Move to Jagran APP

मध्य प्रदेश के आटे, हिमाचल के अचार और पंजाब की मक्की-सरसों का हर कोई दीवाना

महिलाओं का शौक सिर्फ शौक ही बनकर न रह जाए बल्कि यह बिजनेस भी बने, इसी सोच के साथ शनिवार को छठें महिला आर्गोनिक फेस्टीवल का आरंभ हुआ है।

By Edited By: Published: Sat, 12 Jan 2019 08:49 PM (IST)Updated: Sun, 13 Jan 2019 09:02 PM (IST)
मध्य प्रदेश के आटे, हिमाचल के अचार और पंजाब की मक्की-सरसों का हर कोई दीवाना
मध्य प्रदेश के आटे, हिमाचल के अचार और पंजाब की मक्की-सरसों का हर कोई दीवाना

जागरण संवाददाता, चंडीगढ़ : महिलाओं का शौक सिर्फ शौक ही बनकर न रह जाए, बल्कि यह बिजनेस भी बने, इसी सोच के साथ शनिवार को छठे महिला आर्गेनिक फेस्टिवल का आरंभ हुआ। फेस्ट का आरंभ सोशल वेलफेयर सेक्रेटरी बंसीलाल शर्मा और वूमेन एंड चाइल्ड डेवलपमेंट गवर्नमेंट ऑफ इंडिया की ज्वाइंट सेक्रेटरी अनुराधा ने किया। लेजर वैली सेक्टर-10 में शुरू हुए फेस्ट में देश के विभिन्न राज्यों से 90 महिलाओं ने अपने स्टाल लगाए हैं, जिनमें रसोई में इस्तेमाल होने वाले सामान को पेश किया गया है। फेस्टिवल में पहली बार काला चावल, ब्राउन चावल और लाल चावल की वेराइटी को पेश किया गया है। एमपी के आटे, हिमाचल के अचार और पंजाब की मक्की-सरसों के स्टाल पर ज्यादा भीड़ दिखी।

loksabha election banner

बता दें कि केंद्रीय मंत्री मेनका गांधी समापन समारोह में शिरकत करेंगी। 14 जनवरी तक चलने वाले फेस्ट के अंतिम दिन सोशल वेलफेयर एंड चाइल्ड एंड वूमेन मिनिस्टर मेनका गांधी शिरकत करेंगी।

मध्यप्रदेश के स्पेशल आटे का लुत्फ उठाएं

इसके अलावा मध्यप्रदेश का स्पेशल आटा भी विशेष तौर पर पेश किया गया है। रसोई के विभिन्न सामान के साथ-साथ फास्ट फूड की भी कई आइटम यहां पर पेश की गई हैं, लेकिन वह फास्ट फूड मैदा से बनने के बजाय बाजरे के आटे से बनाया गया है। जोकि खाने में बेहद पौष्टिक और हल्का है।

डिटरजेंट पाउडर का काम हुआ फेल तो शुरू किया अचार और मुरब्बा बनाना

फेस्टिवल में पंजाब के होशियारपुर जिले के रामगढ़ कस्बे की बीना शर्मा की बेटियां रेखा और रेणु शर्मा पहुंचीं। बीना की शादी ऊना जिले के छोटे से गांव पिरथीपुर में राकेश कुमार से हुई है। 2000 में राकेश ने डिटरजेंट पाउडर बनाने का काम शुरू किया, लेकिन वह मार्केट में मौजूद प्रोडक्ट का सामना नहीं कर पाए और घाटे के चलते बंद करना पड़ा। उसके बाद 2003 में रामगढ़ में जाकर बसे और वहां पर बीना शर्मा ने मुरब्बा और अचार बनाने का काम शुरू किया। 2012 में पहली बार दिल्ली में चल रहे ग्रीन हार्ट फेस्टिवल में गए, जहां पर सामान की शुद्धता के लिए नेशनल अवॉर्ड मिला। उस अवॉर्ड के बाद बीना का काम उनकी दो बेटियां रेखा और रेणु ने संभाल रखा है।

मां के बिजनेस के लिए नौकरी ठुकराई

रेखा और रेणु ने एमए तक की पढ़ाई करने के बाद सरकारी नौकरी भी हासिल की, लेकिन मां के बिजनेस को फैलाने के लिए उसे छोड़ दिया और आर्गेनिक सामान बनाकर सर्व कर रही हैं। रेणु और रेखा दूसरे राज्यों में जाकर प्रचार का काम भी करती हैं, जिसमें उनका सहयोग उनके पिता राकेश और भाई विक्की करते हैं। वहीं, मां बीना मुरब्बा, अचार बनाने वाली फैक्ट्री को चलाती हैं। जहां पर तीन सौ महिलाएं काम कर रही हैं।

मक्की की रोटी और सरसों के साग का प्रचार करने में जुटीं सरपंच सतनाम कौर

अमृतसर जिले के गांव संगतपुर की सरपंच सतनाम कौर ने बताया कि वे इसी महीने हुए पंचायत चुनाव में सरपंच बनी हैं। घर में आने वालों को मक्की की रोटी और सरसों का साग खिलाती हैं। जब इस फेस्ट के बारे में पता चला तो यहां पर आकर लोगों को वही मक्की की रोटी और सरसों का साग, जोकि मिट्टी के बर्तन में बनाया गया, उसे खिला रही हैं। सतनाम कौर ने बताया कि तीन दिन फेस्ट के लिए हम जितना भी सामान लेकर आए थे, वह सारा पहले ही दिन खत्म हो चुका है। उनके पति गुरतेज सिंह ने बताया कि महिलाएं सिर्फ घरों के अंदर तक सीमित नहीं हैं, बल्कि उनका बाहरी दुनिया में बहुत बड़ा योगदान है, जो कि आज सतनाम दे रही हैं।


Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें
This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.