवाजाही रोकने का कोई अधिकार नही है। किसानों को कृषि कानूनों के खिलाफ विरोध दर्ज करने के लिए दिल्ली जाने का अधिकार है। हरियाणा सरकार को केंद्र सरकार को खुश करने के लिए 'अन्नदाता' को  दबाने के लिए बलपूवर्क हथकंडों का इस्तेमाल नहीं करना चाहिए।

उन्होंने कहा कि ऐसा करने की बजाय केंद्र सरकार को किसानों से बातचीत करनी चाहिए और न्यूनतम समर्थन मूल्य (एमएसपी) पर अनाज की सुरक्षित खरीद सुनिश्चित की गारंटी देने सहित उनकी मांगो को स्वीकार करना चाहिए। उन्हें हरियाणा सरकार को बताना चाहिए कि किसानों को शांति से दिल्ली में आगे बढऩे दें।

सभी विधायकों को किसानों के प्रदर्शन में शामिल होना चाहिए: खैहरा

उधर, भुलत्थ के विधायक सुखपाल सिंह खैहरा, मौड़ के जगदेव सिंह कमालू और भदौड़ के पिरमल सिंह खालसा ने संयुक्त रूप से कहा कि सभी विधायकों को पार्टी हित से ऊपर उठ कर किसानों के प्रदर्शन में शामिल होना चाहिए। उन्‍होंने कहा कि किसानों का आंदोलन सही है और उनकी मांगें पूरी होनी चाहिए।

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